मित्रों,
आज पू. महात्मा गांधी की जन्मजयंती का अवसर है. आज पोरबंदर की धरती पर कोई एक व्यक्ति का नहीं परंतु एक युग का जन्म हुआ था. गुजरात के सपूत यह विश्व-मानव को शत शत प्रणाम.
पू. बापू के जीवन में बचपन से जीवन के अंत तक मर्यादा पुरुषोत्तम श्री राम का स्थान अनन्य था. श्री राम जन्मभूमि विवाद के बारे में अदालत ने दिया हुआ फैसला बापू की रामराज्य के प्रति श्रद्धा को अपने जीवन में उतारने का अवसर बना रहेगा.
पू. बापू का जीवन ही ऐसा था की गरीब हो या अशिक्षित, हर कोई उनको श्रद्धांजली दे सकें. आईये, आज पू. बापू को श्रद्धांजली के रूप में कुछ दें.
(1) पू. बापू को “स्वच्छता” सबसे अधिक प्रिय थी. एक व्यक्ति के रूप में और समाज के रूप में हम अपनी जीवनचर्या के अभिन्न अंग के रूप में विकसित करें.
(2) पू. बापू ने खादी के द्वारा गरीबी के सामने जंग शुरु की थी. हम भी खादी के एक-दो वस्त्र खरीद के गरीब के घर में दिपावली का दिया प्रज्वलित करें.
(3) पू. बापू कहते थे कि एक पढ़ा लिखा आदमी दूसरे को पढ़ाये. हम कन्या शिक्षण और स्त्री साक्षरता के लिये कुछ ना कुछ योगदान जरुर दें.
पू बापू को यह उत्तम श्रद्धांजली बनी रहेगी.
आप सबको आ रही नवरात्री की शुभकामनाएं.
गुजरात के महानगरों सुरत, बडौदा, अहमदाबाद, राजकोट, जामनगर और भावनगर में लोकशाही का उत्सव चल रहा है. 10-10-10 के दिन चुनाव है. गुजरात की शांति, सुरक्षा और विकास के लिये मतदान का कर्तव्य अवश्य निभायें.



