Gunotsav - Infusing life into Education.

Published By : Admin | December 8, 2010 | 14:08 IST

मित्रों,

हम सब जानते हैं कि राष्ट्र के उज्ज्वल भविष्य की बुनियाद सर्वश्रेष्ठ शिक्षा में रही है. कल के गुजरात का निर्माण करने के लिए शिक्षण की 'आज' महत्वपूर्ण है. सरकार चाहे स्कूलों का निर्माण करती हों, लेकिन भविष्य केवल स्कूलों द्वारा ही बनाया जा सकता है.

गुजरात के कल के निर्माण की बहुत ही महत्वपूर्ण जिम्मेदारी स्कूलों के साथ है. 21 वीं सदी का पहला दशक शिक्षा के लिए, और विशेष रूप से प्राथमिक शिक्षा के लिए, महत्वपूर्ण बना रहा. चाहे वह शिक्षकों की भर्ती हो, स्कूलों के कमरे का निर्माण हो, कंप्यूटर लैब हो, स्कूलों में सुविधा हो, स्कूलों में छात्रों के नामांकन हो या ड्रॉप आउट के दर को कम करने का अभियान हो... यह सब में एक अभूतपूर्व सफलता प्राप्त की गई है. लेकिन इतना करने से काम पूरा नहीं होता है.

शिक्षण की आत्मा तो है गुणवत्ता सभर शिक्षा... और इसी वजह से राज्य सरकार ने 'गुणोत्सव' का अभियान शुरु किया है. इस प्रयास को शिक्षकों और शिक्षा विभाग के भरोसे भी किया जा सकता है, लेकिन राज्य की उच्च प्राथमिकता की समग्रता का एहसास हो और यह अवसर शिक्षण के क्षेत्र में रहे हर किसी के लिए प्रतिष्ठित बना रहे उस उद्देश्य के साथ राज्य की पूरी ताकत को आवंटित किया गया है. चाहे वह मुख्यमंत्री हो या मुख्य सचिव, सरकार के प्रथम और द्वितीय वर्ग के 3000 से अधिक अधिकारियों गुजरात की प्राथमिक स्कूलों का दौरा करेंगे और विभिन्न पहलुओं पर ध्यान केन्द्रित करेंगे.

मेरा ऐसा मानना है कि, कोमल कली जैसा किसी भी बच्चा जिसे खिलने का मौका नहीं मिला है वह अन्य बच्चों से किसी भी तरह से कम कक्षा का नहीं है. भगवानने उसमें पर्याप्त क्षमता और ताकत रखी हुई है. जरूरत है, उन गुणों को पोषित करने की. एक कुशल माली – बागवान जो ऐसे पौधों का ध्यान से संवर्धन करे. उसका इस तरह मार्गदर्शन करे कि रास्ते में आगे वो कहीं खो न जाये या भटक ना जाये. इस के लिए आवश्यकता है शिक्षण का एक ऐसा माहौल बनाने की, कि जिसमें शिक्षकों में ऐसी संवेदना जागे जैसी किसी बगीचे के एक माली में हो.

शिक्षकों को पुरानी प्रथा और प्राचीन विचारों से बाहर लाने का एक प्रेरणादायक काम करना है. हमारा यह ‘गुणोत्सव’ इस प्रकार के शिक्षण संवर्धक वातावरण के निर्माण के लिए है. ‘गुणोत्सव’ इस तरह का एक विशेष अभियान है. कुछ बेहतर हो ऐसी प्रेरणा देने वाला बना रहे. आपने देखा होगा कि कैमरे का फोकस जब भी सामने आता है तब कैसे हम अपनी अच्छी तस्वीर के लिए सतर्क हो जातें हैं? हालांकि कैमरा आप का मूल्यांकन नहीं करने वाला है, फिर भी क्या आप अपने भीतर रहे सर्वोत्तम को दिखाने के लिए कैमरे के सामने तैयार हो जाते हैं कि नहीं? ऐसा ही कुछ है इस ‘गुणोत्सव’ का !! इस का उद्देश्य केवल यही है कि शिक्षकों में, छात्रों में जो कुछ भी उत्तम है और राज्य की शिक्षा प्रणाली में सर्वोत्तम देने की जो क्षमता है, उसे बाहर लाना, बस. यह केवल एक कदम आगे बढाया है, जिसका अनुगमन करके आगे बढना है. मित्रों, पिछले सालों के ‘गुणोत्सव’ ने हमें कुछ प्रोत्साहक परिणाम दियें हैं. उत्साही करें ऐसे एक छोटे से उदाहरण की ओर ध्यान आकर्षित करता हुँ.

मित्रों, पिछले ‘गुणोत्सव’ के परिणाम बहुत ही उत्साहवर्धक रहें हैं. एक छोटे से उदाहरण की ओर आपका ध्यान आकर्षित करता हुँ. पिछले ‘गुणोत्सव’ के दौरान 12 लाख बच्चे कमजोर पाए गए थे. शिक्षक मित्रों ने तीन महीने तक अतिरिक्त समय को आवंटित करके ‘उपचार वर्ग’ लिए. बाद में, जब इन बच्चों का यूनिसेफ द्वारा मूल्यांकन किया गया तो 85% बच्चे काफ़ी अच्छी स्थिति में पहुँच गए थे. ऐसे तो कई उदाहरण हैं.

आओ हम सब ‘गुणोत्सव’ में सहयोगी बनें. अभिभावक के रूप में कुछ समय हमारे बच्चों के विकास के लिए दें. मित्रों, अब वक्त शिक्षण के बजाय अभ्यास का है...

इस संदर्भ में यहाँ एक छोटा सा वीडियो क्लिप देखें...

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आपका,

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आपकी पूंजी, आपका अधिकार
December 10, 2025

कुछ दिन पहले ‘हिंदुस्तान टाइम्स लीडरशिप समिट’ में अपनी स्पीच के दौरान, मैंने कुछ चौंकाने वाले आंकड़े रखे थे:

भारतीय बैंकों में हमारे अपने नागरिकों के 78,000 करोड़ रुपये अनक्लेम्ड पड़े हैं।

इंश्योरेंस कंपनियों के पास करीब 14,000 करोड़ रुपये अनक्लेम्ड पड़े हैं।

म्यूचुअल फंड कंपनियों के पास लगभग 3,000 करोड़ रुपये हैं और 9,000 करोड़ रुपये के डिविडेंड भी अनक्लेम्ड पड़े हैं।

इन बातों ने बहुत से लोगों को चौंका दिया है।

आखिरकार, ये एसेट्स अनगिनत परिवारों की मेहनत से बचाई गई सेविंग और इन्वेस्टमेंट को दिखाते हैं।

इसे ठीक करने के लिए, अक्टूबर 2025 में आपकी पूंजी, आपका अधिकार - Your Money, Your Right पहल शुरू की गई थी।

इसका उद्देश्य यह सुनिश्चित करना है कि प्रत्येक नागरिक अपने अधिकार के अनुसार अपना हक वापस पा सके।

फंड को ट्रैक करने और क्लेम करने की प्रक्रिया को आसान व पारदर्शी बनाने के लिए, डेडिकेटेड पोर्टल भी बनाए गए हैं। जो इस प्रकार हैं:

• भारतीय रिजर्व बैंक (RBI) – UDGAM पोर्टल https://udgam.rbi.org.in/unclaimed-deposits/#/login

• भारतीय बीमा नियामक और विकास प्राधिकरण (IRDAI) – बीमा भरोसा पोर्टल: https://bimabharosa.irdai.gov.in/Home/UnclaimedAmount

• भारतीय प्रतिभूति और विनिमय बोर्ड (SEBI)– MITRA पोर्टल: https://app.mfcentral.com/links/inactive-folios

• कॉर्पोरेट मामलों का मंत्रालय, IEPFA पोर्टल: https://www.iepf.gov.in/content/iepf/global/master/Home/Home.html

मुझे यह बताते हुए खुशी हो रही है कि दिसंबर 2025 तक, पूरे ग्रामीण और शहरी भारत के 477 जिलों में फैसिलिटेशन कैंप लगाए गए हैं। हमारा जोर दूर-दराज के इलाकों को कवर करने पर रहा है।

सरकार, नियामक संस्थाओं, बैंकों और अन्य वित्तीय संस्थानों सहित सभी हितधारकों की संयुक्त कोशिशों के माध्यम से, करीब 2,000 करोड़ रुपये पहले ही वास्तविक हकदारों को वापस मिल चुके हैं।

लेकिन हम आने वाले दिनों में इस अभियान को और बढ़ाना चाहते हैं। और ऐसा करने के लिए, मैं आपसे इन बातों पर मदद का अनुरोध करता हूँ:

पता कीजिए कि क्या आपके या आपके परिवार के पास कोई अनक्लेम्ड डिपॉजिट, बीमा की रकम, डिविडेंड या इन्वेस्टमेंट हैं।

ऊपर बताए गए पोर्टलों पर जाएं।

अपने जिले में सुविधा कैंप का लाभ उठाएं।

जो आपका है, उसे क्लेम करने के लिए अभी कदम बढ़ाएं और एक भूली हुई फाइनेंशियल संपत्ति को एक नए अवसर में बदलें। आपका पैसा आपका है। आइए, यह सुनिश्चित करें कि यह आपको वापस मिले।

आइए, साथ मिलकर एक पारदर्शी, आर्थिक रूप से सशक्त और समावेशी भारत बनाएं!