সংসদের উভয় কক্ষে ওয়াকফ (সংশোধনী) বিল এবং মুসলমান ওয়াকফ (প্রত্যাহার) বিল পাশকে এক সন্ধিক্ষণ বলে আখ্যা দিয়েছেন প্রধানমন্ত্রী শ্রী নরেন্দ্র মোদী।
এক্স হ্যান্ডলের একাধিক বার্তায় তিনি বলেছেন;
“সংসদের উভয় কক্ষে ওয়াকফ (সংশোধনী) বিল এবং মুসলমান ওয়াকফ (প্রত্যাহার) বিল পাশ এক সন্ধিক্ষণ যা সামাজিক-অর্থনৈতিক ন্যায় বিচার, স্বচ্ছতা এবং অন্তর্ভুক্তিমূলক বৃদ্ধিতে আমাদের এক যৌথ প্রয়াস। এটি দীর্ঘ সময় ধরে সমাজের প্রান্তসীমায় থেকে যাওয়া চাহিদা ও সুযোগের দিক থেকে অবহেলিত মানুষজনের কল্যাণ করবে।”
“সংসদের সমস্ত সদস্যদের প্রতি কৃতজ্ঞতা জানাই, সংসদীয় ও কমিটিগত আলোচনায় যাঁরা অংশ নিয়েছেন, নিজেদের দৃষ্টিভঙ্গি ব্যক্ত করেছেন এবং এই আইনকে শক্তিশালী করতে সাহায্য করেছেন। বিশেষ ধন্যবাদার্হ সেইসব মানুষজন, যাঁরা সংসদীয় কমিটিতে নিজেদের মূল্যবান মতামত জানিয়েছেন। আবারও বলতে হয়, বিস্তৃত বিতর্ক এবং আলোচনার গুরুত্ব পুনঃপ্রতিষ্ঠিত হল।”
“দশকের পর দশক ধরে ওয়াকফ ব্যবস্থায় স্বচ্ছতা ও দায়িত্বের দিকটি অবহেলিত থেকে গেছে। এতে বিশেষভাবে স্বার্থ বিঘ্নিত হয়েছে মুসলমান মহিলা, দরিদ্র মুসলমান এবং পসমন্দা মুসলমানদের। সংসদে পাশ হওয়া এই আইন মানুষের অধিকারকে সুরক্ষিত করবে এবং স্বচ্ছতার প্রসার ঘটাবে।”
“আমরা এখন এমন এক পর্বে প্রবেশ করলাম যার পরিকাঠামো হবে আরও আধুনিক, সংবেদনশীল এবং সামাজিক ন্যায় বিচার সম্পন্ন। বৃহত্তর দৃষ্টিভঙ্গিতে প্রতিটি নাগরিকের মর্যাদাকে অগ্রাধিকার দিতে আমরা দায়বদ্ধ। এইভাবেই আমরা এক শক্তিশালী, আরও বেশি অন্তর্ভুক্তিমূলক ও অনুভূতিপ্রবণ ভারতবর্ষ গড়ে তুলবো।”
The passage of the Waqf (Amendment) Bill and the Mussalman Wakf (Repeal) Bill by both Houses of Parliament marks a watershed moment in our collective quest for socio-economic justice, transparency and inclusive growth. This will particularly help those who have long remained on…
— Narendra Modi (@narendramodi) April 4, 2025
“संसद के दोनों सदनों से वक्फ (संशोधन) विधेयक और मुसलमान वक्फ (निरसन) विधेयक का पारित होना देश के लिए एक ऐतिहासिक क्षण है। यह सामाजिक-आर्थिक न्याय, पारदर्शिता और समावेशी विकास की हमारी सामूहिक प्रतिबद्धता को सामने लाता है। यह विशेष रूप से उन लोगों के लिए फायदेमंद होगा, जो लंबे समय से हाशिये पर रहे हैं, जिनकी आवाज अनसुनी रही और जिन्हें अवसरों से वंचित रहना पड़ा है।”
“उन सभी सांसदों का हृदय से आभार, जिन्होंने संसद और कमेटी की चर्चाओं में हिस्सा लिया और अपने विचार रखे। इन चर्चाओं ने विधेयक को और सशक्त बनाने का काम किया है। इस अवसर पर संसदीय समिति को अपना बहुमूल्य सुझाव भेजने वाले अनगिनत लोगों का भी मैं विशेष रूप से आभार व्यक्त करना चाहता हूं। इससे एक बार फिर यह पता चलता है कि व्यापक बहस और संवाद कितना महत्वपूर्ण होता है।”
“दशकों से वक्फ व्यवस्था में पारदर्शिता और जवाबदेही की कमी नजर आ रही थी। इससे मुख्य रूप से हमारी मुस्लिम माताओं-बहनों, गरीब और पसमांदा मुसलमान भाई-बहनों के हितों को बहुत नुकसान हो रहा था। अब संसद द्वारा पारित विधेयक पारदर्शिता को बढ़ाने के साथ-साथ लोगों के अधिकारों की रक्षा में भी मददगार बनेगा।”
“इसके साथ ही हम एक ऐसे युग में प्रवेश करेंगे, जो आज के समय के अनुरूप होने के साथ ही सामाजिक न्याय को लेकर प्रतिबद्ध होगा। देश के हर नागरिक की गरिमा को प्राथमिकता मिले, इसके लिए हम संकल्पबद्ध हैं। यह मार्ग ज्यादा सशक्त, समावेशी और संवेदनशील भारत के निर्माण में काफी महत्वपूर्ण होने वाला है।”
संसद के दोनों सदनों से वक्फ (संशोधन) विधेयक और मुसलमान वक्फ (निरसन) विधेयक का पारित होना देश के लिए एक ऐतिहासिक क्षण है। यह सामाजिक-आर्थिक न्याय, पारदर्शिता और समावेशी विकास की हमारी सामूहिक प्रतिबद्धता को सामने लाता है। यह विशेष रूप से उन लोगों के लिए फायदेमंद होगा, जो लंबे समय…
— Narendra Modi (@narendramodi) April 4, 2025


