মাননীয় প্রধানমন্ত্রী শেখ হাসিনা,

দু’দেশের প্রতিনিধিবৃন্দ,

সংবাদমাধ্যমের বন্ধুগণ,

নমস্কার!

প্রধানমন্ত্রী শেখ হাসিনা এবং তাঁর প্রতিনিধিদলকে আমি আন্তরিকভাবে স্বাগত জানাই। গত এক বছরে যদিও আমাদের মধ্যে প্রায় ১০ বারের মতো সাক্ষাৎকার ঘটেছে, আজকের এই বৈঠকটি একটি বিশেষ কারণে গুরুত্বপূর্ণ। কারণটি হল, প্রধানমন্ত্রী শেখ হাসিনা আমাদের সরকারের তৃতীয় মেয়াদকালে প্রথম রাষ্ট্রীয় অতিথি হিসাবে এ দেশে এসেছেন। 

বন্ধুগণ,

ভারতের ‘প্রতিবেশীই প্রথম’, ‘পূবে তাকাও’, ‘মিশন সাগর’ এবং ‘ভারত-প্রশান্ত মহাসাগরীয় অঞ্চল’ সম্পর্কে দৃষ্টিভঙ্গী – এই নীতিগুলির কেন্দ্রবিন্দুতে রয়েছে বাংলাদেশ।

গত এক বছরে আমরা একযোগে জনকল্যাণমুখী অনেকগুলি প্রকল্পের কাজই সম্পূর্ণ করেছি। আখাউরা-আগরতলা রুটে ষষ্ঠ ভারত-বাংলাদেশ আন্তঃসীমান্ত রেল সংযোগ চালু হয়ে গেছে। আবার, খুলনা-মংলা বন্দরের মধ্য দিয়ে ভারতের উত্তর-পূর্বাঞ্চলীয় রাজ্যগুলিতে পণ্য পরিবহণের সুযোগও সম্প্রসারিত হয়েছে। মংলা বন্দরটি এই প্রথম রেলপথে যুক্ত করা হল। অন্যদিকে, ১৩২০ মেগাওয়াট ক্ষমতাসম্পন্ন মৈত্রী তাপবিদ্যুৎ প্রকল্পটির দুটি ইউনিট বিদ্যুৎ উৎপাদনের কাজ শুরু করে দিয়েছে। দু’দেশের মধ্যে চালু হয়েছে ভারতীয় মুদ্রায় বাণিজ্যিক লেনদেন। আবার, ভারত ও বাংলাদেশের মধ্যে বিশ্বের দীর্ঘতম রিভার ক্রুজ-এর কাজ আমরা সাফল্যের সঙ্গেই সম্পূর্ণ করে ফেলেছি। ভারত ও বাংলাদেশের মধ্যে প্রথম আন্তঃসীমান্ত মৈত্রী পাইপলাইনটির নির্মাণ কাজও সম্পূর্ণ হয়ে গেছে। অন্যদিকে, শক্তি ও জ্বালানি ক্ষেত্রে উপ-আঞ্চলিক সহযোগিতার দৃষ্টান্ত হিসেবে নেপাল থেকে ভারতীয় গ্রিড ব্যবস্থায় বাংলাদেশে বিদ্যুৎ রপ্তানির কাজও শুরু হয়ে গেছে। মাত্র এক বছরের মধ্যেই এত বড় বড় প্রকল্পগুলি রূপায়ণের মাধ্যমে একথাই প্রমাণিত হয় যে আমাদের দু’দেশের সম্পর্কের গতি ও মাত্র কতটা গভীর ও প্রসারিত।

বন্ধুগণ,

নতুন নতুন ক্ষেত্রে সহযোগিতা প্রসারের লক্ষ্যে ভবিষ্যতের উপযোগী দৃষ্টিভঙ্গীও গ্রহণ করেছি আমরা। পরিবেশ-বান্ধব অংশীদারিত্ব, ডিজিটাল অংশীদারিত্ব, নিবিড় অর্থনীতি, মহাকাশ, ভারত-বাংলাদেশ মৈত্রী উপগ্রহ আমাদের দু’দেশের অংশীদারিত্বের সম্পর্ককে এক নতুন উচ্চতায় নিয়ে যাবে। এর ফলে, আমাদের মধ্যে যে সহযোগিতা চুক্তি সম্পাদিত হয়েছে, তা থেকে উপকৃত হবেন দু’দেশের তরুণ ও যুবকরা। সংযোগ ও যোগাযোগ, বাণিজ্যিক প্রচেষ্টা এবং পারস্পরিক সহযোগিতার ওপর আমরা এখন আমাদের দৃষ্টি আরও দৃঢ় ও গভীরভাবে নিবদ্ধ করেছি। 

১৯৬৫ সালের আগে দু’দেশের মধ্যে যে যোগাযোগ ব্যবস্থা চালু ছিল, গত ১০ বছরে আমরা তা পুনরায় চালু করে দিয়েছি। এখন আমরা ডিজিটাল এবং শক্তি ও জ্বালানি সম্পর্কিত সংযোগ ও যোগাযোগের ওপর বিশেষ জোর দেব। এথেকে উপকৃত হবে দু’দেশেরই অর্থনীতি। আমাদের অর্থনৈতিক সম্পর্ককে নতুন নতুন উচ্চতায় নিয়ে যাওয়ার লক্ষ্যে আমরা সেপা-র ওপর একটি নতুন চুক্তি সম্পাদনেও সম্মত হয়েছি। বাংলাদেশের সিরাজগঞ্জে একটি অন্তর্দেশীয় কন্টেনার ডিপো নির্মাণে ভারত বাংলাদেশকে সাহায্য করবে।

বন্ধুগণ,

৫৪টি নদী ভারত-বাংলাদেশকে যুক্ত করেছে। বন্যা নিয়ন্ত্রণের ব্যবস্থাপনা, আগাম সতর্কতা, পানীয় জল প্রকল্প ইত্যাদি ক্ষেত্রেও আমরা আমাদের সহযোগিতার প্রসার ঘটিয়েছি। ১৯৯৬ সালের গঙ্গার জলবন্টন সম্পর্কিত চুক্তিটি আবার নতুন করে বিবেচনার জন্য কারিগরি ও প্রযুক্তি পর্যায়ে আমরা আলোচনার সিদ্ধান্ত নিয়েছি। বাংলাদেশে তিস্তার জল সংরক্ষণ ও তার ব্যবস্থাপনা সম্পর্কে প্রযুক্তি ও কারিগরির একটি দল খুব শীঘ্রই বাংলাদেশ সফর করবে।

বন্ধুগণ,

আমাদের প্রতিরক্ষা সহযোগিতাকে প্রতিরক্ষা উৎপাদন থেকে শুরু করে সেনাবাহিনীর আধুনিকীকরণ পর্যন্ত নিয়ে যাওয়ার লক্ষ্যে সুনির্দিষ্ট আলোচনাও আমরা করেছি। সন্ত্রাস মোকাবিলা, জঙ্গী আক্রমণ প্রতিরোধ এবং সীমান্ত অঞ্চলে শান্তি সুরক্ষিত রাখতে আমরা আমাদের সহযোগিতাকে আরও জোরদার করে তোলার সিদ্ধান্ত নিয়েছি। 

অন্যদিকে, ভারত মহাসাগর অঞ্চলে আমাদের দুটি দেশের একটি সাধারণ উদ্দেশ্য রয়েছে। ভারত-প্রশান্ত মহাসাগরীয় অঞ্চলের যৌথ উদ্যোগ সম্পর্কে বাংলাদেশের সিদ্ধান্তকে আমরা স্বাগত জানিয়েছি। বিমস্টেক সহ অন্যান্য আঞ্চলিক তথা আন্তর্জাতিক মঞ্চেও আমাদের সহযোগিতাকে আমরা প্রসারিত করে যাব। 

বন্ধুগণ,

ভারত-বাংলাদেশ সম্পর্কের মূলে রয়েছে দুটি দেশের মিলিত সংস্কৃতি এবং দু’দেশের নাগরিকদের মধ্যে যোগাযোগ। এই বিষয়টির দিকে নজর দিয়ে আমরা বৃত্তি ব্যবস্থাকে আরও প্রসারিত করা এবং সেইসঙ্গে প্রশিক্ষণ ও ক্ষমতা বৃদ্ধির কাজে সহযোগিতাকে আরও জোরদার করে তুলব। বাংলাদেশ থেকে যে সমস্ত মানুষ চিকিৎসার জন্য এ দেশে আসবেন, তাঁদের জন্য ই-মেডিকেল ভিসাও ভারতের পক্ষ থেকে চালু করা হবে। বাংলাদেশের রংপুরে আমরা একটি নতুন অ্যাসিস্ট্যান্ট হাই-কমিশন স্থাপন করারও সিদ্ধান্ত নিয়েছি। বাংলাদেশের উত্তর-পশ্চিম অঞ্চলের নাগরিকদের সুবিধার্থেই আমাদের এই সিদ্ধান্ত।

আজ বিশ্বকাপ ক্রিকেট ম্যাচে ভারত ও বাংলাদেশ – দুটি দলেরই সাফল্য আমি কামনা করছি।

বন্ধুগণ,

বাংলাদেশ হল উন্নয়নের ক্ষেত্রে ভারতের বৃহত্তম সহযোগী। এই কারণে বাংলাদেশের সঙ্গে আমাদের সম্পর্ককে আমরা সর্বদাই সর্বোচ্চ অগ্রাধিকার দিয়ে আসছি। বঙ্গবন্ধু যে স্থায়ী, সমৃদ্ধ এবং প্রগতিশীল বাংলাদেশের স্বপ্ন দেখেছিলেন, তা সাকার করে তুলতে ভারত অঙ্গীকারবদ্ধ। আমি নিশ্চিতভাবেই বিশ্বাস করি যে আগামী ২০২৬ সালের মধ্যে বাংলাদেশ রূপান্তরিত হবে এক উন্নয়নশীল রাষ্ট্রে। “সোনার বাংলা”র নেতৃত্বদানের জন্য প্রধানমন্ত্রী শেখ হাসিনার আমি বিশেষ প্রশংসা করি। আমি দৃঢ়ভাবে বিশ্বাস করি যে আমরা একত্রে ‘বিকশিত ভারত, ২০৪৭’ এবং ‘স্মার্ট বাংলাদেশ, ২০৪১’-এর স্বপ্নকে বাস্তবায়িত করতে পারব। 

আপনাদের সকলকে অসংখ্য ধন্যবাদ।

প্রধানমন্ত্রীর মূল বিবৃতিটি ছিল হিন্দিতে।

 

 

 

 

 

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India–Russia friendship has remained steadfast like the Pole Star: PM Modi during the joint press meet with Russian President Putin
December 05, 2025

Your Excellency, My Friend, राष्ट्रपति पुतिन,
दोनों देशों के delegates,
मीडिया के साथियों,
नमस्कार!
"दोबरी देन"!

आज भारत और रूस के तेईसवें शिखर सम्मेलन में राष्ट्रपति पुतिन का स्वागत करते हुए मुझे बहुत खुशी हो रही है। उनकी यात्रा ऐसे समय हो रही है जब हमारे द्विपक्षीय संबंध कई ऐतिहासिक milestones के दौर से गुजर रहे हैं। ठीक 25 वर्ष पहले राष्ट्रपति पुतिन ने हमारी Strategic Partnership की नींव रखी थी। 15 वर्ष पहले 2010 में हमारी साझेदारी को "Special and Privileged Strategic Partnership” का दर्जा मिला।

पिछले ढाई दशक से उन्होंने अपने नेतृत्व और दूरदृष्टि से इन संबंधों को निरंतर सींचा है। हर परिस्थिति में उनके नेतृत्व ने आपसी संबंधों को नई ऊंचाई दी है। भारत के प्रति इस गहरी मित्रता और अटूट प्रतिबद्धता के लिए मैं राष्ट्रपति पुतिन का, मेरे मित्र का, हृदय से आभार व्यक्त करता हूँ।

Friends,

पिछले आठ दशकों में विश्व में अनेक उतार चढ़ाव आए हैं। मानवता को अनेक चुनौतियों और संकटों से गुज़रना पड़ा है। और इन सबके बीच भी भारत–रूस मित्रता एक ध्रुव तारे की तरह बनी रही है।परस्पर सम्मान और गहरे विश्वास पर टिके ये संबंध समय की हर कसौटी पर हमेशा खरे उतरे हैं। आज हमने इस नींव को और मजबूत करने के लिए सहयोग के सभी पहलुओं पर चर्चा की। आर्थिक सहयोग को नई ऊँचाइयों पर ले जाना हमारी साझा प्राथमिकता है। इसे साकार करने के लिए आज हमने 2030 तक के लिए एक Economic Cooperation प्रोग्राम पर सहमति बनाई है। इससे हमारा व्यापार और निवेश diversified, balanced, और sustainable बनेगा, और सहयोग के क्षेत्रों में नए आयाम भी जुड़ेंगे।

आज राष्ट्रपति पुतिन और मुझे India–Russia Business Forum में शामिल होने का अवसर मिलेगा। मुझे पूरा विश्वास है कि ये मंच हमारे business संबंधों को नई ताकत देगा। इससे export, co-production और co-innovation के नए दरवाजे भी खुलेंगे।

दोनों पक्ष यूरेशियन इकॉनॉमिक यूनियन के साथ FTA के शीघ्र समापन के लिए प्रयास कर रहे हैं। कृषि और Fertilisers के क्षेत्र में हमारा करीबी सहयोग,food सिक्युरिटी और किसान कल्याण के लिए महत्वपूर्ण है। मुझे खुशी है कि इसे आगे बढ़ाते हुए अब दोनों पक्ष साथ मिलकर यूरिया उत्पादन के प्रयास कर रहे हैं।

Friends,

दोनों देशों के बीच connectivity बढ़ाना हमारी मुख्य प्राथमिकता है। हम INSTC, Northern Sea Route, चेन्नई - व्लादिवोस्टोक Corridors पर नई ऊर्जा के साथ आगे बढ़ेंगे। मुजे खुशी है कि अब हम भारत के seafarersकी polar waters में ट्रेनिंग के लिए सहयोग करेंगे। यह आर्कटिक में हमारे सहयोग को नई ताकत तो देगा ही, साथ ही इससे भारत के युवाओं के लिए रोजगार के नए अवसर बनेंगे।

उसी प्रकार से Shipbuilding में हमारा गहरा सहयोग Make in India को सशक्त बनाने का सामर्थ्य रखता है। यह हमारेwin-win सहयोग का एक और उत्तम उदाहरण है, जिससे jobs, skills और regional connectivity – सभी को बल मिलेगा।

ऊर्जा सुरक्षा भारत–रूस साझेदारी का मजबूत और महत्वपूर्ण स्तंभ रहा है। Civil Nuclear Energy के क्षेत्र में हमारा दशकों पुराना सहयोग, Clean Energy की हमारी साझा प्राथमिकताओं को सार्थक बनाने में महत्वपूर्ण रहा है। हम इस win-win सहयोग को जारी रखेंगे।

Critical Minerals में हमारा सहयोग पूरे विश्व में secure और diversified supply chains सुनिश्चित करने के लिए महत्वपूर्ण है। इससे clean energy, high-tech manufacturing और new age industries में हमारी साझेदारी को ठोस समर्थन मिलेगा।

Friends,

भारत और रूस के संबंधों में हमारे सांस्कृतिक सहयोग और people-to-people ties का विशेष महत्व रहा है। दशकों से दोनों देशों के लोगों में एक-दूसरे के प्रति स्नेह, सम्मान, और आत्मीयताका भाव रहा है। इन संबंधों को और मजबूत करने के लिए हमने कई नए कदम उठाए हैं।

हाल ही में रूस में भारत के दो नए Consulates खोले गए हैं। इससे दोनों देशों के नागरिकों के बीच संपर्क और सुगम होगा, और आपसी नज़दीकियाँ बढ़ेंगी। इस वर्ष अक्टूबर में लाखों श्रद्धालुओं को "काल्मिकिया” में International Buddhist Forum मे भगवान बुद्ध के पवित्र अवशेषों का आशीर्वाद मिला।

मुझे खुशी है कि शीघ्र ही हम रूसी नागरिकों के लिए निशुल्क 30 day e-tourist visa और 30-day Group Tourist Visa की शुरुआत करने जा रहे हैं।

Manpower Mobility हमारे लोगों को जोड़ने के साथ-साथ दोनों देशों के लिए नई ताकत और नए अवसर create करेगी। मुझे खुशी है इसे बढ़ावा देने के लिए आज दो समझौतेकिए गए हैं। हम मिलकर vocational education, skilling और training पर भी काम करेंगे। हम दोनों देशों के students, scholars और खिलाड़ियों का आदान-प्रदान भी बढ़ाएंगे।

Friends,

आज हमने क्षेत्रीय और वैश्विक मुद्दों पर भी चर्चा की। यूक्रेन के संबंध में भारत ने शुरुआत से शांति का पक्ष रखा है। हम इस विषय के शांतिपूर्ण और स्थाई समाधान के लिए किए जा रहे सभी प्रयासों का स्वागत करते हैं। भारत सदैव अपना योगदान देने के लिए तैयार रहा है और आगे भी रहेगा।

आतंकवाद के विरुद्ध लड़ाई में भारत और रूस ने लंबे समय से कंधे से कंधा मिलाकर सहयोग किया है। पहलगाम में हुआ आतंकी हमला हो या क्रोकस City Hall पर किया गया कायरतापूर्ण आघात — इन सभी घटनाओं की जड़ एक ही है। भारत का अटल विश्वास है कि आतंकवाद मानवता के मूल्यों पर सीधा प्रहार है और इसके विरुद्ध वैश्विक एकता ही हमारी सबसे बड़ी ताक़त है।

भारत और रूस के बीच UN, G20, BRICS, SCO तथा अन्य मंचों पर करीबी सहयोग रहा है। करीबी तालमेल के साथ आगे बढ़ते हुए, हम इन सभी मंचों पर अपना संवाद और सहयोग जारी रखेंगे।

Excellency,

मुझे पूरा विश्वास है कि आने वाले समय में हमारी मित्रता हमें global challenges का सामना करने की शक्ति देगी — और यही भरोसा हमारे साझा भविष्य को और समृद्ध करेगा।

मैं एक बार फिर आपको और आपके पूरे delegation को भारत यात्रा के लिए बहुत बहुत धन्यवाद देता हूँ।