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Entire world is now discussing global warming and ways to mitigate it: PM Modi
Two landmark initiatives emerged in #COP21. India & France played key roles in those: PM
International Solar Alliance will impact generations in a big way: PM Modi
US, India, France took initiative of innovation; let is innovate and protect our environment: PM
India expressed keenness on solar alliance. France was very helpful, did everything possible to bring all nations together: PM
Solar alliance to ensure that the world gets more energy: PM Modi

मंच पर वि‍राजमान फ्रांस के राष्‍ट्रपति‍ श्रीमान ओलांद फ्रांस से आए हुए Senior Ministers हरि‍याणा के Governor श्री, मुख्‍यमंत्री श्री, श्रीमान पीयुष गोयल जी फ्रांस का Delegation और वि‍शाल संख्‍या में आए हुए प्‍यारे भाइयों और बहनों!

पि‍छले एक वर्ष से सारी दुनि‍याँ में इस बात की चर्चा थी कि‍ Global Warming के सामने दुनि‍याँ कौन से कदम उठाए कि‍न बातों का संकल्‍प करे? और उसकी पूर्ति‍ के लिए कौन से रास्‍ते अपनाएं? पेरि‍स में होने वाली COP 21 के संबंध में पूरी दुनि‍याँ में एक उत्‍सुकता थी, संबधि‍त सारे लोग अपने-अपने तरीके से उस पर प्रभाव पैदा करने का प्रयास कर रहे थे, और करीब-करीब दो सप्‍ताह तक दुनि‍याँ के सभी देशों ने मि‍ल करके, इन वि‍षयों के जो जानकार लोग हैं वो वि‍श्‍व के सारे वहॉं इकट्ठे आए चर्चाएं की और इस बड़े संकट के सामने मानव जाति‍ की रक्षा कैसे करें, उसके लि‍ए संकल्‍पबद्ध हो करके आगे बढ़े।

COP 21 के नि‍र्णयों के संबंध में तो वि‍श्‍व में भली- भॉंति‍ बातें पहुँची हैं लेकि‍न पेरि‍स की धरती पर एक तरफ जब COP 21 की चर्चाएं चल रहीं थीं तब दो महत्‍त्‍वपूर्ण initiatives लि‍ए गए। इन दोनों महत्‍त्‍वपूर्ण initiatives में भारत और फ्रांस ने बहुत ही महत्‍त्‍वपूर्ण भमि‍का नि‍भाई है एक initiative एक तरफ तो Global Warming की चिन्‍ता है, मानवजाति‍ को पर्यावरण के संकटों से रक्षित करना है और दूसरी तरफ मानवजाति‍ के आवश्‍यकताओं की पूर्ति‍ भी करनी है। जो Developing Countries हैं उन्‍हें अभी वि‍कास की नई ऊँचाइयों को पार करना बाकी है और ऊर्जा के बि‍ना वि‍कास संभव नहीं होता है। एक प्रकार से ऊर्जा वि‍कास यात्रा का अहमपूर्ण अंग बन गयी है। लेकि‍न अगर fossil fuel से ऊर्जा पैदा करते हैं तो Global Warming की चिन्‍ता सताती है और अगर ऊर्जा पैदा नहीं करते हैं तो, न सि‍र्फ अंधेरा छा जाता है जि‍न्‍दगी अंधेरे में डूब जाती है। और ऐसी दुवि‍धा में से दुनियाँ को बचाने का क्‍या रास्‍ता हो सकता है? और तब जा करके अमेरि‍का, फ्रांस भारत तीनों ने मि‍लकरके एक initiative लि‍या है और वो initiative है innovation का। नई खोज हो, नए संसाधन नि‍र्माण हों, हमारे वैज्ञानि‍क, हमारे Technicians हमारे Engineers वो नई चीजें ले करके आएं जोकि‍ पर्यावरण पर प्रभाव पैदा न करती हों। Global Warming से दुनि‍याँ को बचाने का रास्‍ता दि‍खती हों और ऐसे साधनों को वि‍कसि‍त करें जो affordable हो sustainable हो और गरीब से गरीब व्‍यक्‍ति‍ की पहुँच में हो। तो innovation के लि‍ए एक बहुत बड़ा अभि‍यान चलाने की दि‍शा में अमेरि‍का, फ्रांस और भारत दुनि‍याँ के ऐसी सभी व्‍यवस्‍थाओं को साथ ले करके आगे बढ़ने का बड़ा महत्‍तवपूर्ण निर्णय कि‍या उसको launch कि‍या गया। President Obama, President Hollande और मैं और UN General Secretary और Mr. Bill Gates , हम लोग उस समारोह में मौजूद थे और एक नया initiative प्रारंभ कि‍या। दूसरा एक महत्‍त्‍वपर्ण निर्णय हुआ है जि‍सका आने वाले दसकों तक मानव जीवन पर बड़ा ही प्रभाव रहने वाला है।

दुनि‍याँ में कई प्रकार के संगठन चल रहे हैं। OPEC countries का संगठन है G-20 है G-4 है, SAARC है, European Union है, ASEAN Countries हैं, कई प्रकार के संगठन दुनि‍याँ में बने हुए हैं। भारत ने एक वि‍चार रखा वि‍श्‍व के सामने कि‍ अगर Petroleum पैदावार करने वाले देश इकट्ठे हो सकते हैं, African countries एक हो सकते हैं, European Countries एक हो सकते हैं, क्‍यों न दुनि‍याँ में ऐसे देशों का संगठन खड़ा कि‍या जाए जि‍न देशों ने 300 दि‍वस से ज्‍यादा वर्ष में सूर्य का प्रकाश प्राप्‍त होता है।

ये सूर्य, ये बहुत बड़ी शक्‍ति‍ का स्रोत है सारे जीवन को चलाने में, सृष्‍टि‍ को चलाने में सूर्य की अहम् भूमि‍का है। क्‍यों न हम उसको एक ताकत के रूप में स्‍वीकार करके वि‍श्‍व कल्‍याण का रास्‍ता खोजें। 300 से अधि‍क दि‍वस, सूर्य का लाभ मि‍लता है ऐसे दुनि‍या में करीब-करीब 122 देश हैं। और इसलि‍ए वि‍चार आया क्‍यों न हम 122 देशों का जो कि‍ सूर्य शक्‍ति‍ से प्रभावि‍त हैं उनका एक संगठन गढ़ें। भारत ने इच्‍छा प्रकट की फ्रांस के राष्‍ट्रपति‍ जी ने मेरी पूरी मदद की, हम कंधे से कंधा मि‍लाकरके चले, दुनि‍याँ के देशों का संपर्क कि‍या और नवंबर महीने में पेरि‍स में जब conference चल रही थी, 30 नवंबर को दुनि‍याँ के सभी राष्‍ट्रों के मुखि‍या उस समारोह में मौजूद थे और एक International Solar Alliance इस नाम की संस्‍था का जन्‍म हुआ।

उसमें इस बात का भी निर्णय हुआ कि‍ इसका Global Secretariat ‍हि‍न्‍दुस्‍तान में रहेगा। ये International Solar Alliance इसका Headquarter गुड़गॉंव में बन रहा है। ये हरि‍याणा ‘कुरूक्षेत्र’ की धरती है, गीता का संदेश जहॉं से दि‍या, उस धरती से वि‍श्‍व कल्‍याण का एक नया संदेश इस Solar Alliance के रूप में हम पहुँचा रहे हैं।

बहुत कम लोगों को अंदाज होगा कि‍ आज ये जो घटना घट रही है उसका मानवजाति‍ पर कि‍तना बड़ा प्रभाव पैदा होने वाला है, इस बात को वही लोग समझ सकते हैं जो छोटे-छोटे Island पर बसते हैं, छोटे-छोटे Island Countries हैं और जि‍नके ऊपर ये भय सता रहा है कि‍ समुंदर के अगर पानी की ऊँचाई बढ़ती है तो पता नहीं कब उनका देश डूब जाएगा, पता नहीं वो इस सृष्‍टि‍ से समाप्‍त हो जाएंगे, दि‍न रात इन छोटे-छोटे देशों को चि‍न्‍ता हो रही है। जो देश समुद्र के कि‍नारे पर बसे हैं, उन देशों को चि‍न्‍ता हो रही है कि‍ अगर Global Warming के कारण समुद्र की सतह बढ़ रही है तो पता नहीं हमारे मुम्‍बई का क्‍या होगा, चेन्‍नई का क्‍या होगा? और दुनि‍याँ के ऐसे कई देश होंगे जि‍नके ऐसे बड़े-बड़े स्‍थान जो समु्द्र के कि‍नारे पर हैं उनके भाग्‍य का क्‍या होगा? सारा वि‍श्‍व चि‍न्‍ति‍त है। और मैं पि‍छले एक साल में, ये Island Countries हैं जो छोटे-छोटे उनके बहुत से नेताओं से मि‍ला हूँ, उनकी पीड़ा को मैंने भली-भॉंति‍ समझा है। क्‍या भारत इस कर्तव्‍य को नहीं नि‍भा सकता?

हमारे देश में जीवनदान एक बहुत बड़ा पुण्‍य माना जाता है। आज मैं कह सकता हूँ कि‍ International Solar Alliance उस जीवनदान का पुण्‍य काम करने वाला है, जो आने वाले दशकों के बाद दुनि‍याँ पर उसका प्रभाव पैदा करने वाला है। सारा वि‍श्‍व कहता है कि‍ Temperature कम होना चाहि‍ए, लेकि‍न Temperature कम करने का रास्‍ता भी सूर्य का Temperature ही है। एक ऊर्जा से दूसरी ऊर्जा का संकट मि‍टाया जा सकता है। और इसलि‍ए वि‍श्‍व को ऊर्जा के आवश्‍यकता की पूर्ति‍ भी हो, innovation का काम भी हो और सोलर को ले करके जीवन के क्षेत्र कैसे प्रभावि‍त हों उस दि‍शा में काम करने के लि‍ए बना है।

ये बात सही है कि‍ International Solar Alliance इसका Headquarters हि‍न्‍दुस्‍तान में हो रहा है, गुडगॉंव में हो रहा है, लेकि‍न ये Institution हि‍न्‍दुस्‍तान की Institution नहीं है ये Global Institution है, ये Independent Institution है। जैसे अमेरि‍का में United Nations है, लेकि‍न वो पूरा वि‍श्‍व का है। जैसे WHO है, पूरे वि‍श्‍व का है। वैसे ही ये International Solar Alliance का Headquarter ये पूरे वि‍श्‍व की धरोहर है और ये Independent चलेगा। अलग-अलग देश के लोग इसका नेतृत्‍व करेंगे, अलग-अलग देश के लोग इसकी जि‍म्‍मेदारी संभालेंगे, उसकी एक पद्धति‍ वि‍कसि‍त होगी लेकि‍न आज उसका Secretariat बन रहा है, उस Secretariat के माध्‍यम से इस बात को हम आगे बढ़ना चाहते हैं।

भारत ने ऊर्जा के क्षेत्र में परंपरागत प्राकृति‍क संसाधनों उपयोग करने का बीड़ा उठाया है। भारत ने जब ये कहा कि‍ हम 175Giga Watt, Renewable Energy की तरफ जाना चाहते हैं, तब दुनि‍याँ के लि‍ए बड़ा अचरज था। भारत में Giga Watt शब्‍द भी नया है, जब हम Mega Watt से आगे सोच भी नहीं पाते थे। हम आज Giga Watt पर सोच रहे हैं और 175 Giga Watt Solar Energy, Wind Energy, Nuclear Energy, Biomass से होने वाली Energy इन सारे स्रोतों को Hydro Energy ये हम उपलब्‍ध कराना चाहते हैं और मुझे खुशी है कि‍ आज भारत 5000 MW से ज्‍यादा solar energy उसने install कर दी। ये इतने कम समय में जो काम हुआ है वो उस commitment का परिणाम है कि क्या भारत मानव जाति के कल्याण के लिए मानव जाति की रक्षा के लिए, प्रकृति की रक्षा के लिए, ये पूरी जो सृष्टि है उस पूरी सृष्टि की रक्षा के लिए, भारत कोई अपना योगदान दे सकता है क्या? उस योगदान को देने के लिए ये बीड़ा उठाया है।

मैं फ्रांस के राष्ट्रपति का हृदय से आभारी हूँ कि इस चिंता के समय में global warming पर्यावरण के मुद्दे इसके समाधान के जो रास्ते है उनकी सोच भारत की सोच से बहुत मिलती जुलती है क्यों कि फ्रांस की values और भारत के values काफी समान है और इसलिए पिछले वर्ष April के महीने में हम दोनों मिले थे तो हमने तय किया था कि हम COP 21 के समय एक किताब निकालेंगे और विश्व के अंदर परंपरागत रूप से इन issues को कैसे देखा गया इस पर research करेंगे। और हम दोनों ने मिल कर के उस किताब की प्रस्तावना लिखी है और विश्व के सामने उन्ही के मूलभूत चिंतन क्या थे ये प्रस्तुत किया।

ये चीजें इसलिए हम कर रहे हैं कि मानव जाति को इस संकट से बचने के जो रस्ते खोजे जा रहे हैं, वो एक सामूहिक रूप से प्रयत्न हो, innovative रूप से प्रयत्न हो और परिणाम वो निकले जो मानव जाति की आवश्यकता है उसकी पूर्ति भी करे लेकिन प्रकृति को कोई नुकसान न हो। हम वो लोग हैं जिनके पूर्वजो ने, इस धरती से हमें प्यार करना सिखाया है। हमें कभी भी प्रकृति का शोषण करने के लिए नहीं सिखाया गया, हमें पौधे में भी परमात्मा होता है यह बचपन से सिखया गया। ये हमारी परंपरा है। अगर ये परंपरा है तो हमें विश्व को उसका लाभ पहुंचे उस दिशा में हमें कुछ कर दिखाना चाहिए और उसी के तहत आज international solar alliance का हम लोगों ने एक Secretariat का आरम्भ कर रहे हैं। और भविष्य में भव्य भवन के रूप में उसका निर्माण हो, एक स्वंत्रत इमारत तैयार हो, उसके लिए शिलन्यास भी कर रहे है और इस काम के लिए आप पधारे इसका मैं बहुत बहुत आभारी हूँ।

मेरे लिए ख़ुशी की बात है कि solar alliance का निर्माण हो रहा हो आज हमें Delhi से यहाँ आना था हम by road भी आ सकते थे, helicopter से भी आ सकते थे, लकिन हम दोनों ने मिलकर तय किया कि अच्छा होगा की हम Metro से चले जाएँ और आज आप के बीच हमें Metro से आने का अवसर मिला।

मैं राष्ट्रपति जी का आभारी हूँ कि उन्होंने आज Metro में आने के लिए सहमति जताई और हम Metro का सफ़र करते करते आपके बीच पहुंचे क्योंकि वो भी एक सन्देश है क्योंकि global warming के सामने लड़ाई लड़ने के जो तरीके हैं उसमें ये भी एक तरीका है। मैं विश्वास करता हूँ कि ये प्रयास बहुत ही सुखद रहेगा। कल भारत प्रजासत्ता पर्व मनाने जा रहा है, इस प्रजसत्ता पर्व की पूर्व संध्या पर मैं देशवासियों को बहुत बहुत शुभकामनाएं देता हूँ और अधिकार और कर्तव्य इन दोनों को संतुलित करते हुए हम देश को आगे बढ़ाएंगे यही मेरी शुभकामना है।

बहुत बहुत धन्यवाद्।

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BJP has converted ‘politics of perception’ into ‘politics of performance’: PM Modi in Davanagere, Karnataka
March 25, 2023
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Every Karyakarta of Karnataka BJP is my companion, dear friend and brother: PM Modi in Davanagere
BJP has converted ‘politics of perception’ into ‘politics of performance’: PM Modi in Davanagere, Karnataka
BJP government with absolute majority is very important for the rapid development of Karnataka: PM Modi

भारत माता की जय!
भारत माता की जय!
भारत माता की जय!

कर्नाटका के मुख्यमंत्री श्री बासवराज बोम्मई जी, पूर्व मुख्यमंत्री और मेरे पुराने साथी श्री बीएस येद्दयुरप्पा जी, सदानंद गौड़ा जी, जगदीश शट्टार जी, कर्नाटक बीजेपी के अध्यक्ष श्री नलिन कुमार जी, केंद्रीय मंत्रिमंडल में मेरे सभी सहयोगी, बीजेपी के सभी वरिष्ठ साथी और विशाल संख्या में आए हुए मेरे प्यारे भाइयों और बहनों!

दावणगेरेया, नन्ना सहोदरा-सहोदरियरिगे, नमस्कारागळु।
कर्नाटकदा, नन्ना भाजपा-BJP कार्यकर्ता, बान्धवरिगे, नमस्कारगळु।

ट्रांसलेशन की जरूरत नहीं, हिंदी चलेगा। अच्छा।

मुझे जब-जब दावणगेरे आने का अवसर मिला हर बार मैंने देखा है, आपके आशीर्वाद बढ़ते ही जाते हैं। बढ़ते ही जाते हैं। मैं कर्नाटका बीजेपी का धन्यवाद करता हूं कि आज उन्होंने कार्यक्रम की ऐसी रचना की, कि मुझे आप सबके दर्शन करने का मौका मिला। और फिर मैं मंच पे आया। आप जैसे पुरुषार्थी, त्याग और तपस्या से भरे हुए, मां भारती के उज्ज्वल भविष्य के लिए जीने वाले, जूझने वाले आप सबके दर्शन करना ये मेरे लिए बहुत बड़ा सौभाग्य की बात है। ये मूड ये विजय संकल्प रैली, ऐसा लग रहा है, जैसे विजय महोत्सव मनाने की रैली है। और आज देखिए सुखद संयोग, आज विजय संकल्प रैली हो रही है, उसी समय हमारे कर्नाटका में कलबुर्गी में जो कांग्रेस पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष की कर्मभूमि है। आज वहां मेयर और डिप्टी मेयर का चुनाव था और कलबुर्गी में भारतीय जनता पार्टी के मेयर और डिप्टी मेयर जीत गए। कांग्रेस पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष के घर में भाजपा का विजय डंका बज गया। ये एक प्रकार से विजय संकल्प रैली का शुभ संकेत है कि विजय यात्रा आरंभ हो चुकी है। ये दृश्य, ये कलबुर्गी का नतीजा, ये साफ दिखा रहा है कि डबल इंजन सरकार की धमाकेदार वापसी का निर्धार कर्नाटका ने कर लिया है। अब मैं तो, बहुत पहले से मेरा कार्यक्रम बना था, इसलिए मुझे आज आना था। लेकिन इसी समय कलबुर्गी के मेयर का चुनाव आ गया। कल जरूर कांग्रेस के हमारे साथी बयान देंगे कि मोदी आया था। जरूर कुछ किया होगा। इसलिए कलबुर्गी में कांग्रेस पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष के घर में ही उनको मुंह की खानी पड़ी। पता नहीं कैसे-कैसे आरोप लगा देंगे ये।

भाइयों-बहनों,
ये विकसित कर्नाटका के लिए डबल इंजन की सरकार को आप सबका आशीर्वाद है। साथियों, मैं श्रीहरि हरेश्वर, ताई भोरेश्वरी और इस क्षेत्र के सभी पवित्र मठों को आदरपूर्वक नमन करता हूं। आज जहां ये सभा हो रही है, वो दावणगेरे और हरिहर के बीच में हैं। मां तुंगभद्रा का आशीर्वाद इस क्षेत्र को है। हरि हरेश्वर मंदिर के रूप में यहां हरि और हरा का समन्वय होता है। ऐसे स्थान पर कर्नाटका भाजपा की चार विजय संकल्प यात्राओं का आज महासंगम हो रहा है। और हमारे यहां कहा जाता है, जब कोई यात्रा करके आता है, उसके दर्शन करते हैं तो आपको भी उसका पुण्य मिलता है। आज मुझे भी इन सभी यात्रियों का दर्शन करके, आज मुझे भी पुण्य मिला है।

मैं कर्नाटका भाजपा के सभी कार्यकर्ताओं को इन सफल यात्राओं के लिए हृदय से बहुत-बहुत बधाई देता हूं। और मैं लगातार इसकी जानकारी लेता रहता था। हर जगह से वीडियो मेरे पास पहुंचते थे और मैं देख रहा था कि इन यात्राओं में जो जन विश्वास मिला है, जो उत्साह और उमंग मिला है, जो समर्थन मिला है, ये अभूतपूर्व है अद्भुत है। लेकिन अब हमारी जिम्मेवारी शुरू होती है, पूरी करोगे? ये जिम्मेवारी पूरी करोगे? दोनों हाथ ऊपर करके बताइये, जिम्मेवारी पूरी करोगे? पक्का करोगे। ये यात्राओं में और इस महासंगम में ये जो उत्साह, उमंग, जनसमर्थन मिला है, इसको अब हमें आने वाले तीन महीने कड़ी मेहनत करके हर बूथ पर पहुंचाना है, पहुंचाओगे? पहुंचाओगे? हर बूथ पर जाओगे? हर बूथ में उत्साह पहुंचाओगे? हर बूथ में एक नई शक्ति नई ऊर्जा भर दोगे? हर बूथ जीतने का संकल्प कर लोगे? जरा जोर से बताइए, हर बूथ को जीतने का संकल्प कर लोगे? शाबाश!

साथियों,
आज यहां इतने सारे समर्पित साथियों को देखकर मन बहुत भावुक भी हो रहा है। मैं कल सोशल मीडिया पर कर्नाटका का ही एक वीडियो देख रहा था। एक पार्टी के बड़े नेता, कर्नाटका के पूर्व मुख्यमंत्री, उनकी ही पार्टी के एक कार्यकर्ता को सार्वजनिक रूप से थप्पड़ मारने का आनंद ले रहे थे।

जो अपने कार्यकर्ताओं का सम्मान नहीं कर सकते, वो जनता-जनार्दन का सम्मान क्या करेंगे? मुझे गर्व है कि भाजपा में कोई छोटा नहीं है- कोई बड़ा नहीं है। हम सभी कार्यकर्ता बिल्कुल बराबर-बराबर हैं। और इसलिए आपका दर्शन करना ये मेरे लिए बड़े सद्भाग्य है, सौभाग्य है। ऐसा भाव मेरे मन में आता है। कर्नाटका भाजपा का हर एक कार्यकर्ता, मेरे लिए मेरा एक मजबूत साथी है। कर्नाटका का हर कार्यकर्ता मेरा परम मित्र है। कर्नाटका का हर कार्यकर्ता मेरा सहोदर है।

भाइयों और बहनों,
भारतीय राजनीति में लंबे समय तक आरोपों की, आक्षेपों की राजनीति चली है। बीते वर्षों में भाजपा ने इस गंदी राजनीति को बदला है। पॉलिटिक्स, पॉलिटिक्स ऑफ परसेप्शन को भाजपा ने पॉलिटिक्स ऑफ परफॉर्मेंस में बदल दिया है।
इस बात की गवाही इस साल के शुरुआती तीन महीने में भी दे रहे हैं। अभी-अभी मैं बैंगलुरु से Whitefield metro line का उद्घाटन करके आ रहा हूं। इससे पहले, तुमकुरू को एशिया की सबसे बड़ी हेलीकॉप्टर बनाने की फैक्ट्री मिली। शिवमोगा एयरपोर्ट का लोकार्पण हुआ। दुनिया के सबसे लंबे रेलवे प्लेटफॉर्म में से एक कर्नाटका को मिला। बैंगलुरु-मैसुरू एक्सप्रेसवे का लोकार्पण हुआ। नारायणपुर लेफ्ट बैंक कैनाल के प्रोजेक्ट का लोकार्पण हुआ। IIT धारवाड़ के परमानेंट कैंपस का लोकार्पण हुआ। जल जीवन मिशन के तहत दर्जनों प्रोजेक्ट्स का शिलान्यास और लोकार्पण किया।

साथियों,
गिनते ही रह जाएंगे लोग, क्योंकि ये दिन-रात काम करने वाली डबल इंजन की सरकार है। डबल इंजन सरकार मुफ्त राशन से लेकर मुफ्त इलाज तक, गरीब की हर जरूरत का ध्यान रख रही है। सिर्फ साढ़े 3 वर्षों में ही लगभग 40 लाख नए नल कनेक्शन कर्नाटका में दिए गए हैं। इससे माताओं-बहनों का जीवन बहुत आसान हुआ है।
इस साल के बजट में केंद्र सरकार ने अपर भद्रा प्रोजेक्ट के लिए 5300 करोड़ रुपये स्वीकृत किए हैं। इसका भी बहुत बड़ा लाभ इस क्षेत्र के लोगों को, मेरे किसान भाइयों-बहनों को होने वाला है।

साथियों,
जब डबल इंजन सरकार नहीं होती है, तब क्या होता है। इसका उदाहरण पीएम किसान सम्मान योजना में है। साल 2019 में जब केंद्र की भाजपा सरकार ने योजना शुरू की, तब यहां कांग्रेस-जेडीएस की सरकार थी। बार-बार कहने के बाद भी कांग्रेस-जेडीएस ने बहुत कम किसानों के नाम केंद्र सरकार को भेजे थे।

जब कर्नाटका में डबल इंजन सरकार बनी तो उसने कांग्रेस और जेडीएस की गलतियों में सुधार किया। आज कर्नाटका के करीब-करीब 60 लाख किसानों को प्रधानमंत्री किसान सम्मान योजना का लाभ मिल रहा है। अब तक दावणगेरे के भी डेढ़ लाख से ज्यादा किसानों को भी लगभग साढ़े तीन सौ करोड़ रुपये दिए जा चुके हैं।
मुझे खुशी है कि केंद्र सरकार पीएम किसान सम्मान निधि के जो पैसे भेजती है, कर्नाटका की भाजपा सरकार उसमें और पैसे जोड़कर हमारे किसान भाइयों की ज्यादा मदद कर रही है। यही है डबल इंजन की सरकार का डबल फायदा।

साथियों,
दावणगेरे जिले में तो संत सेवालाल महाराज जी की जन्मस्थली है। संत सेवालाल महाराज जी ने बंजारा समुदाय की लड़ाई लड़ी। इसी वर्ष बोम्मई जी के नेतृत्व में भाजपा सरकार ने बंजारा समुदाय के परिवारों को हक्कु पत्र देने की शुरुआत की है। हमारा जो मंत्र है, दलित हो, आदिवासी हो, वनवासी हो, महिलाएं हो, बुजुर्ग हो, जो वंचित है, उन वंचितों को वरीयता, वंचितों को प्राथमिकता ये हमारे हर कदम में नजर आती है। ये हमारे संकल्प को दिखाता है।

भाइयों और बहनों,
कर्नाटका ने अवसरवादी औ स्वार्थी गठबंधन की सरकारों का लंबा दौर देखा है। ऐसी सरकारों से कर्नाटका को हमेशा नुकसान हुआ है। इसलिए कर्नाटका के तेज विकास के लिए भाजपा की पूर्ण बहुमत की स्थिर सरकार बहुत जरूरी है। आप बताइये भाइयों, जब किसी को बहुमत नहीं मिलता है तो हमारे कर्नाटका का हाल बुरा होता है कि नहीं होता है? होता है कि नहीं होता है? होता है कि नहीं होता है? अब कर्नाटका को मजबूत स्थिर सरकार चाहिए कि नहीं चाहिए? पूर्ण बहुमत वाली सरकार चाहिए कि नहीं चाहिए? मजबूत बहुमत वाली सरकार चाहिए कि नहीं चाहिए?
भाइयों और बहनों, अब पहला काम कर्नाटका को इस जोड़-तोड़ की राजनीति से बाहर लाना है। हमारे कर्नाटका को तेज गति से आगे ले जाना है। और इसलिए भाजपा की पूर्ण बहुमत वाली, मजबूत स्थिर सरकार ये कर्नाटका के लिए आज समय की मांग है। कर्नाटका के उज्ज्वल भविष्य के लिए ये बहुत आवश्यक है। जरा मेरे कर्नाटका के भाई-बहन बताइये, क्या कर्नाटका चाहता है कि मैं भी आपकी सेवा करूं। क्या आप चाहते हैं कि मैं भी आपकी सेवा करूं। जरा जोर से जवाब दीजिए, क्या मैं भी आपकी सेवा करूं। जितनी ज्यादा हो सके, उतनी सेवा करूं। हर कर्नाटकावासी की सेवा करूं। हर गांव की सेवा करूं। अब मुझे बताइये, अगर मुझे सेवा करनी है, आपके लिए मुझे कुछ करना है, तो मुझे कर्नाटका में भाजपा की मजबूत सरकार चाहिए कि नहीं चाहिए? चाहिए कि नहीं चाहिए? आप सबको जिताकर के लानी चाहिए कि नहीं लानी चाहिए? पक्का लाएंगे। घर-घर जाएंगे।
भाजपा कर्नाटका को विकसित भारत का ड्राइविंग फोर्स बनाना चाहती है। जबकि कांग्रेस कर्नाटका को नेताओं की तिजोरियां भरने वाले ATM के रूप में देखती है।

साथियों,
कांग्रेस वाले हर चुनाव से पहले झूठी गारंटी की एक पोटली लेकर घूमने लगते हैं। इनकी गारंटियां कैसी होती हैं, इसका ताजा-ताजा उदाहरण हिमाचल प्रदेश में हम देख रहे हैं। वहां अभी-अभी चुनाव हुए थे। उस चुनाव के पहले ये कांग्रेस के लोग ऐसे बड़े-बड़े वादे करते थे। ऐसी बड़ी-बड़ी घोषणाएं करते थे। ऐसी बड़ी-बड़ी पोटलियां खोल देते थे। उन्होंने वादा किया था रोजगार का। उन्होंने वादा किया था भत्ते का। ये मुफ्त की गारंटियों का पिटारा लेकर गए थे। लोगों को भ्रमित कर रहे थे।
कुछ दिन पहले हिमाचल सरकार का बजट आया तो चुनाव के पहले उन्होंने जो गारंटियां दीं थीं, उसका कहीं नामो-निशान नहीं दिख रहा है। क्या ऐसी कांग्रेस पर भरोसा कर सकते हैं। ऐसी कांग्रेस पर भरोसा कर सकते हैं। जोर से बोलिए- ऐसी कांग्रेस पर भरोसा कर सकते हैं। झूठे वादे करने वाली कांग्रेस पर भरोसा कर सकते हैं। क्या ऐसी कांग्रेस को कर्नाटका में पैर रखने की जगह देनी चाहिए क्या? पूरी तरह उनको निकालना चाहिए कि नहीं निकालना चाहिए? आज हिमाचल की जनता कांग्रेस को बार-बार पूछ रही है कि चुनाव के समय जो वादे लेकर के आए थे, जो गारंटियां लेकर के आए थे, अभी तो तीन महीने नहीं हुए हैं, उन गारंटियों का क्या हुआ? ये सब हवा में उड़ गईं। कर्नाटका के लोग भी जागते रहें। ये ऐसे ही खेल खेलने वाले के लिए कर्नाटका एक मौका न देना। कांग्रेस ऐसे ही जनता को धोखा देने में माहिर है।

साथियों,
आज कांग्रेस के पास देश के लिए, कर्नाटका के लिए कोई भी पॉजिटिव एजेंडा नहीं है। इसलिए कांग्रेस सपना देख रही है। और आपने सुना होगा, क्या सपना देख रही है। जो लोग हिंदी समझते हैं, उनको बराबर समझ आएगा। मैं बताता हूं कि कांग्रेस वाले क्या सपना देखते हैं और कभी-कभी पब्लिकली बोलते भी हैं। कांग्रेस वाले कहते हैं- मोदी तेरी कब्र खुदेगी। ये कांग्रेस वाले कहते हैं- मोदी तेरी कब्र खुदेगी। लेकिन ये कांग्रेस के लोगों को पता नहीं कि कर्नाटका के लोगों ने संकल्प ले लिया है। अगर उनका संकल्प है मोदी तेरी कब्र खुदेगी तो कर्नाटका का सपना है मोदी तेरा कमल खिलेगा। मोदी तेरा कमल खिलेगा। मोदी तेरा कमल खिलेगा।

 देश की जनता का, कर्नाटका की जनता का कमल के खिलने में ही विश्वास है। मेरे कर्नाटका के भाइयों-बहनों कमल में समृद्धि का, संपन्नता का, निवेश का, आगे बढ़ने का एक जबरदस्त विश्वास है। दुनिया आज भारत की तरफ देख रही है। और भारत हमारे कर्नाटका की तरफ देख रहा है।


कर्नाटका में वैश्विक निवेश को आकर्षित करने वाले बैंगलुरु जैसे अनेक HUB बनें, ये भाजपा का विजन है। इसलिए कोरोनाकाल में भी विदेशी निवेश के मामले में ये हमारा कर्नाटका प्रांत अग्रणी रहा है। और इसके लिए मैं मुख्यमंत्री जी और उनकी पूरी टीम को बधाई देता हूं।


भाइयो और बहनों, ये दावणगेरे टेक्सटाइल का हब है। केंद्र सरकार देशभर में 7 मेगा टेक्सटाइल पार्क बनाने वाली है। और इन सात में से एक ये हमारे कर्नाटका में बनने जा रहा है। कल ही हुबली-धारवाड़ में इलेक्ट्रॉनिक मैन्युफेक्चरिंग कलस्टर प्रोजेक्ट के लिए भी केंद्र सरकार ने स्वीकृति दी है। इससे भी हजारों नए रोजगार बनेंगे।
अब जब कर्नाटका का इंफ्रास्ट्रक्चर आधुनिक हो रहा है, तो खेती से लेकर सर्विस सेक्टर और मैन्युफेक्चरिंग सेक्टर तक हर इंडस्ट्री का विस्तार होने वाला है। ट्रेडिशन और टेक्नॉलॉजी से समृद्ध कर्नाटका में भाजपा सरकार की वजह से युवाओं के लिए अनंत अवसर बन रहे हैं।


विकसित कर्नाटका के लिए यहां पूर्ण बहुमत वाली भाजपा सरकार बहुत जरूरी है। ये संदेश हमें कर्नाटका के बूथ-बूथ तक पहुंचाना है। मुझे भाजपा के प्रत्येक कार्यकर्ता पर बहुत पूरा भरोसा है।
आप इतनी बड़ी संख्या में यहां आए। ये अपने-आप कर्नाटका के मिजाज को दिखाता है। भाइयो और बहनों, मैं जरा आपसे कुछ पूछना चाहता हूं। जवाब देंगे आप लोग? जवाब देंगे। जरा जोर से बोलिए- जवाब देंगे। आप मुझे बताइये, आज पूरी दुनिया में हिंदुस्तान के नाम की गूंज है कि नहीं है।


हिंदुस्तान का जय-जयकार हो रहा है कि नहीं हो रहा है। अमेरिका में भी हो रहा है कि नहीं हो रहा है। जर्मनी में भी हो रहा है कि नहीं हो रहा है। फ्रांस में भी हो रहा है कि नहीं हो रहा है। अफ्रीका में भी हो रहा है कि नहीं हो रहा है। सिंगापुर में भी हो रहा है कि नहीं हो रहा है। इंडोनेशिया में हो रहा है कि नहीं हो रहा है। जापान में हो रहा है कि नहीं हो रहा है। चारों तरफ हो रहा है ना। क्या कारण है? क्या कारण है? ये दुनिया में डंका बज रहा है, क्या कारण है? जरा सब बताइये क्या कारण है। आपका जवाब गलत निकला। आपका जवाब गलत निकला। ये दुनिया में हिंदुस्तान का डंका मोदी के कारण नहीं, ये आपने एक वोट दिया था ना, उसके कारण बज रहा है। ये आपके एक वोट की ताकत है, जो दुनिया में हिंदुस्तान का डंका बज रहा है।


भाइयों और बहनों, हमें कर्नाटका का जो डंका है ना, वो भी अब जोरों से बजाना है। और इसलिए आपके वोट की ताकत कर्नाटका को दुनियाभर में मशहूर कर देगी। भाइयों और बहनों, इतना बड़ा उत्साह, इतना उमंग, इतना जोश। अब ज्यादा मेहनत का काम शुरू हो रहा है। अप्रैल महीने के पहले सप्ताह में मेरा कर्नाटका फिर से आना होने वाला है। वर्ल्ड टाइगर डे के लिए मैं कर्नाटका के टाइगरों के बीच आने वाला हूं। और कर्नाटका के टाइगर टूरिज्म का भी बहुत बड़ा आकर्षण बनें, उसके लिए भारत सरकार एक बहुत बड़ा आयोजन अप्रैल महीने के प्रथम सप्ताह में कर्नाटका में करेगी। और मैं भी आने वाला हूं। फिर से आपके दर्शन करूंगा। और इन दस दिन में आपने क्या काम किया है, उसकी भी जरा पूछताछ करूंगा।


साथियों, ये कर्नाटका का प्यार, मैं जहां गया, करीब-करीब हर इलाके में जाना हुआ, आपने जो प्यार दिया है। आपने जो आशीर्वाद दिए हैं। उसने हमें एक नई शक्ति दी है। नया विश्वास दिया है। नई ऊर्जा दी है। और मैं इसके लिए दावणगेरे की धरती से कर्नाटका के हर नागरिक का सिर झुकाकर के धन्यवाद करता हूं। मैं उनका अभिनंदन करता हूं। आप सबके मेहनत, देश के लिए जीने का आपका संकल्प, इसके लिए मैं आप सभी मेरे साथियों को भी आज सिर झुकाकर के नमन करता हूं। प्रणाम करता हूं। मेरे साथ बोलिए-भारत माता की जय! आवाज पूरे कर्नाटका में गूंजनी चाहिए।
भारत माता की जय!
भारत माता की जय!
अब आपके मोबाइल की ये फ्लैश लाइट चालू कीजिए। और विजय संकल्प का प्रकाश, विजय संकल्प का प्रकाश सब दूर पहुंचाइये। ये विजय संकल्प का प्रकाश हर बूथ में पहुंचाना है। ये विजय संकल्प का संदेश हर बूथ में पहुंचाना है। हर परिवार में पहुंचाना है। फिर से बोलिए- भारत माता की जय। भारत माता की जय। भारत माता की जय। बहुत-बहुत धन्यवाद!