'Pariwarwaadis' making hollow promises to people of UP: PM Modi

Published By : Admin | February 10, 2022 | 11:45 IST
I am seeing these days that some “Pariwarwaad” people are constantly making hollow promises to the public. Do not fall into their traps of hollowness: PM Modi
For the poor to get continuous free ration during the pandemic, for the poor to not face any problem in getting the free corona vaccine, the BJP government is an absolute necessity: PM Modi
Previous governments failed on the promise of delivering only 500 houses in Saharanpur while the current government has sanctioned 31,000 houses already: PM Modi

भारत माता की...भारत माता की...भारत माता की...

मां शाकुंभरी की भूमि सहारनपुर के समस्त भाईयों और बहनों को आदरपूर्वक नमस्कार। जहां मां दुर्गा के चार रूपों के एक जगह दर्शन होते हैं, ऐसी पावन जगह से मैं सभी माताओं, बहनों, बेटियों का भी अभिनंदन करता हूं। मुझे खुशी है कि इस चुनाव में प्रत्यक्ष, जनता जनार्दन के समक्ष, प्रचार की शुरुआत सहारनपुर से हो रही है और मैं आज यहां से प्रथम चरण का जो मतदान चल रहा है, वहां के मतदाताओं की भी क्षमा चाहता हूं।

मेरा ये फर्ज बनता था कि चुनाव घोषित होने के बाद उनके बीच जाऊं, लेकिन इलेक्शन कमीशन ने भी कुछ मर्यादाएं रखी थीं। वर्चुअल समिट में उनसे जरूर मिला था, लेकिन रूबरू जा करके दर्शन नहीं कर पाया था। तो मैं प्रथम चरण के मतदाताओं की क्षमा याचना के साथ, दूसरे चरण के मतदाताओं को प्रणाम करते हुए, आपके आशीर्वाद लेकर के आज चुनाव अभियान का आरंभ कर रहा हूं।

भाइयों-बहनों,

इस क्षेत्र के लोगों ने ठान लिया है, जो यूपी को विकास की नई ऊंचाई पर पहुंचाएगा, उसे वोट देंगे। जो यूपी को दंगामुक्त रखेगा, उसे वोट देंगे। सही है न, दंगा मुक्त होना चाहिए की नहीं होना चाहिए। ये दंगों के खेल फिर से आने नहीं देना है न। जो हमारी बहन-बेटियों को भयमुक्त रखेगा, उसे वोट देंगे। जो अपराधियों को जेल भेजेगा, उसे ही वोट देंगे।

आज पश्चिमी यूपी के कुछ विधानसभा क्षेत्रों में पहले चरण का मतदान चल रहा है। अभी रास्ते में किसी ने पहले ट्रेंड की खबर मुझे किसी ने दी, मुझे बहुत आनंद हुआ है कि ठंड में भी सुबह-सुबह लोग बहुत बड़ी-बड़ी कतारें लगाकर मतदान के लिए पहुंचे हैं। मैं चुनाव आय़ोग का, चुनाव ड्यूटी में लगे कर्मचारियों का और अपनी लोकतांत्रिक जिम्मेदारी निभाने के लिए कतार में खड़े रहकर आगे बढ़े हैं। ऐसे सभी मतदाताओं का मैं अभिनंदन करता हूं।

साथियों,

भाजपा ने यूपी चुनावों के लिए अपना जो घोषणापत्र जारी किया है, ये घोषणापत्र लोक कल्याण का संकल्प पत्र है। डबल इंजन की सरकार जो काम कर रही है, उसके पीछे और उसके लिए यूपी में भाजपा सरकार जरूरी है। गरीबों को पीएम आवास योजना के घर मिलते रहें, इसके लिए यूपी में भाजपा सरकार बहुत जरूरी है।

गरीबों को अच्छे अस्पतालों में 5 लाख रुपए तक के इलाज की मुफ्त सुविधा मिलती रहे, इसके लिए यूपी में भाजपा सरकार बहुत जरूरी है। छोटे किसानों के बैंक खाते में पीएम किसान योजना का पैसा जाता रहे, इसके लिए यूपी में भाजपा सरकार जरूरी है। गरीबों को इस महामारी के समय मुफ्त राशन मिलता रहे, इसके लिए यूपी में भाजपा सरकार जरूरी है। गरीबों को कोरोना की वैक्सीन मुफ्त लगने में दिक्कत ना हो, इसके लिए भी यूपी में भाजपा सरकार जरूरी है।

भाइयों-बहनों,

ये मैं इसलिए दोहरा रहा हूं। मैं ये इसलिए कह रहा हूं। क्योंकि ये घोर परिवारवादी लोग सरकार में होते तो शायद वैक्सीन रास्ते में ही कहीं बिक जाती। और आप कोरोना के भय से आतंकित होकर जीवन-मृत्यू की लड़ाई लड़ने को मजबूर हो जाते। डबल इंजन की सरकार यहां जो यूनिवर्सिटी बना रही है, सहारनपुर को आधुनिक सड़कों द्वारा दिल्ली और उत्तराखंड से जोड़ने का काम कर रही है, इस तरह के काम बेरोक-टोक चलते रहें, इसके लिए यूपी में भाजपा की सरकार जरूरी है।

साथियों,

सहारनपुर, खेती किसानी के साथ ही उद्यमियों का भी गढ़ है। यहां लकड़ी का, फर्नीचर का इतना काम होता है। आप सभी जानते हैं कि कोई भी सामान, समय पर पहुंचाना कितना जरूरी होता है। ऑर्डर मिले लेकिन समय पर सामान न पहुंचे, तो फिर ऑर्डर ही मिलना बंद हो जाता है। किसान भी जानते हैं कि उनकी उपज चाहे फल हो सब्जियां हों, फूल हों, जहां पहुंचाना है, वहां पहुंचाने में देर हो जाती ही।

तो उसमें से काफी मात्रा में उनकी पैदावार बर्बाद हो जाती है, सड़ जाती है। इसे समझते हुए ही योगी जी की सरकार, यूपी के अलग-अलग जिलों को, अच्छी सड़कों से जोड़ रही है, यूपी की कनेक्टिविटी बढ़ा रही है। गंगा एक्सप्रेसवे, दिल्ली-देहरादून एक्सप्रेसवे, दिल्ली-यमुनोत्री हाईवे, दिल्ली-सहारनपुर फोरलेन, सहारनपुर एयरपोर्ट, यूपी में इतनी तेजी से, इतने बड़े-बड़े काम पहले कभी नहीं हुए। पहले हुआ था क्या, पहले इतने काम होते थे क्या, इतनी जल्दी से होते थे क्या।

भाइयों और बहनों,

भाजपा सरकार का ये इतिहास है, ये परंपरा है, भाजपा सरकार जो संकल्प लेती है, उसे पूरा करके दिखाती है। ये हमारी ही सरकार है जिसने गन्ना किसानों को पहले के मुकाबले कहीं ज्यादा का भुगतान किया है। गन्ना किसानों को जितना पैसा पहले की सरकारों के 10 साल में मिला था, उससे ज्यादा राशि योगी जी की सरकार ने उन्हें दी है। हम गन्ना किसानों को एक और परेशानी से मुक्ति दिलाने का स्थाई उपाय भी कर रहे हैं। ऐसी समस्याएं हर बार आएं, राजनीति चलती रहे और किसान बेचारा राजनेताओं पर निर्भर रहे, हम किसान को भी आत्मनिर्भर बनाना चाहते हैं। गन्ना किसानों की ताकत बढ़ाना चाहते हैं।

साथियों,

हमारे गन्ना किसानों के सामने, ऐसी समस्या होती है कि चीनी की कीमतें कम हों या फिर चीनी मिलें बंद हों, तो गन्ना किसान सबसे पहले परेशान हो जाता है। दुनिया के बाजार में चीनी की पैदावार बढ़ जाए, तो भी भारत में चीनी कारखाने, चीनी की पैदावार से डरते हैं, कारखाने बंद करते हैं, गन्ना किसान को परेशानी होती है। अनेक प्रकार की चुनौतियां, चीनी का वैश्विक बाजार ऊपर-नीचे हो जाए तो मुसीबत गन्ना किसानों को, हमारे यहां के चीनी के उत्पादन कम-अधिक हो जाए, गन्ना किसान को परेशानी, हमारे चीनी के कारखाने चलें या बंद रहें, गन्ना किसान को परेशानी।

इस चुनौती से निपटने के लिए हमारी सरकार एक बड़े विजन के साथ काम कर रही है। स्थाई उपाय के रास्ते पर इस पूरे क्षेत्र को ले जाने के लिए काम कर रही है। गन्ना किसानों के हितों को ध्यान में रखते हुए, अब गन्ने से सिर्फ चीनी बने ऐसा नहीं, चीनी न बने तो गन्ना किसान परेशान हो जाए ऐसा नहीं। दुनिया में चीनी की मांग कम हो जाए और चीनी पैदा करने वाले चीनी पैदा करना बंद कर दें। तो गन्ना किसान परेशान हो जाए, ऐसी स्थिति से बाहर निकालने के लिए, गन्ने से जब जरूरत पड़ेगी तब चीनी बनाएंगे, जब जरूरत पड़ेगी तब इथेनॉल बनाएंगे।

लेकिन गन्ना किसान को परेशानी नहीं आने देंगे और इसके लिए बहुत बड़ा अभियान चला रहे हैं। ये गन्ना किसानों को लाभ भी दे रहा और उनकी आर्थिक व्यवस्था को एक गारंटी देता है, सुरक्षा देता है। मुझे खुशी है योगी जी ने ताबड़तोड़ इस काम में मदद की। और भारत सरकार जो मिशन लेकर चल रही थी, योगीजी कंधे से कंधा मिलाकर मेरे साथ चले और इतने कम समय में यूपी को 12 हजार करोड़ रुपए, गन्ने से जो इथेनॉल बना न, 12 हजार करोड़ रुपया इथेनॉल से मिले हैं। जो उत्तर प्रदेश के काम आ रहे हैं, गन्ना किसानों को सुरक्षा दे रहे हैं।

और मेरे गन्ना किसान भाइयों, मेरे उत्तर प्रदेश के नौजवानों मेरे शब्द लिख कर रखिए। आने वाले दिनों में ये मामला 12 हजार करोड़ पर अटकने वाला नहीं है। ये राशि और बढ़ने वाली है। इससे गन्ना किसानों की आमदनी में भी वृद्धि होगी और उनकी समस्याओं का स्थाई समाधान निकलेगा। यूपी में जो पहले सरकारें रहीं, वो इस तरह का विजन लेकर काम कर ही नहीं सकतीं थीं। कारण...कारण..., परिवारवाद। परिवार से बाहर देखना ही नहीं सोचना ही नहीं। आप की चिंता कभी करनी ही नहीं। सबकुछ माफियाओं के भरोसे चलाते रहना।

भाइयों-बहनों

हम स्थाई समाधान के लिए कदम उठाते हैं, हम स्थाई सामाधान के लिए रास्ते खोजते हैं। हम हिंदुस्तान के हर गांव को, हर किसान को, हर नागरिक को आत्मसम्मान के साथ जीने का अवसर देने के लिए काम कर रहे हैं।  

साथियों,

सहारनपुर में व्यापार-कारोबार बढ़े, हमारे दुकानदार साथी बिना चिंता के काम कर सकें, इसके लिए कानून का राज भी बहुत आवश्यक है। सहारनपुर के मेरे भाइयों-बहनों बताओ, जरा मुझे ताकत से जवाब देना। कानून का राज होना चाहिए या नहीं होना चाहिए, कानून का डंडा चलना चाहिए कि नहीं चलना चाहिए, हर बहन-बेटी को सुख चैन की जिंदगी मिलनी चाहिए कि नहीं मिलनी चाहिए।

एक-एक नागरिक को सुरक्षा मिलनी चाहिए की नहीं मिलनी चाहिए। भाइयों-बहनों ये जो आप चाहते हैं, इसके लिए योगी जी काम कर रहे हैं, तो कहते हैं देखो योगी जी ने उसको जेल में डाल दिया, उसको जेल में डाल दिया। तो क्या उसको महल में भेजें क्या? उसको महल में भेजें क्या?

भाइयों-बहनों,

पहले यहां क्या स्थिति थी, ये आप लोग मुझसे ज्यादा जानते हैं। कानून व्यवस्था सुधरने पर यूपी में, निवेशकों में एक बार फिर औद्योगिक विकास का विश्वास आया है। भाजपा सरकार यूपी के हर जिले, हर क्षेत्र की ताकत, वहां की विशेषता को पहचानकर, उसे बढ़ाने में जुटी है। इसी सोच के साथ वन-डिस्ट्रिक्ट-वन-प्रोडक्ट योजना शुरू की गई है। योगी जी की सरकार ने छोटे, लघु और कुटीर उद्योगों को बढ़ावा देने के लिए भी निरंतर काम किया है।

साथियों,

आपका उत्साह-आपका प्यार मेरे सिर-आंखों पर, आप इतना प्यार दे रहे हो, मेरे प्यारे भाइयों-बहनों आपका ये प्यार, आपका ये आशीर्वाद, मैं आपको ब्याज समेत लौटाऊंगा। विकास करके लौटाऊंगा। आपका कल्याण करके लौटाऊंगा।

साथियों,

सहारनपुर की लकड़ी की नक्काशी तो विश्व भर में अपना डंका बजा रही है। हमारे कितने ही छोटे-मोटे परिवार, अनेक नौजवान, अनेक परिवार, इस कुटीर उद्योग से जुड़े हुए हैं। लेकिन इस लकड़ी की नक्काशी को, एक बड़े ब्रांड के तौर पर आगे बढ़ाने का काम भाजपा की सरकार ने किया। 2017 से पहले कोई इस उद्योग की सुध लेने वाला नहीं था।

भाइयों-बहनों,

मुझे बताइए, एक सवाल का जवाब देंगे आप। मुझ बताइए की योगी जी की सरकार बनने से पहले, ये नक्काशी का काम यहां होता था कि नहीं होता था। होता था कि नहीं होता था। उसके पहले जो सरकारें चलती थीं, तब भी होता था कि नहीं होता था। मोदी जी दिल्ली में आए उसके पहले भी होता था कि नहीं होता था। आपके दादा-परदादा भी करते थे कि नहीं करते थे।

लेकिन इतनी सरकारें आईं, इतने नेता आए, किसी ने आपको पूछा ही नहीं, ये भाजपा सरकार है, जिसने आपकी ताकत को पहचाना है और दुनिया में डंका बजाया है। आप देखिए, आज ये लकड़ी पर नक्काशी का जो काम है, उसको GI tag, ये डबल इंजन की सरकार ने ही दिया। ये दिलवाने का काम हमारी सरकार ने किया है। जब मैं वोकल फॉर लोकल बोलता हूं, वोकल फॉर... वोकल फॉर...तो उसमें भी सहारनपुर के स्थानीय उत्पादों के साथ, आपके उत्पादन की जो ताकत जुड़ी हुई है, उसका सामर्थ्य जुड़ा हुआ है।

भाइयों और बहनों,

मैं इन दिनों मैं देख रहा हूं कि कुछ घोर परिवारवादी लोग, ये पूरी पार्टी परिवारवादी, जनता से लगातार खोखले वायदे किए जा रहे हैं। वो इसी सोच पर चल रहे हैं क्योंकि उनको मालूम है कि उत्तर प्रदेश की जनता इनके पुराने कारनामों को याद करके, फिर से कभी उनको घुसने देने वाली नहीं है। उनके नसीब में सत्ता लिखी नहीं है, उत्तर प्रदेश की जनता ने उनको नकार दिया है।

और इसलिए बड़बोले वचन देना, कुछ भी वचन दे देना। हम ये करेंगे हम वो करेंगे, उनका क्या जाता है, आना तो है नहीं, करना तो है नहीं, बोलते जाओ, आप मान के चलिए, जब कोई बड़े-बड़े वादे करता है न, समझ लेना वो खोखले ही होंगे। गैर जिम्मेदार ही होंगे। और इसलिए।

मेरे प्यारे भाइयों और बहनों,

इन लोगों के बहकावे में नहीं आइएगा आप। इन लोगों को जब आपने मौका दिया, तो इन्होंने क्या किया, ये कभी मत भूलिएगा। आप याद करिए इन लोगों ने शहरों को 22 घंटे और गांवों को बिजली देने की बात कही थी। ऐसे वादे किए थे, लेकिन उन्होंने ऐसा पूरे उत्तर प्रदेश में नहीं किया। उत्तर प्रदेश को अंधेरे में रखा और किया तो कहां किया अपने परिवार के जिले में किया, परिवारवादी सोच बिजली में भी वहीं पर अटक गई।

सहारनपुर जैसे बाकी जिले ऐसे ही छोड़ दिए गए। ये लोग कभी यूपी के विकास के बारे में गरीबों के बारे में सोच ही नहीं सकते हैं। इन लोगों को गरीब का दर्द न दिखता है और न ही वे दुख दर्द को समझ पाते हैं। केंद्र सरकार जो घर बनाने की योजना चलाती है। उसमें भी हमारे गरीबों ने इस परिवारवादी लोगों की निर्दयता को झेला है।

भाइयों-बहनों,

मैं कुछ आंकड़े दूंगा, उसे आप बहुत गौर से सुनिएगा। बताऊं क्या, मैं आपको कुछ आंकड़े बताना चाहता हूं। ये आंकड़े सुनकर आप चौक जाएंगे, सिर्फ इतने आंकड़े सुनोगे न तो भी आपको लगेगा, ये भाजपा की सरकार हमेशा रहनी चाहिए, आप सुनिए।

साथियों,

जब यहां ये घोर परिवारवादी सत्ता में थे, सिर्फ परिवार के लिए जीने वाले लोग सत्ता में थे, तो सिर्फ यहां की लोकल बात करता हूं, बाहर कि नहीं करता हूं तकि आप चेक कर सकें। इन्होंने सहारनपुर के शहरी इलाकों में, हमारे सहारनपुर के शहरी इलाकों में 500 गरीबों के लिए घर बनाएंगे, उन्होंने स्वीकृति दी थी। कितने... कितने... कितने...सिर्फ 500।और इतनी बड़ी बातें करने वाले लोगों ने सिर्फ 500 घर भी बना नहीं पाए।

सिर्फ 200 घर बनाए, यानि 500 की बात की और बनाए कितने, आप देखिए 2017 में आपने, लोगों के लिए जीने वाली, उत्तर प्रदेश का भला करने वाली, उत्तर प्रदेश का कल्याण करने के लिए जी जान से जुटी हुई, उत्तर प्रदेश को गरीबी से बाहर निकालने के लिए काम करने वाली योगी जी की सरकार बनाई, जो बदलाव आया है, उसके आंकड़े भी सुनने जैसे हैं मैं बताऊं। पहले की सरकार ने 500 का लक्ष्य रखा, 200 कर पाए।

योगी जी ने क्या किया, भाइयों-बहनों सहारनपुर शहर की बात कर रहा हूं। 31 हज़ार, कहां 500 और कहां 31 हजार। 31 हजार घरों को स्वीकृति, यानि गरीब परिवार लखपति बनाने का लक्ष्य, इसमें से तो 18 हज़ार घर बनाने का काम पूरा कर दिया। 500 और 200 के बीच में भी जो लटके पड़े रहते हैं। उनकी जरूरत है या 31 हजार के लोगों की जरूरत है। सीधी समझ है, भाइयों काम करने वाली सरकार चाहिए, योजनाओं को जमीन पर लागू करने वाली सरकार चाहिए, यही होती है डबल इंजन की सरकार की ताकत।

सिर्फ और सिर्फ अपने परिवार की सेवा में लगे रहने वाले ये लोग, अपने परिवार का भला सोचने वाले लोग, गरीब के लिए, दलित, पीड़ित, शोषित, वंचित के लिए, छोटे किसान के लिए, ये कभी भी सोच नहीं सकते हैं, काम कभी कर नहीं सकते हैं।

साथियों,

आपको याद होगा, इन लोगों के राशन माफिया, याद है न राशन माफिया, ये हमारे गरीबों का राशन भी खा जाते थे। डबल इंजन की सरकार ने इनके ये कारनामे भी देखे हैं, कारस्तानी भी देखी है, और हमारी सरकार ने उसको बंद कर दिया, अलीगढ़ का ताला लगा दिया। अब मुझे बताइए, जिन लोगों के खेल बंद हो गए, उनको गुस्सा आएगा कि नहीं आएगा, ये चोरी डकैती का काम बंद हो गए, वो लामबंद होंगे की नहीं होंगे। वो हमारे खिलाफ जहर उगलेंगे कि नहीं उगलेंगे। मुझे बताइए क्या मुझे इससे डर जाना चाहिए क्या।

मुझे काम बंद करना चाहिए क्या। मुझे भाग जाना चाहिए क्या। मुझे आपकी भलाई के लिए काम करना चाहिए की नहीं करना चाहिए। जी जान से करना चाहिए की नहीं करना चाहिए। आपकी भलाई के लिए मेरी जिंदगी खपानी चाहिए की नहीं खपानी चाहिए। भाइयों और बहनों मैं ये तप करता हूं, क्योंकि आप मेरे साथ हैं। इसके कारण मुझे ताकत मिलती है।

भाइयों-बहनों,

100 साल के सबसे बड़े संकटकाल में, कोरोना वैश्विक महामारी में, गरीबों की सरकार ने किसी गरीब को भूखे नहीं सोने दिया। आज करोड़ों यूपी वासियों को मुफ्त राशन का डबल बेनिफिट मिल रहा है। इसमें बड़ी संख्या में हमारे दलित भाई-बहन, पिछड़ा वर्ग के साथी भी हैं। गरीब के लिए यही सेवाभाव है, जो यूपी का गरीब, दलित, पिछड़ा आज साफ-साफ अनुभव कर रहा है, आंखों के सामने देख रहा है। डबल इंजन का डबल बेनिफिट, यही उत्तर प्रदेश आज चाहता है।

साथियों,

सबका साथ, सबका विकास ही यूपी के विकास का मूल मंत्र है। भाजपा के लिए विकास में बेटियों की सहभागिता सबसे बड़ी प्राथमिकता है। इसलिए आज हर सेक्टर को बेटियों के लिए खोला जा रहा है। मुस्लिम बहनें-बेटियां हमारी इस साफ नीयत को भलीभांति समझती हैं। हमने मुस्लिम बहनों को तीन तलाक के जुल्म से मुक्ति दिलाई है। हमने जो तीन तलाक के खिलाफ कानून बनाया है, उसने मुस्लिम बहनों को सुरक्षा का विश्वास दिया है।

लेकिन साथियों, जब मुस्लिम बहनों-बेटियों का समर्थन खुलेआम भाजपा को मिलने लगा, जब मुस्लिम बेटियां अपने एक एक दो मिनट के वीडियो डालने लगीं, भाजपा की सरकार की तारिफ करने लगीं, सदियों के बाद इतना सम्मान मिला। इसके लिए गौरवगान करने लगीं, तो जो कुछ वोटों के ठेकेदार होते हैं, उनकी नींद हराम हो गई, वो बेचैन हो गए, हमारी ही बहन-बेटी मोदी-मोदी करने लग गई।

उनके पेट में दर्द होने लगा। मोदी की तारीफ में मुस्लिम बहनों के बयान, उनके वीडियो देख कर इन ठेकेदारों को लगा कि इन बेटियों को रोकना होगा। ये मोदी की तरफ में चली जाएगी। तो घर में ही उनका राज आ जाएगा। इसलिए ये मुस्लिम बहनों-बेटियों का हक रोकने के लिए, उनके विकास की आकांक्षाओं को रोकने के लिए नए-नए तरीके खोज रहे हैं। वो लोग मुस्लिम बहनों को बरगला रहे हैं ताकि मुस्लिम बेटियों का जीवन हमेशा पीछे ही रहे।

साथियों,

हमारी सरकार, हर मजलूम, हर पीड़ित मुस्लिम महिला के साथ खड़ी है। कोई मुस्लिम महिलाओं पर जुल्म ना कर सके, योगी जी की सरकार इसके लिए बहुत जरूरी है।

भाइयों और बहनों,

आपसे बात करते हुए, मैं एक और बात जरूर करूंगा। मुज़फ्फरनगर में जो हुआ, वो तो कलंक था ही, यहां सहारनपुर में जो कुछ हुआ था, वो भी खौफनाक था। था कि नहीं था, याद है कि नहीं है। राजनीतिक संरक्षण में कैसे लोगों को निशाना बनाया जाता है, सहारनपुर का दंगा इसका प्रमाण है। मेरे भाइयों-बहनों प्रमाण है। ऐसी ही करतूतों के कारण 2017 में आप लोगों ने दंगा-वादियों को ऐसा सबक सिखाया, ऐसा सबक सिखाया..और आज उत्तर प्रदेश को दंगा मुक्त करने में योगी जी को सफलता मिली।

लेकिन मेरे प्यारे भाइयों-बहनों आप ये मत सोचना कि ये दंगावादी लोग सुधर गए हैं। आप मत सोचना कि ये परिवारवादी सुधर गए हैं। ये तो मौके की तलाश में हैं। मौका मिल जाए इसके इंतजार में हैं। सहारनपुर के दंगों के बड़े गुनहगार को अब इन माफियावादियों ने इस चुनाव में अपना साथी बना लिया है।

और ये सिर्फ सहारनपुर की बात नहीं है। पूरे पश्चिमी यूपी में, इन लोगों ने चुन-चुन कर अपराधियों को मैदान में उतारा है। हालत तो ये है कि ये लोग अब राष्ट्र विरोधियों को अपना प्रस्तावक तक बना रहे हैं। इनका इरादा आप जरूर समझिए। योगी जी की सरकार ने अपराधियों के खिलाफ कार्रवाई की, उन्हें जेल भेजा, इसलिए इनका गुस्सा सातवें आसमान पर पहुंचा हुआ है। ये लोग यूपी के लोगों से बदला देना चाहते हैं, आप से बदला लेना चाहते हैं। और मैं ये देखकर हैरान हूं, कि जो लोग उस समय दंगाइयों को कोस रहे थे, वो इस चुनाव में दंगावादियों के साथ गले मिल रहे हैं, उनके साथ खड़े हो गए हैं।

भाइयों और बहनों,

हम विकास भी करते हैं, अपनी विरासत पर भी उतना ही गर्व करते हैं। हम इंडस्ट्रीयल कॉरिडोर भी बनवाते हैं और करतारपुर साहिब कॉरिडोर का भी निर्माण कराते हैं। ये हमारी ही सरकार है जिसने गुरू गोविंद सिंह जी के वीर साहिबजादों की स्मृति में 26 दिसंबर को वीर बाल दिवस के तौर पर घोषित किया है। ये हमारी ही सरकार है जिसने 47 के बंटवारे में मारे गए अपने भाई-बहनों की याद में, 14 अगस्त को विभाजन विभिषिका स्मृति दिवस घोषित किया है। ये काम पहले की सरकारें भी कर सकती थीं, लेकिन उन्होंने नहीं किया

। इसलिए आज देश की जनता सबसे ज्यादा भरोसा भाजपा पर करती है। उत्तर प्रदेश भरोसा भाजपा पर कर रहा है। पश्चिम उत्तर प्रदेश भरोसा भाजपा पर कर रहा है। सहारनपुर का पूरा क्षेत्र भाजपा पर भरोसा कर रहा है। यूपी के विकास को जारी रखने के लिए इस बार आपको ज्यादा से ज्यादा संख्या में वोट करना है।

आजकल शादियों की सीजन चल रहा है। शादी में व्यस्त होना बड़ा स्वाभाविक है, लेकिन इतनी व्यस्तता में भी मैं आप से आग्रह करूंगा, शादी हो, बारात आने वाली हो, बारात आई हो तो भी वोट देने का काम जरूर कीजिए, करेंगे न, सुबह जल्दी जल्दी वोट करेंगे न औरों से भी वोट करवाएंगे न, वोट करने के लिए पूरे मोहल्ले के, सोसायटी के लोगों से मिलेंगे न, घर-घर जाएंगे न ।

ज्यादा से ज्यादा वोट करवाएंगे न, सारे रिकॉर्ड तोड़ेंगे न, आपके आशीर्वाद के लिए, आपके विश्वास के लिए बहुत-बहुत आभार व्यक्त करता हूं।

भारत माता कि...

Explore More
২৭.০৪.২০২৫ দা শন্দোকখিবা মন কি বাতকী ১২১শুবা তাঙ্কক্ত প্রধান মন্ত্রীনা ফোঙদোকখিবা ৱারোল

Popular Speeches

২৭.০৪.২০২৫ দা শন্দোকখিবা মন কি বাতকী ১২১শুবা তাঙ্কক্ত প্রধান মন্ত্রীনা ফোঙদোকখিবা ৱারোল
Vande Mataram: The first proclamation of cultural nationalism

Media Coverage

Vande Mataram: The first proclamation of cultural nationalism
NM on the go

Nm on the go

Always be the first to hear from the PM. Get the App Now!
...
Congress and RJD only do politics of insult and abuse: PM Modi in Bhabua, Bihar
November 07, 2025
In Bhabua, PM Modi urges voters: One vote for the NDA can stop infiltrators; one vote can protect your identity
They will shake you down, drag people from their homes and run a reign of terror as their own songs glorify violence: PM Modi takes a dig at opposition
Congress leaders never talk about the RJD’s manifesto, calling it ‘a bunch of lies’: PM Modi at Bhabua rally

भारत माता की... भारत माता की... भारत माता की...
मां मुंडेश्वरी के ई पावन भूमि पर रऊआ सब के अभिनंदन करअ तानी।

कैमूर की इस पावन भूमि पर चारों दिशाओं से आशीर्वाद बरसता है। मां बिंध्यवासिनी, मां ताराचंडी, मां तुतला भवानी, मां छेरवारी, सब यहीं आसपास विराजती हैं। चारों ओर शक्ति ही शक्ति का साम्राज्य है। और मेरे सामने...विशाल मातृशक्ति है...जिनका आशीर्वाद हमेशा हम सभी पर रहा है... NDA पर रहा है। और मैं बिहार की मातृशक्ति का आभारी हूं। पहले चरण में NDA के उम्मीदवारों के पक्ष में जबरदस्त मतदान हुआ है। अब कैमूर की बारी है...अब रोहतास की बारी है...मैं इस मंच पर NDA के इन सभी उम्मीदवारों के लिए...आप सभी का साथ और समर्थन मांगने आया हूं। आपके आशीर्वाद मांगने के लिए आया हूं.. तो मेरे साथ बोलिए... फिर एक बार...फिर एक बार...NDA सरकार! फिर एक बार... फिर एक बार... फिर एक बार... बिहार में फिर से...सुशासन सरकार !

साथियों,
जब ये चुनाव शुरू हुआ था...तो RJD और कांग्रेस के लोग फूल-फूल के गुब्बारा हुए जा रहे थे।और RJD और कांग्रेस के नामदार आसमान पर पहुंचे हुए थे। लेकिन चुनाव प्रचार के दौरान RJD-कांग्रेस के गुब्बारे की हवा निकलनी शुरू हुई...और पहले चरण के बाद इनका गुब्बारा पूरी तरह फूट गया है। अब तो आरजेडी-कांग्रेस का इकोसिस्टम...उनके समर्थक भी कह रहे हैं...फिर एक बार... फिर एक बार...NDA सरकार!

साथियों,
आरजेडी-कांग्रेस ने बिहार के युवाओं को भ्रमित करने की बहुत कोशिश की..लेकिन उनकी सारी प्लानिंग फेल हो गई...इसका एक बहुत बड़ा कारण है...बिहार का जागरूक नौजवान... बिहार का नौजवान ये देख रहा है कि आरजेडी-कांग्रेस वालों के इरादे क्या हैं।

साथियों,
जंगलराज के युवराज से जब भी पूछा जाता है कि जो बड़े-बडे झूठ उन्होंने बोले हैं...वो पूरे कैसे करेंगे...तो वो कहते हैं...उनके पास प्लान है... और जब पूछा जाता है कि भाई बताओ कि प्लान क्या है.. तो उनके मुंह में दही जम जाता है, मुंह में ताला लग जाता है.. उत्तर ही नहीं दे पाते।

साथियों,
आरजेडी वालों का जो प्लान है...उससे मैं आज आप सब को, बिहार को और देश को भी सतर्क कर रहा हूं। आप देखिए....आरजेडी के नेताओं के किस तरह के गाने वायरल हो रहे हैं। चुनाव प्रचार के जो गाने हैं कैसे गाने वायरल हो रहे हैं। आरजेडी वालों का एक गाना है...आपने भी सुना होगा आपने भी वीडियों में देखा होगा। आरजेडी वालों का एक गाना है। आएगी भइया की सरकार... क्या बोलते हैं आएगी भइया की सरकार, बनेंगे रंगदार! आप सोचिए...ये RJD वाले इंतजार कर रहे हैं कि कब उनकी सरकार आए और कब अपहरण-रंगदारी ये पुराना गोरखधंधा फिर से शुरू हो जाए। RJD वाले आपको रोजगार नहीं देंगे...ये तो आपसे रंगदारी वसूलेंगे.. रंगदारी ।

साथियों,
RJD वालों का एक और गाना है... अब देखिए, ये क्या-क्या कर रहे हैं, क्या-क्या सोच रहे हैं...और मैं तो देशवासियों से कहूंगा। देखिए, ये बिहार में जमानत पर जो लोग हैं वो कैसे लोग है.. उनका क्या गाना है भइया के आबे दे सत्ता... भइया के आबे दे सत्ता...कट्टा सटा के उठा लेब घरवा से, आप अंदाजा लगा सकते हैं कि ये जंगलराज वाले सरकार में वापसी के लिए क्यों इतना बेचैन हैं। इन्हें जनता की सेवा नहीं करनी...इन्हें जनता को कट्टा दिखाकर लूटना है...उन्हें घर से उठवा लेना है। साथियों, आरजेडी का एक और गाना चल रहा है...बताऊं... बताऊं.. कैसा गाना चल रहा है.. मारब सिक्सर के 6 गोली छाती में...यही इनका तौर-तरीका है...यही इनका प्लान है...इनसे कोई भी सवाल पूछेगा तो यही जवाब मिलेगा...मारब सिक्सर के 6 गोली छाती में...

साथियों,
यही जंगलराज की आहट है। ये बहनों-बेटियों को गरीब, दलित-महादलित, पिछड़े, अतिपिछड़े समाज के लोगों को डराने का प्रयास है। भय पैदा करने का खेल है इनका। साथियों, जंगलराज वाले कभी कोई निर्माण कर ही नहीं सकते वे तो बर्बादी और बदहाली के प्रतीक हैं। इनकी करतूतें देखनी हों तो डालमिया नगर में दिखती हैं। रोहतास के लोग इस बात को अच्छी तरह जानते हैं।
((साथी आप तस्वीर लाए हैं, मैं अपनी टीम को कहता हूं वे ले लेते हैं, लेकिन आप तस्वीर ऊपर करते हैं तो पीछे दिखता नहीं है। मैं आपका आभारी हूं। आप ले आए हैं... मैं मेरे टीम को कहता हूं, जरा ले लीजिए भाई। और आप बैठिए नीचे। वे ले लेंगे। बैठिए, पीछे औरों को रुकावट होती है.. ठीक है भैया ))

साथियों,
अंग्रेज़ों के जमाने में डालमिया नगर की नींव पड़ी थी। दशकों के परिश्रम के बाद। एक फलता-फूलता औद्योगिक नगर बनता जा रहा था। लेकिन फिर कुशासन की राजनीति आ गई। कुशासन की राजनीति आ गई, जंगलराज आ गया। फिरौती, रंगदारी, करप्शन, कट-कमीशन, हत्या, अपहरण, धमकी, हड़ताल यही सब होने लगा। देखते ही देखते जंगलराज ने सबकुछ तबाह कर दिया।

साथियों,
जंगलराज ने बिहार में विकास की हर संभावना की भ्रूण हत्या करने का काम किया था। मैं आपको एक और उदाहरण याद दिलाता हूं। आप कैमूर में देखिए, प्रकृति ने क्या कुछ नहीं दिया है। ये आकर्षक पर्यटक स्थलों में से एक हो सकता था। लेकिन जंगलराज ने ये कभी होने नहीं दिया। जहां कानून का राज ना हो...जहां माओवादी आतंक हो बढ़ रहा हो.. क्या वहां पर कोई टूरिज्म जाएगा क्या? जरा बताइए ना जाएगा क्या? नहीं जाएगा ना.. नीतीश जी ने आपके इस क्षेत्र को उस भयानक स्थिति से बाहर निकाला है। मुझे खुशी है कि अब धीरे-धीरे यहा पर्यटकों की संख्या बढ़ रही है। जिस कर्कटगढ़ वॉटरफॉल... उस वाटरफॉल के आसपास माओवादी आतंक का खौफ होता था। आज वहां पर्यटकों की रौनक रहती है... यहां जो हमारे धाम हैं...वहां तीर्थ यात्रियों की संख्या लगातार बढ़ रही है। जागृत देवता हरषू ब्रह्म के दर्शन करने लोग आते हैं। आज यहां नक्सलवाद...माओवादी आतंक दम तोड़ रहा है....

साथियों,
यहां उद्योगों और पर्यटन की जो संभावनाएं बनी हैं... इसका हमें और तेजी से विस्तार करना है...देश-विदेश से लोग यहां बिहार में पूंजी लगाने के लिए तैयार हैं...बस उन्हें लालटेन, पंजे और लाल झंडे की तस्वीर भी नहीं दिखनी चाहिए। अगर दिख गई.. तो वे दरवाजे से ही लौट जाएंगे इसलिए हमें संकल्प लेना है...हमें बिहार को जंगलराज से दूर रखना है।

साथियों,
बिहार के इस चुनाव में एक बहुत ही खास बात हुई है। इस चुनाव ने कांग्रेस-आरजेडी के बीच लड़ाई को सबके सामने ला दिया है। कांग्रेस-आरजेडी की जो दीवार है ना वो टूट चुकी है कांग्रेस-आरजेडी की टूटी दीवार पर ये लोग चाहे जितना ‘पलस्तर’ कर लें... अब दोनों पार्टियों के बीच खाई गहरी होती जा रही है। पलस्तर से काम चलने वाला नहीं है। आप देखिए, इस क्षेत्र में भी कांग्रेस के नामदार ने रैलियां कीं। लेकिन पटना के नामदार का नाम नहीं लिया। कितनी छुआछूत है देखिए, वो पटना के नामदार का नाम लेने को तैयार नहीं है। कांग्रेस के नामदार दुनिया-जहां की कहानियां कहते हैं, लेकिन आरजेडी के घोषणापत्र पर, कोई सवाल पूछे कि भाई आरजेडी ने बड़े-बड़े वादे किए हैं इस पर क्या कहना है तो कांग्रेस के नामदार के मुंह पर ताला लग जाता है। ये कांग्रेस के नामदार अपने घोषणापत्र की झूठी तारीफ तक नहीं कर पा रहे हैं। एक दूसरे को गिराने में जुटे ये लोग बिहार के विकास को कभी गति नहीं दे सकते।

साथियों,
ये लोग अपने परिवार के अलावा किसी को नहीं मानते। कांग्रेस ने बाबा साहेब आंबेडकर की राजनीति खत्म की...क्योंकि बाब साहेब का कद दिल्ली में बैठे शाही रिवार से ऊंचा था। इन्होंने बाबू जगजीवन राम को भी सहन नहीं किया। सीताराम केसरी...उनके साथ भी ऐसा ही किया. बिहार के एक से बढ़कर एक दिग्गज नेता को अपमानित करना यही शाही परिवार का खेल रहा है। जबकि साथियों, भाजपा के, NDA के संस्कार...सबको सम्मान देने के हैं...सबको साथ लेकर चलने के हैं।

हमें लाल मुनी चौबे जी जैसे वरिष्ठों ने सिखाया है...संस्कार दिए हैं। यहां भभुआ में भाजपा परिवार के पूर्व विधायक, आदरणीय चंद्रमौली मिश्रा जी भी हमारी प्रेरणा हैं...अब तो वो सौ के निकट जा रहे हैं.. 96 साल के हो चुके हैं... और जब कोरोना का संकट आया तब हम हमारे सभी सीनियर को फोन कर रहा था। तो मैंने मिश्राजी को भी फोन किया। चंद्रमौली जी से मैंने हालचाल पूछे। और मैं हैरान था कि ये उमर, लेकिन फोन पर वो मेरा हाल पूछ रहे थे, वो मेरा हौसला बढ़ा रहे थे। ये इस धरती में आदरणीय चंद्रमौली मिश्रा जी जैसे व्यक्तित्वों से सीखते हुए हम भाजपा के कार्यकर्ता आगे बढ़ रहे हैं।

साथियों,
ऐसे वरिष्ठों से मिले संस्कारों ने हमें राष्ट्रभक्तों का देश के लिए जीने-मरने वालों का सम्मान करना सिखाया है। इसलिए, हमने बाबा साहेब आंबेडकर से जुड़े स्थानों को पंचतीर्थ के रूप में विकसित किया। और मैं तो काशी का सांसद हूं, मेरे लिए बड़े गर्व की बात है कि बनारस संत रविदास जी की जन्मभूमि है। संत रविदास की जयंति पर...मुझे कई बार वहां जाने का सौभाग्य प्राप्त हुआ है। 10-11 साल पहले वहां क्या स्थिति थी...और आज वहां कितनी सुविधाएं श्रद्धालुओं के लिए बनी हैं... इसकी चर्चा बनारस में, और बनारस के बाहर भी सभी समाजों में होती है।

साथियों,
बनारस ही नहीं...भाजपा सरकार मध्य प्रदेश के सागर में भी संत रविदास का भव्य मंदिर और स्मारक बना रही है। हाल ही में...मुझे कर्पूरी ग्राम जाने का अवसर मिला था..वहां पिछले कुछ वर्षों में सड़क, बिजली, पानी, शिक्षा और स्वास्थ्य से जुड़ी सुविधाओं का विस्तार हुआ है। कर्पूरीग्राम रेलवे स्टेशन को आधुनिक बनाया जा रहा है। साथियों, ये हमारी ही सरकार है...जो देशभर में आदिवासी स्वतंत्रता सेनानियों के स्मारक बना रही है। भगवान बिरसा मुंडा के जन्मदिवस को...हमने जनजातीय गौरव दिवस घोषित किया है। 1857 के क्रांतिवीर...वीर कुंवर सिंह जी की विरासत से भावी पीढ़ियां प्रेरित हों...इसके लिए हर वर्ष व्यापक तौर पर विजय दिवस का आयोजन किया जा रहा है।

साथियों,
कैमूर को धान का कटोरा कहा जाता है। और हमारे भभुआ के मोकरी चावल की मांग दुनियाभर में हो रही है। प्रभु श्रीराम को भोग में यही मोकरी का चावल अर्पित किया जाता है। राम रसोई में भी यही चावल मिलता है। आप मुझे बताइए साथियों, आप अयोध्या का राम मंदिर देखते हैं। या उसके विषय में सुनते हैं। यहां पर बैठा हर कोई मुझे जवाब दे, जब राममंदिर आप देखते हैं या उसके बारे में सुनते हैं तो आपको गर्व होता है कि नहीं होता है? माताओं-बहनों आपको गर्व होता है कि नहीं होता है? भव्य राम मंदिर का आपको आनंद आता है कि नहीं आता है? आप काशी में बाबा विश्वनाथ का धाम देखते हैं, आपको गर्व होता है कि नहीं होता है? आपका हृदय गर्व से भर जाता है कि नहीं भर जाता है? आपका माथा ऊंचा होता है कि नहीं होता है? आपको तो गर्व होता है। हर हिंदुस्तानी को गर्व होता है, लेकिन कांग्रेस-RJD के नेताओं को नहीं होता। ये लोग दुनियाभर में घूमते-फिरते हैं, लेकिन अयोध्या नहीं जाते। राम जी में इनकी आस्था नहीं है और रामजी के खिलाफ अनाप-शनाप बोल चुके हैं। उनको लगता है कि अगर अयोध्या जाएंगे, प्रभु राम के दर्शन करेंगे तो उनके वोट ही चले जाएंगे, डरते हैं। उनकी आस्था नाम की कोई चीज ही नहीं है। लेकिन मैं इनलोगों से जरा पूछना चाहता हूं.. ठीक है भाई चलो भगवान राम से आपको जरा भय लगता होगा लेकिन राम मंदिर परिसर में ही, आप मे से तो लोग गए होंगे। उसी राम मंदिर परिसर में भगवान राम विराजमान हैं, वहीं पर माता शबरी का मंदिर बना है। महर्षि वाल्मीकि का मंदिर बना है। वहीं पर निषादराज का मंदिर बना है। आरजेडी और कांग्रेस के लोग अगर रामजी के पास नहीं जाना है तो तुम्हारा नसीब, लेकिन वाल्मीकि जी के मंदिर में माथा टेकने में तुम्हारा क्या जाता है। शबरी माता के सामने सर झुकाने में तुम्हारा क्या जाता है। अरे निषादराज के चरणों में कुछ पल बैठने में तुम्हारा क्या जाता है। ये इसलिए क्योंकि वे समाज के ऐसे दिव्य पुरुषों को नफरत करते हैं। अपने-आपको ही शहंशाह मानते हैं। और इनका इरादा देखिए, अभी छठ मैया, छठी मैया, पूरी दुनिया छठी मैया के प्रति सर झुका रही है। हिंदुस्तान के कोने-कोने में छठी मैया की पूजा होने लगी है। और मेरे बिहार में तो ये मेरी माताएं-बहनें तीन दिन तक इतना कठिन व्रत करती है और आखिर में तो पानी तक छोड़ देती हैं। ऐसी तपस्या करती है। ऐसा महत्वपूर्ण हमारा त्योहार, छठी मैया की पूजा ये कांग्रेस के नामदार छठी मैया की इस पूजा को, छटी मैया की इस साधना को, छठी मैया की इस तपस्या को ये ड्रामा कहते हैं.. नौटंकी कहते हैं.. मेरी माताएं आप बताइए.. ये छठी मैया का अपमान है कि नहीं है? ये छठी मैया का घोर अपमान करते हैं कि नहीं करते हैं? ये छठी मैया के व्रत रखने वाली माताओ-बहनों का अपमान करते हैं कि नहीं करते हैं? मुझे बताइए मेरी छठी मैया का अपमान करे उसको सजा मिलनी चाहिए कि नहीं मिलनी चाहिए? पूरी ताकत से बताइए उसे सजा मिलनी चाहिए कि नहीं मिलनी चाहिए? अब मैं आपसे आग्रह करता हूं। अभी आपके पास मौका है उनको सजा करने का। 11 नवंबर को आपके एक वोट से उन्हें सजा मिल सकती है। सजा दोगे? सब लोग सजा दोगे?

साथियों,
ये आरजेडी-कांग्रेस वाले हमारी आस्था का अपमान इसलिए करते हैं, हमारी छठी मैया का अपमान इसलिए करते हैं। हमारे भगवान राम का अपमान इसलिए करते हैं ताकि कट्टरपंथी खुश रहें। इनका वोटबैंक नाराज ना हो।

साथियों,
ये जंगलराज वाले, तुष्टिकरण की राजनीति में एक कदम और आगे बढ़ गए हैं। ये अब घुसपैठियों का सुरक्षा कवच बन रहे हैं। हमारी सरकार गरीबों को मुफ्त अनाज-मुफ्त इलाज की सुविधा देती है। RJD-कांग्रेस के नेता कहते हैं ये सुविधा घुसपैठियों को भी देना चाहिए। गरीब को जो पक्का आवास हम दे रहे हैं, वो घुसपैठियों को भी देना चाहिए ऐसा कह रहे हैं। मैं जरा आपसे पूछना चाहता हूं, क्या आपके हक का अनाज घुसपैठिये को मिलना चाहिए क्या? आपके हक का आवास घुसपैठिये को मिलना चाहिए क्या? आपके बच्चों का रोजगार घुसपैठियों को जाना चाहिए क्या? भाइयों-बहनों मैं आज कहना नहीं चाहता लेकिन तेलंगाना में उनके एक मुख्यमंत्री के भाषण की बड़ी चर्चा चल रही है। लेकिन दिल्ली में एयरकंडीसन कमरों में जो सेक्युलर बैठे हैं ना उनके मुंह में ताला लग गया है। उनका भाषण चौंकाने वाला है। मैं उसकी चर्चा जरा चुनाव के बाद करने वाला हूं। अभी मुझे करनी नहीं है। लेकिन मैं आपसे कहना चाहता हूं मैं आपको जगाने आया हूं। मैं आपको चेताने आया हूं। इनको, कांग्रेस आरजेडी इन जंगलराज वालों को अगर गलती से भी वोट गया तो ये पिछले दरवाज़े से घुसपैठियों को भारत की नागरिकता दे देंगे। फिर आदिवासियों के खेतों में महादलितों-अतिपिछड़ों के टोलों में घुसपैठियों का ही बोलबाला होगा। इसलिए मेरी एक बात गांठ बांध लीजिए। आपका एक वोट घुसपैठियों को रोकेगा। आपका एक वोट आपकी पहचान की रक्षा करेगा।

साथियों,
नरेंद्र और नीतीश की जोड़ी ने बीते वर्षों में यहां रोड, रेल, बिजली, पानी हर प्रकार की सुविधाएं पहुंचाई हैं। अब इस जोड़ी को और मजबूत करना है। पीएम किसान सम्मान निधि के तहत...किसानों को अभी छह हज़ार रुपए मिलते हैं।बिहार में फिर से सरकार बनने पर...तीन हजार रुपए अतिरिक्त मिलेंगे। यानी कुल नौ हज़ार रुपए मिलेंगे। मछली पालकों के लिए अभी पीएम मत्स्य संपदा योजना चल रही है। केंद्र सरकार...मछली पालकों को किसान क्रेडिट कार्ड दे रही है। अब NDA ने..मछुआरे साथियों के लिए जुब्बा सहनी जी के नाम पर नई योजना बनाने का फैसला लिया है। इसके तहत मछली के काम से जुड़े परिवारों को भी नौ हज़ार रुपए दिए जाएंगे।

साथियों,
डबल इंजन सरकार का बहुत अधिक फायदा...हमारी बहनों-बेटियों को हो रहा है। हमारी सरकार ने..बेटियों के लिए सेना में नए अवसरों के दरवाज़े खोले हैं...सैनिक स्कूलों में अब बेटियां भी पढ़ाई कर रही हैं। यहां नीतीश जी की सरकार ने...बेटियों को नौकरियों में आरक्षण दिया है। मोदी का मिशन है कि बिहार की लाखों बहनें...लखपति दीदी बनें। नीतीश जी की सरकार ने भी जीविका दीदियों के रूप में, बहनों को और सशक्त किया है।

साथियों,
आजकल चारों ओर मुख्यमंत्री महिला रोजगार योजना की चर्चा है। अभी तक एक करोड़ 40 लाख बहनों के बैंक-खाते में दस-दस हज़ार रुपए जमा हो चुके हैं। NDA ने घोषणा की है कि फिर से सरकार बनने के बाद...इस योजना का और विस्तार किया जाएगा।

साथियों,
बिहार आज विकास की नई गाथा लिख रहा है। अब ये रफ्तार रुकनी नहीं चाहिए। आपको खुद भी मतदान करना है...और जो साथी त्योहार मनाने के लिए गांव आए हैं... उनको भी कहना है कि वोट डालकर ही वापस लौटें...याद रखिएगा...जब हम एक-एक बूथ जीतेंगे...तभी चुनाव जीतेंगे। जो बूथ जीतेगा वह चुनाव जीतेगा। एक बार फिर...मैं अपने इन साथियों के लिए, मेरे सभी उम्मीदवारों से मैं आग्रह करता हूं कि आप आगे आ जाइए.. बस-बस.. यहीं रहेंगे तो चलेगा.. मैं मेरे इन सभी साथियों से उनके लिए आपसे आशीर्वाद मांगने आया हूं। आप सभी इन सब को विजयी बनाइए।

मेरे साथ बोलिए...
भारत माता की जय!
भारत माता की जय!
भारत माता की जय!
वंदे... वंदे... वंदे... वंदे...
बहुत-बहुत धन्यवाद।