These Lok Sabha elections are not only to elect a government, these elections will also decide the future direction for our nation: PM Modi
It is no surprise that the Congress’ divisive politics do not have people’s support anymore: Prime Minister Modi
The middle class is a partner of the government in empowering the poorest sections of society: PM Modi in Mumbai

भारत माता की…जय
भारत माता की…जय
भारत माता की…जय

मंच पर विराजमान शिवसेना प्रमुख मदनलाल भाऊ, उद्धव ठाकरे जी, यहां के लोकप्रिय मुख्यमंत्री देवेंद्र जी, रामदास आठवले जी। मंच पर विराजमान भारतीय जनता पार्टी शिवसेना के सभी उम्मीदवार, महायुती के सभी नेतागण और विशाल संख्या में हम सब को आशीर्वाद देने के लिए आए हुए मेरे प्यारे भाइयो और बहनो।

मां मुंबा देवी और सबके संकल्पों को सिद्ध करने वाले भगवान सिद्धिविनायक के चरणों में मेरा कोटी-कोटी प्रणाम। छत्रपति शिवाजी महाराज, ज्योतिबा फुले, डॉक्टर बाबा साहेब आंबेडकर, बाला साहेब ठाकरे जैसे महान मनीषियों को, उनकी ये भूमि, करोड़ों भारतीयों को प्रेरित करती रही है और अब सागर जितने विराट हृदय वाले जिसमें हर कोई समाहित हो जाता है, ऐसे मुंबई के एक-एक जन का मैं शीश झुका कर अभिवादन करता हूं।

साथियो, आज ही मैं काशी में अपना नामांकन भरकर आया हूं। ये संयोग ही है की देश की सांस्कृतिक नगरी से मैंने पर्चा भरा और अब सामर्थ्य और समृद्धि से जुड़ी नगरी में आपसे आशीर्वाद लेने आया हूं। और मैं विशेष रूप से उद्धव जी का सार्वजनिक रूप से धन्यवाद करता हूं क्योंकि यहां तो 29 को चुनाव है। कितनी दौड़ा धूप रहती है, उसके बाद भी वो आज काशी आए। मेरे इस महत्वपूर्ण अवसर का, उनकी हाजिरी ने एक नई ताकत दी, मैं उनका बहुत आभारी हूं। हमारी संस्कृति और हमारा सामर्थ्य, यही तो भारत की शक्ति है जिसके दम पर हम विश्व की अहम ताकत बनने की बात करते हैं।
भाइयो और बहनो, ये चुनाव सिर्फ एक सरकार चुनने के लिए नहीं है, ये भारत की दिशा तय करने का चुनाव है, ये विकल्प का चुनाव नहीं, संकल्प का चुनाव है। ये वादों का चुनाव नहीं, ये इरादों का चुनाव है। ये गरीबी हटाओ का झूठा वादा करने का नहीं, गरीबों को सशक्त कर के उसकी उम्मीदों को पूरा करने का उसे नए अवसर देने का चुनाव है।

भाइयो-बहनो, लेकिन आज देश में जिस तरह की लहर है और उस लहर के कारण कुछ लोग बहुत परेशान हैं। उन्हें ये समझ ही नहीं आ रहा है की जो फर्स्ट टाइम वोटर है या फिर जो 20वीं सदी के आखिर में पैदा हुआ वोटर है। वो मोदी के साथ क्यों खड़ा है और इसी डिबेट में कुछ लोग माथा खपाये हुए हैं। उनको इतनी सी बात समझ नहीं आती है की 21वीं सदी का ये मतदाता और जो 20वीं सदी की आखिर में या 21वीं सदी में पैदा हुआ है। ये जो नया वोटर है असल में एस्पिरेशंस और अपने सपनों के साथ खड़ा है, मोदी तो उसकी एस्पिरेशंस भर है, अभिव्यक्ति भर है।

भाइयो और बहनो, देश का यूथ 1947 में मिली आजादी से प्ररेणा लेकर आने वाले दशकों तक 2047 की तरफ देखता है, जब भारत आजादी के 100 साल मनाएगा। जिन दलों, जिन नेताओं की सोच पिछली सदी पर अटकी हुई है, वो 21वीं सदी के युवा की नब्ज नहीं समझ सकते हैं।

साथियो, आप जितने भी सर्वे देखेंगे पक्ष हो, विपक्ष हो, गांव हो, देहात हो, टियर 2, टियर 3, शहर हो या मुंबई जैसी महानगरी हो, मयानगरी हो। 2019 के लोकसभा चुनाव के नतीजों को लेकर सभी एक मत हैं। उसमें कोई दुविधा नहीं है, आप कोई भी अखबार या कोई भी टीवी चैनल के पुराने सर्वे रिपोर्ट निकल के देख लीजिए क्या एक मत है? वो एक मत इस बात पर है की बीजेपी पूर्ण बहुमत की सरकार बनाने जा रही है। बीजेपी को लोकसभा में सबसे ज्यादा सीटें मिलने जा रही हैं। चर्चा है तो क्या है, चर्चा इस बात पर हो रही है की बीजेपी 282 का उनका आंकड़ा है उस रिकॉर्ड को तोड़ पाएगी या वहीं रह जाएगी। सर्वे वाले इस बात पर भी सहमत है की बीजेपी और उसके एनडीए साथी ये सबसे ज्यादा सीटें लेकर के पार्लियामेंट में वापिस आएंगे, महायुती के लोग सबसे ज्यादा सीटें लेकर के वापस आएंगे, ये सभी सर्वे में है। मैं भारतीय जनता पार्टी का प्रिडिक्शन नहीं कह रहा हूं, यहां भी चर्चा इसी पर है की एनडीए अपने साथियों के साथ 300 क्रास करेगा या 315 क्रास करेगा या 400 तक पहुंच जाएगा। ये मैं इसीलिए समझा रहा हूं, अब सोचिए देश की सबसे पुरानी पार्टी, वो पार्टी जिसके बारे में महात्मा गांधी जी ने कहा था की इसको खत्म कर दिया जाए, कांग्रेस को। उस पार्टी की क्या चर्चा है आज देश में, सारे सर्वे रिपोर्ट, सारे हिसाब-किताब वाले, सारे थिंक टैंक, सारे पोलिटिकल पंडित, उनकी चर्चा ये है की इस चुनाव में कांग्रेस 44 का आंकड़ा पार कर के 50 तक पहुंचेगी या 40 पर सिमट जाएगी ये चर्चा है। कांग्रेस की देश में जो स्थिति है उसकी यही सच्चाई है। ऐसे में अब जब तीन चरणों के चुनाव के बाद बीजेपी-एनडीए की सरकार बननी तय हो रही है तो समझदारी किसमें है मुझे बताइए। और ये मुंबई के लोग हैं वो हवा का रुख पकड़ने में माहिर होते हैं, उनको भनक चल जाती है देश किधर जाएगा वो इतने माहिर हैं। अब समझदारी किस में है क्या उस पार्टी की तरफ जाने में है जो ज्यादा से ज्यादा बढ़ेगी तो 50 तक जाएगी या उस पार्टी को वोट देने में जो आपके एक-एक वोट से उतनी ही मजबूत सरकार बनाएगी। सीधा-सीधा हिसाब है भाई, समझदारी अपना वोट बर्बाद करने में है या वोट सही जगह लगाने में है।

साथियो, आने वाले 5 वर्ष भारत के लिए बहुत अहम हैं और भी मैं एक बात बता दूं। 2014 में जो चुनाव हुआ आजादी के बाद जितने चुनाव हुए, उसमें कांग्रेस को कम से कम सीटें अगर मिली है तो 2014 में मिली हैं, 44। लीडर फ द अपोजीशन भी नहीं बन पाए और 2019 के चुनाव की विशेषता ये है की आजादी के बाद जब से चुनाव शुरू हुए ये चुनाव ऐसा है, जिसमें कांग्रेस पार्टी सबसे कम सीटों में चुनाव में लड़ रही है। यानी 14 सबसे कम जीतने का रिकॉर्ड, 19 सबसे कम लड़ने का रिकॉर्ड। अब ये कही नजर नहीं आ रहे हैं और उनको लगता है की टीवी पर फोटो आ गई, अखबार में चेहरा चमक गया तो देश का मतदाता वोट दे देता है क्या?

भाइयो-बहनो, दुनिया में भारत के लिए बहुत बड़ा अवसर है, ये पांच साल भारत के लिए ढेर सारी संभावनाएं हैं। आज दुनिया के लीडरशिप का मैं एनालिसिस नहीं करता हूं, ये पोलिटिकल पंडित करेंगे। लेकिन विश्व के टॉप जो लीडरशिप हैं उन सब का एनालिसिस करके देख सकते हो की भारत के लिए 5 साल कल्पना भर के अवसरों से भरा हुआ है। ये मौका जाने नहीं देना चाहिए जब की कांग्रेस की पूरी राजनीति और रणनीति अतीत की यादों पर टिकी हुई हैं। इसलिए कांग्रेस अब कन्फ्यूजन का दूसरा नाम हो गई है। इनको लगता है की आज की डिजिटल जेनरेशन, अभी भी यही सोचते हैं की आज जब वो जिंदगी मोबाइल फ़ोन में जी सकता है, डिजटल जेनरेशन है। लेकिन उनके दिमाग में राजा-राजकुमार टाइप के वंशवाद में इंट्रेस्टेड हैं वही सोच पड़ी हुई है। वो ये समझने को ही तैयार नहीं हैं की दुनिया बदल चुकी है, दौर बदल गया है और ये भी समझ लें, इस प्रकार की चालाकियां करने वाले नेता लोग जो हैं, लोगों की आंख में धूल झोंकने वाले जो लोग हैं। ये भी समझ ले, अब आपकी मिस्ट्री नहीं सपनों और आकांक्षाओं की केमिस्ट्री काम कर रही है। यही केमिस्ट्री मेरी और मेरे इन तमाम साथियों की मुंबई से रही है। मुंबई ने हमेशा हम सभी को भरपूर समर्थन दिया है, हर कदम पर हमारा साथ दिया है। आज मैं आपके सामने मुंबई का आभार व्यक्त करने आया हूं। मैं उन सभी मछुआरे साथियों का आभार व्यक्त करने आया हूं जो मुंबई को सुरक्षित और संरक्षित रखने में योगदान दे रहे हैं। मैं उन डिब्बे वालों का आभार व्यक्त करने आया हूं जो लोगों की भूख का ध्यान तो रखते ही हैं, मुंबई और देश पर आई विपदा के समय सबसे पहले खड़े हो जाते हैं। मैं मुंबई की पहचान काली-पीली टैक्सी वालों का आभार व्यक्त करने आया हूं, जिन्होंने अपने किसी भी स्थिति में मुंबई की रफ्तार कम नहीं होने दी। सेवा में जुटे, साफ-सफाई में जुटे उन करोड़ों साथियों को मैं कभी भूल नहीं सकता हूं, जो ये सुनिश्चित करते हैं की ये नगरी रुके नहीं-थके नहीं। मुंबई की धरती से मैं देश के मिडिल क्लास को, हमारे मध्यम वर्ग का विशेष आभार व्यक्त करना हूं। आपकी ईमानदारी से, आपके सहयोग से ये चौकीदार गरीब कल्याण के लिए, देश के इंफ्रास्ट्रक्चर के लिए अभूतपूर्व काम कर पाया।

साथियो, मुझे अच्छी तरह से याद है की मैंने सिर्फ लालकिले पर से इतना ही आग्रह किया था की अगर आप गैस की सब्सिडी छोड़ सकते हैं तो छोड़िए, गरीबों का भला हो जाएगा। लाल किले पर से मुश्किल से एक वाक्य बोला था। एक अपील पर करोड़ों देशवासियों ने गैस सब्सिडी छोड़ दी, दोस्तों। ये सभी मध्यम वर्ग के मेरे भाई बहन हैं और परिणाम आपके सामने हैं। देश की करोड़ों बहने जो लकड़ी के चूल्हे से खाना पकती थी। एक दिन में 400 सिगरेट का धुआ उन मां के शरीर में जाता था। छोटे-छोटे बच्चे घर में उस धुएं में अपना बचपन गुजारते थे। इन करोड़ों गरीब परिवारों को गैस का कनेक्शन मिला, धुएं से मुक्ति मिली, कारण मेरे मध्यम वर्ग के भाइयो-बहनो ने मेरी एक अपील पर करोड़ से भी ज्यादा लोगों ने सब्सिडी छोड़ दी। भाइयो-बहनो, ऐसा ही एक छोटा सा विषय, मैंने रेलवे वालों के सामने रखा था मैंने कहा रेलवे का जो रिजर्वेशन का फॉर्म होता है उसमें इतना लिखो, भाई मैं सीनियर सिटीजन हूं लेकिन मुझे जो सब्सिडी मिलती है वो मैं लेना नहीं चाहता हूं, मैं पूरी टिकट लेना चाहता हूं।

आप हैरान हो जाएंगे भाइयो, हमारे मध्यम वर्ग के लोगों की ईमानदारी देखिए। अभी तो इस बात तो मुश्किल से एक साल हुआ है। 40 लाख सीनियर सिटीजन ने रेलवे की सब्सिडी छोड़ दी, पूरी टिकट के पैसे देकर के रेलवे में सफर किया। मैंने देश के सामने स्वच्छता का विषय रखा था और मैं गर्व से कहता हूं मुंबई से कई युवा संगठन कई समाज सेवी लोग उस अभियान को आज भी आगे बढ़ा रहे हैं। स्वच्छता का काम कर रहे हैं, समुंदर के किनारों को साफ करने के लिए वो जिस तरह मेहनत करते हैं, बहुत प्रशंसनीय है दोस्तों।

साथियो, आज देश में सबसे ज्यादा और ये बात हम गर्व से सीना ठोक कर के बोल सकते हैं दोस्तों। आज देश में सबसे ज्यादा अगर कोई रक्तदान करता है तो मध्यम वर्ग के परिवार करते हैं, सबसे ज्यादा चक्षु दान आंखो का दान अगर कोई करता है तो मध्यम वर्ग के लोग करते हैं, सबसे ज्यादा मेडिकल स्टूडेंट की पढ़ाई के लिए देहदान करने वाले लोग हैं तो मध्यम वर्ग के लोग हैं। राष्ट्र निर्माण में आपके इस योगदान के लिए मैं आपको देश के मिडिल क्लास को नमन करता हूं। और भाइयो बहनो पहली बार पार्लियामेंट में जब हमारे वित्त मंत्री पीयूष गोयल जी, उस समय वित्त विभाग उनके पास था बजट पढ़ रहे थे, पहली बार हिंदुस्तान के बजट में टैक्स पेयर को हमने सार्वजनिक रूप से थैंक यू कहा है। ये हमारी बदली हुई सोच का परिणाम है, ये मिडिल क्लास और ईमानदार टैक्स पेयर का ही योगदान है की आज दुनिया की सबसे बड़ी हेल्थकेयर स्कीम आयुष्मान भारत योजना सफलता के साथ चल रही है। मैं जब पैदा हुआ तो मुझे लगता है भगवान ने मुझे जो सॉफ्टवेयर दिया है, उसमें छोटा सोचने की मेरी आदत ही नहीं है। मुझे बहुत बड़ा सोचना और बहुत बड़ा करना है और इसीलिए ये आयुष्मान भारत स्कीम भी इतनी बड़ी है जी,,, अमेरिका की टोटल पापुलेशन, कनाडा की टोटल पापुलेशन, मेक्सिको की टोटल पापुलेशन, इन तीनों को मिलाकर के जितनी संख्या है उसे ज्यादा लोगों को भारत में आयुष्मान योजना का लाभ दिया जा रहा है। ये ताकत है इस देश की, ये मिडिल क्लास और ईमानदार टैक्स पेयर का ही योगदान है की देश के हर बेघर को 2022 तक पक्का घर देने का संकल्प हम ले सके हैं।

साथियो, ये मिडिल क्लास और ईमानदार टैक्स पेयर का योगदान ही है की आज दोगुनी गति से देश में इंफ्रास्ट्रक्चर का निर्माण हो रहा है। भाइयो बहनो, ये मिडिल क्लास ये काम आज से नहीं बल्कि दशकों से निरंतर करता आ रहा है। लेकिन देश की सबसे पुरानी पार्टी, जिसको सबसे अधिक अवसर देश की जनता ने दिया है। वो क्या कह रहे हैं? ऑन रिकॉर्ड कह रहे हैं और मैं मुंबई के मध्यम से देश के मिडिल क्लास को आग्रह पूर्वक ये बात पर गंभीरता से सोचने के लिए बताना चाहता हूं। अधिकतम रूप से कांग्रेस के जिम्मेवार व्यक्ति कहते हैं की मिडिल क्लास सेल्फिश होता है, बहुत लालची होता है। मैंने मिडिल क्लास देश के लिए क्या कर रहा है उसका कुछ सैंपल आपके सामने रखा है। मैं गर्व करता हूं, मेरे देश के अंदर आज देश को चलाने की ताकत मिडिल क्लास का जो बल्क बढ़ रहा है, उसके कारण है और कांग्रेस पार्टी आपको सेल्फिश कहे, लालची कहे, ये आपका अपमान है की नहीं है जी? ये सिर्फ ऐसे ही गाली नहीं निकली है ये इनकी पकी-पकाई सोच का परिणाम है और इनके ढकोसला पत्र उनका मैनिफेस्टो उसको देख लीजिए एक बार भी… बहुत गंभीर बात है, एक बार भी उन्होंने मिडिल क्लास के संबंध में एक भी बात नहीं कही है, वो किसके भरोसे देश को आगे चलाना चाहते हैं?

साथियो, कांग्रेस एक परिवार के राजनीतिक वजूद को बचाने के लिए अब मिडिल क्लास पर टैक्स का बोझ डालना चाहती है। कांग्रेस की पहचान ही यही है। करप्शन, टैक्स हाई और महंगाई। जब भी कांग्रेस की सरकारें आई हैं, सिर्फ यही तीन चीजें होती हैं जो तेजी से बढ़ती हैं।

भाइयो बहनो, हमारी नीति कांग्रेस के तौर-तरीकों से ठीक 180 डिग्री अलग है। बीते 5 वर्ष में आपने अनुभव किया है। करप्शन की खबरें अखबार से गायब हो गईं, करप्शन को रोकने के लिए एक के बाद एक कड़े कदम उठाए गए, जिसके कारण कुछ लोग जेल पहुंच गए और कुछ लोग बेल पर घूम रहे हैं। और 2014 में आपने मुझे बिठाया ये बड़े बड़े नामदारों को जेल के दरवाजे तक ले गया हूं, 19 में बैठा दीजिए अंदर कर दूंगा। जिन्होंने देश को लूटा है उनको लौटाना ही पड़ेगा।

साथियो, बीते 5 वर्ष में हमने टैक्स नहीं लेकिन टैक्स देने वालों की संख्या को बढ़ाया है। टैक्स नहीं बढ़ाया है, 5 साल टैक्स न बढ़ा कर के देश चलना ये हमने कर के दिखाया है। ये पहली बार हुआ है ये भी, ये कोई मांग नई नहीं थी। अर्थशास्त्री प्रधानमंत्री थे जो अपने आपको बुद्धि का देवता मानते है वो वीत्त मंत्री थे और देश मांग रहा था सुनते नहीं थे। ये पहली बार हुआ है जब 5 लाख रुपए तक की टैक्सेबल इनकम को टैक्स के दायरे से बाहर कर दी गई है।

भाइयो और बहनो, आज मिडिल क्लास की जेब में ज्यादा पैसा बच रहा है। ये स्पष्ट तौर पर आपको तभी समझ आएगा, जब आप 2014 से पहले की स्थिति से कंपैरिजन करेंगे, तुलना करेंगे। महंगाई, 2014 के चुनाव में मुद्दा था महंगाई, दाल के दाम इतने, दाल के दाम इतना ये चलता था आज हमारे विरोधी भी महंगाई का नाम नहीं देते हैं। महंगाई जो 10 प्रतिशत की दर से बढ़ रही थी, उसे 4 प्रतिशत तक पर रोक दिया गया है। बीते 3 दशक में ये पहली बार हुआ है, जब सबसे तेज विकास और सबसे कम महंगाई ऐसी हिलती कंडीशन पहली बार देखी गई है, 30 साल में।

साथियो, मेडिकल बिल को सस्ता रखना भी हमारी सरकार की एक बहुत बड़ी उपलब्धि है। हार्ट स्टैंट्स और नी प्लांट्स 70-80% तक सस्ते हुए हैं। ज्यादातर दवाइयों की कीमतें कम की गई हैं। इससे हजारों करोड़ रुपए की बचत सामान्य परिवारों को हुई है। ऐसे ही एक समय में मिडिल क्लास के खर्चो की लिस्ट में टेलीफोन का बिल बहुत बड़ी भूमिका निभाता था। अब हमारी सरकार के प्रयास से कालिंग तो करीब-करीब फ्री हुई है, डाटा भी दुनिया में सबसे सस्ता हिंदुस्तान में है। ये वो सुविधाएं हैं जो आप सभी अपनी लाइफ में अनुभव कर रहे हैं। इसके साथ-साथ डिजिटल इंडिया के कारण आपका जो पैसा और समय बचा, जो सुविधाएं मिली उसका हिसाब लगाएंगे तो सरकार के प्रयास और आसानी से समझ आएंगे।

साथियो, बीते 5 वर्ष गरीब, निम्न मध्यम वर्ग और मध्यम वर्ग की पढ़ाई, कमाई, दवाई और ईएमआई के लिए समर्पित रहे हैं। एजुकेशन लोन की ईएमआई सस्ती हुई है क्योंकि लोन रेट बहुत कम किया गया है। इसी तरह मिडिल क्लास के लिए भी अफोर्डेबल हाउसिंग स्कीम हम लेकर आए, जिससे होम लोन पर 5 से 6 लाख रुपए तक की बचत हो रही है।

भाइयो और बहनो, मुंबई देश का वो शहर है जहां कई बातें देश में पहली बार हुई हैं। भारत की पहली पैसेंजर ट्रेन हो, सब-अर्बन रेल लाइन हो, पहेली मोटर टैक्सी हो, पहला एक्सप्रेसवे हो यह सब मुंबई से ही जुड़े है। हमारी सरकार मुंबई फर्स्ट की इस यात्रा को और विस्तार देने में जुटी है। देश की पहली बुलेट ट्रेन के साथ भी मुंबई का ही नाम जुड़ेगा।

साथियो, मुंबई में अब आप अपने आस-पास मुंबई मेट्रो का काम होते देख सकते हैं जबकि बरसों तक जब कोई भी मुंबई के बारे में बात करता था तो मुंबई का नाम सुनते ही जो पहला दृश्य दिमाग में आता था वह था लोकल ट्रेनों में मारा-मारी। क्या पहले जो सरकारें थीं उन्हें यह स्थिति नहीं नजर नहीं आई। अगर नजर आती तो फिर अब तक इस परिस्थिति को बदलने के लिए कोई काम क्यों नहीं किया गया, मेट्रो का काम इतनी धीमी गति से क्यों चल रहा था? हालत ये थी कि 2006 से 2014 के बीच 8 वर्षों में सिर्फ 11 किलोमीटर मेट्रो लाइन पर ही काम हो पाया। एक साल में मुश्किल से 1 किलोमीटर, ये इस गति से चलते हैं ?

साथियो, आज जिस स्पीड और स्केल से हम काम कर रहे हैं, अगले कुछ सालों में मुंबई को पौने 3 सौ किलोमीटर की मेट्रो रेल लाइन उपलब्ध हो जाएगी। इसके अलावा लोकल ट्रेन नेटवर्क का एक्सपेंशन भी किया जा रहा हैं। 70 साल से जिस चीज को नजर अंदाज किया जा गया है उस पर ध्यान दिया जा रहा हैं। भाईयो और बहनो, मुंबई एक तरफ से भारत की अर्थव्यवस्था को चलाती है और उसी तरह भारत आज दुनिया की अर्थव्यवस्था में अपना महत्वपूर्ण योगदान बढ़ा रहा हैं। आज भारत दुनिया की सबसे तेजी से उभरती अर्थव्यवस्था है। आज भारत में पहले से अधिक विदेशी निवेश आ रहा है। आज भारत पहले से कहीं अधिक मोबाइल की मैन्युफैक्चरिंग कर रहा हैं। आज भारत असंगठित क्षेत्रों में काम करने वाले लोगों को पेंशन दे रहा है और किसानों के लिए भी पेंशन की योजना करेगा। यह इसलिए हुआ है की हमने देश के फाइनेंसेस को मैनेज किया है जबकि कांग्रेस और महामिलावट की सरकारें सिर्फ एक परिवार और पार्टी के फाइनेंस के मैनेजमेंट में ही लगे रहते थे।

भाइयो और बहनो, अपनी तमाम खूबियों की वजह से मुंबई शहर भारत के दुश्मनों की आंखों में, चाहे वह देश के हो या बाहर के हो या भीतर उनको हमेशा खटकता रहता है। मुंबई में आतंकवादियों ने बार-बार हमले किए हैं और यह हमले भी ज्यादातर कांग्रेस की सरकारों के समय हुए हैं। लेकिन इन हमलों के बाद कांग्रेस ने क्या किया? वो सिर्फ मंत्री बदलकर, थोड़ा बहुत बयान देकर फिर चैन की नींद सो जाते थे। भाइयो और बहनो, मैं मानता हूं की जब ऊपर के लोग सत्ता की राजनीति और भ्रष्टाचार में लिप्त रहते हैं तो देश के दुश्मनों के हिम्मत और बढ़ जाती है। इसी का दुखद परिणाम मुंबई के निवासियों ने इतने वर्षों तक भुगता है। मैं यह भी मानता हूं कि मुंबई पुलिस के बहादुर और चौकन्ने जवान सतर्क न रहते तो और अधिक नुकसान हुआ होता। हमारे जवानों ने कई वारदातों को घटित होने से रोका और अपनी शहादत भी दी।

साथियो, आतंक पर नरमी के साथ ही अपने शहीदों के लिए कांग्रेस का जो रवैया रहा है वो भी मैं आपको याद दिलाना हूं। भाइयो और बहनो, हमारे देश में दशकों से मांग रही थी, जो हमारे पुलिसकर्मी अपना दायित्व निभाते हुए, अपना जीवन दांव पर लगा देते हैं शहीद हो जाते हैं। उनकी स्मृति में एक मेमोरियल होना चाहिए। पुलिस शहीद पुलिस की स्मृति में एक नेशनल मेमोरियल होना चाहिए और देश को पता तक नहीं है लोग बताते भी नहीं हैं। देश आजाद होने के बाद हम आए दिन पुलिस वालों को आलोचना करने की फैशन हो गई है। कुछ भी हो पुलिस से भिड़ जाता हैं, पुलिस को बदनाम करते हैं, कभी सोचा है होली हो, दिवाली हो वो वहां खड़ा है, राखी हो वो वहां खड़ा है, घर में कोई बीमार है वो वहां खड़ा है, बारिश हो धूप हो ठंड हो वो वहां खड़ा है। लेकिन एक ऐसा माहौल बना दिया गया है जो मर्जी पड़े पुलिस वाले पंचिंग बैग है मारते चलो, जो भी कहना है, कहते चलो।

भाइयो और बहनो, बहुत कम लोगों को मालूम होगा हमारे देश में लोगों की सेवा करते-करते 33 हजार पुलिस वालों ने शहादत की है, 33 हजार। इन पुलिस वालों के नाम पर जोर ताली बजा दो, दोस्तों। 33 हजार पुलिस के जवान हम लोगों के लिए मरे, शहीद हुए और यह कांग्रेस ने कभी उनके मान-सम्मान की परवाह नहीं करी भाइयो। हमारे सुरक्षा बल मांग करते रहे, पुलिस मांग करती रही नहीं सुना, यह चौकीदार की सरकार आई और आज दिल्ली में शानदार जानदार देश के नई पीढ़ी को प्रेरणा देने वाला पुलिस का मेमोरियल खड़ा कर दिया, दोस्तों। और मैं आपसे कहूंगा कि आप भी कभी दिल्ली आए और महाराष्ट्र के पुलिस वालों की जो सूची है कम से कम वहां जाकर के फूल जरूर चढ़ा कर आना, दोस्तों।

हमारे लिए मर मिटने वालों की अगर हम इज्जत नहीं करेंगे, उनकी कद्र नहीं करेंगे, देश कैसे चल सकता है? भाइयो और बहनो, इन आतंकी हमलों के बीच पुलिस वालों द्वारा दिन-रात एक करके मुंबई को सुरक्षित बनाने के बीच, मुंबईकरों की अपनी जीवर्ता भी अलग ही है। जब मुंबई में बम धमाके हुए, उसके अगले ही दिन ही मुंबईकर अपने-अपने काम पर निकल गए थे। 26/11 के बाद भी ऐसा ही देखने को मिला, वे दुखी जरूर थे, उनमें नाराजगी भी थी, गुस्सा भी थे, लेकिन वे रुके नहीं। इन सबके बावजूद, सबके दिमाग में एक ही सवाल घूम रहा था, हम कब तक ऐसे ही सफर करते रहेंगे? आखिर कब तक आतंकवादियों को उनके किए की सजा नहीं मिलेगी।

साथियो, आपके इस चौकीदार ने आपकी इच्छा के हिसाब से ही, उस बेबसी से, उस बंदिश से भारत को बाहर निकाला है। साथियो, मैं छत्रपति शिवाजी महाराज का मावला हूं मावला। अब हम आतंकियों को घर में घुसकर मारेंगे, और यह हमने डंके की चोट पर कह दिया है और कर के भी दिखाया है। आतंकी हमले के बाद गृह मंत्री और मुख्यमंत्री बदलने वाले कल्चर को हमने बदल दिया है। इतना ही नहीं साथियो, याद करिए जब लोकसभा चुनाव के दौरान आईपीएल के मैच कराने से कांग्रेस की सरकार ने हाथ खड़े कर दिए थे। याद है? 2009 में, 2014 में, ये हमारे सुरक्षा बालों पर हमारी एजेंसियों के समर्थ्य पर ये कांग्रेस का अविश्वास था, अब आज की परिस्थिति देखिए। कुछ दिन पहले ही नवरात्रि बीती, शक्ति की पूजा चारों तरफ हो रही थी, धाम धूम से देश ने रामनवमी बनाई, बढ़-चढ़ के लोगों ने हनुमान जयंती बनाई। अब 1 मई को महाराष्ट्र और गुजरात का स्थापना दिवस का समारोह होंगे। पवित्र रमजान की तैयारियां चल रही हैं और इन सब के बीच लोकसभा का चुनाव भी चल रहा है और आन-बान-शान के साथ आईपीएल भी चल रहा है। जरा कोई पूछो तो पुलिस तो वही है भाई। ये मोदी में क्या दम है की सब कुछ आराम से चल रहा है और तुम क्या करते थे। नहीं चुनाव है पुलिस काम में है, आईपीएल खेलेंगे कुछ हो जाएगा तो जाओ अफ्रीका जाके खेलो और फिर हमको पूछते हैं मोदी तुमने क्या किया? आपको क्या लगता है?

साथियो, देश ऐसे ही तो चलता है, आज हमें खुद पर विश्वास है की अगर आतंकियों ने कोई हरकत की तो उसे पाताल में भी खोज कर के मरेंगे। भाइयो और बहनो, इस परिवर्तन को हमें स्थायी बनाना है, परमानेंट बनाना है। और मुझे बताइए, ये जितने लोग कतार में खड़े है आज-कल प्रधानमंत्री बनने के लिए, जो लोग मन में सोचे हैं थोड़ा इधर हो जाए तो मिल बैठ जाएगा। दर्जी को बुला-बुला कर के कपड़े बनवा रहे हैं, कोई 8 सीट लड़ रह है। कर्नाटक में एक पार्टी 8 सीट लड़ रही है और वो कहते है हमारे प्रधानमंत्री के उम्मीदवार सबसे श्रेष्ठ हैं। कोई 20 सीट लड़ रहे हैं बोले हम प्रधानमंत्री के उम्मीदवार हैं, कोई 40 सीट लड़ रहा है, बोले हम प्रधानमंत्री के उम्मीदवार हैं। मैं जरा आपसे पूछना चाहता हूं, ये जितने भी प्रधानमंत्री पद की कतार में चेहरे दिखते है आप मुझे बताइए इसमें से कौन है जो आतंकवाद को खत्म कर सकता है? आपको पूरा भरोसा है, पूरा भरोसा है? तो फिर इंतजार किस बात का इसके लिए आपको महायुती-एनडीए के पक्ष में अपना वोट डालना होगा, आपका हर वोट चौकीदार को मजबूत करेगा।

भाइयो-बहनो, आप चाहते हैं देश मजबूत हो, हमारा देश और मजबूत हो, सब के सब चाहते हैं। मजबूत देश बनाने के लिए सरकार मजबूत होनी चाहिए। मजबूत सरकार चलाने के लिए चौकीदार भी तो मजबूत होना चाहिए और चौकीदार मजबूत बनाने के लिए आइए हम एक संकल्प लेते हैं। दोनों हाथ खड़े कर के मैं आपसे एक संकल्प करवाता हूं आपको बोलना है चौकीदार, क्या बोलना है? चौकीदार।
मेरे साथ बोलेंगे, गांव-गांव है चौकीदार, गांव-गांव है चौकीदार, शहर-शहर है चौकीदार, बच्चा-बच्चा चौकीदार, बड़े-बुजुर्ग भी चौकीदार, माताएं-बहने चौकीदार, घर-घर में है चौकीदार, खेत-खलिहान में चौकीदार, बाघ-बगान में चौकीदार, देश के अंदर चौकीदार, सहरद पर भी चौकीदार, डॉक्टर-इंजीनियर चौकीदार, शिक्षक-प्रोफेसर चौकीदार, लेखक-पत्रकार चौकीदार, कलाकार भी चौकीदार, किसान-कामगार चौकीदार, दुकानदार भी चौकीदार, वकील-व्यापारी चौकीदार, छात्र-छात्राएं चौकीदार, पूरा हिन्दुस्तान चौकीदार,पूरा हिन्दुस्तान चौकीदार ,पूरा हिन्दुस्तान चौकीदार।

भारत माता की… जय
भारत माता की… जय
बहुत-बहुत धन्यवाद आपका।

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December 20, 2025
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Whenever BJP raises concerns over infiltration, TMC leaders respond with abuse, which also explains their opposition to SIR in West Bengal: PM Modi
West Bengal must now free itself from what he described as Maha Jungle Raj: PM Modi’s call for “Bachte Chai, BJP Tai”

PM Modi addressed a public rally in Nadia, West Bengal through video conferencing after being unable to attend the programme physically due to adverse weather conditions. He sought forgiveness from the people, stating that dense fog made it impossible for the helicopter to land safely. Earlier today, the PM also laid the foundation stone and inaugurated development works in Ranaghat, a major way forward towards West Bengal’s growth story.

The PM expressed deep grief over a mishap involving BJP karyakartas travelling to attend the rally. He conveyed heartfelt condolences to the families of those who lost their lives and prayed for the speedy recovery of the injured.

PM Modi said that Nadia is the sacred land where Shri Chaitanya Mahaprabhu, the embodiment of love, compassion and devotion, manifested himself. He noted that the chants of Harinaam Sankirtan that once echoed across villages and along the banks of the Ganga were not merely expressions of devotion, but a powerful call for social unity.

He highlighted the immense contribution of the Matua community in strengthening social harmony, recalling the teachings of Shri Harichand Thakur, the social reform efforts of Shri Guruchand Thakur, and the motherly compassion of Boro Maa. He bowed to all these revered figures for their lasting impact on society.

The PM said that Bengal and the Bengali language have made invaluable contributions to India’s history and culture, with Vande Mataram being one of the nation’s most powerful gifts. He noted that the country is marking 150 years of Vande Mataram and that Parliament has recently paid tribute to this iconic song. He said West Bengal is the land of Bankim Chandra Chattopadhyay, whose creation of Vande Mataram awakened national consciousness during the freedom struggle.

He stressed that Vande Mataram should inspire a Viksit Bharat and awaken the spirit of a Viksit West Bengal, adding that this sacred idea forms the BJP’s roadmap for the state.

PM Modi said BJP-led governments are focused on policies that enhance the strength and capabilities of every citizen. He cited the GST Savings Festival as an example, noting that essential goods were made affordable, enabling families in West Bengal to celebrate Durga Puja and other festivals with joy.

He also highlighted major investments in infrastructure, mentioning the approval of two important highway projects that will improve connectivity between Kolkata and Siliguri and strengthen regional development.

The PM said the nation wants fast-paced development and referred to Bihar’s recent strong mandate in favour of the BJP-NDA. He recalled stating that the Ganga flows from Bihar to Bengal and that Bihar has shown the path for BJP’s victory in West Bengal as well.

He said that while Bihar has decisively rejected jungle raj, West Bengal must now free itself from what he described as Maha Jungle Raj. Referring to the popular slogan, he said the state is calling out, “Bachte Chai, BJP Tai.”

The PM emphasised that there is no shortage of funds, intent or schemes for West Bengal’s development, but alleged that projects worth thousands of crores are stalled due to corruption and commissions. He appealed to the people to give BJP a chance and form a double-engine government to witness rapid development.

He cautioned people to remain alert against what he described as TMC’s conspiracies, alleging that the party is focused on protecting infiltrators. He said that whenever BJP raises concerns over infiltration, TMC leaders respond with abuse, which also explains their opposition to SIR in West Bengal.

Concluding his address, PM Modi said West Bengal needs a BJP government that works at double speed to restore the state’s pride. He assured that he would speak in greater detail about BJP’s vision when he visits the state in person.