भारत माता की जय, भारत माता की जय...

मंच पर विराजमान उत्तरप्रदेश भारतीय जनता पार्टी के अध्‍यक्ष श्रीमान लक्ष्‍मीकांत वाजपेयी जी, हमारी पार्टी के वरिष्‍ठ नेता आदरणीय कल्‍याण सिंह जी, श्रीमान लालजी टंडन जी, श्री कलराज मिश्र जी, श्री रमापति जी, भाई अशोक प्रधान जी, विनय कटियार जी, श्रीमान अमित भाई शाह, रामेश्वर चौरसिया, श्री रावत, पार्टी के सभी वरिष्‍ठ नेतागण और यहां उपस्थित दूर-दूर से भारी संख्‍या में आई जनता का अभिनंदन... जहां नजर फैलाइए, सिर ही सिर नजर आ रहे हैं..!

भाईयों-बहनों, मुझे ऐसा लग रहा है कि जैसे उत्तर प्रदेश ने अंदरूनी स्‍पर्धा का कार्यक्रम तय किया है। कानपुर अपना रूतबा दिखाएं तो झांसी कैसे पीछे रह जाएं, तो झांसी ने दिखाया, लेकिन फिर बहराइच वाले आगे निकल गए और आज आगरा ने सबको मात दे दी है..! मित्रों, कुछ अनिवार्य कारणों की वजह से मेरे पहुंचने के कार्यक्रम में बदलाव हुआ और परिणामस्‍वरूप तीन घंटे तक इस कड़ी धूप में आप सभी को इंतजार करना पड़ा, इसके लिए मैं आप सभी से क्षमा चाहता हूं..!

भाईयों-बहनों, ये आगरा की भूमि अनेक ऐतिहासिक कारणों से जानी जाती है। लेकिन जब आज हम दुनिया में हिंदुस्‍तान की ब्रांडिग करते हैं, भारत की भिन्‍न-भिन्‍न ताकतों का परिचय करवाते हैं तो उसमें सबसे पहले विश्व के सामने आगरा का ताजमहल प्रस्‍तुत करते हैं। दुनिया में जिन लोगों को टूरिज्‍म का शौक रहता है, विश्व को जानने और समझने की इच्‍छा रहती है, वो लोग आगरा आना जरूर पसंद करते हैं। मित्रों, सारे विश्व में टूरिज्‍म का उपयोग, सर्विस सेक्‍टर इतनी तेजी से बढ़ रहा है कि एक अनुमान के अनुसार निकट भविष्‍य में टूरिज्‍म का बिजनेस थ्री ट्रिलियन डॉलर तक पहुंचेगा..! पूरे विश्व में टूरिज्‍म का इतना बड़ा बिजनेस होगा, लेकिन क्‍या वह बिजनेस आगरा को नसीब होगा..? क्‍या आगरा के भाग्‍य में कुछ आएगा..? आपको लगता है कि कुछ आएगा..? मुझे नहीं लगता है कि कुछ आएगा..! इसका कारण है कि दिल्‍ली में बैठी हुई सरकार की सोच में गड़बड़ है। कौन से काम को प्रा‍थमिकता देना चाहिए, इसमें वह निर्णय नहीं कर पाते हैं। अगर टूरिज्‍म में इतनी बड़ी संभावनाएं पड़ी हैं, आगरा का ताजमहल विश्व भर में जाना माना है, तो क्‍या ये लोग आगरा में एक अच्‍छा एयरपोर्ट नहीं बना सकते..? क्‍या आगरा में ऐसा प्रबंध नहीं हो सकता है कि विश्व भर के टूरिस्‍ट यहां पहुंचे..? लेकिन अगर उनका कोई मंत्री कहीं से आ जाए, तो छोटा सा गांव हो तो भी वहां एयरपोर्ट बना देते हैं, लेकिन आगरा में नहीं बनाते, जो विश्व भर के टूरिस्‍टों को आकर्षित करने का सामर्थ्‍य रखता है और उस आगरा के प्रति अन्‍याय किया जाता है, उपेक्षा की जाती है। भाईयों-बहनों, आप केंद्र को बोलिए, तो वह कहते हैं कि राज्‍य की जिम्‍मेदारी है, राज्‍य को कहो, तो बोलते है केंद्र की जिम्‍मेदारी है। राज्‍य वाले कहते है यहां करो, केंद्र वाले कहते है वहां करो, पर करता कोई भी नहीं है..!

भाईयों-बहनों, हम यमुना के पास हैं, लेकिन आगरा को पीने का शुद्ध पानी नहीं उपलब्‍ध होता है। आजादी के 60 साल बीत चुके हैं, लेकिन उसके बावजूद भी आगरा जैसे नगर को, जिसके निकट यमुना जी हो, पर उसे पीने का शुद्ध पानी नहीं मिलता हो, तो उसका कारण लखनऊ में बैठे हुए शासक हैं, जिनको यह समझ नहीं है कि सामान्‍य मानवी की आवश्‍यकताओं की पूर्ति के लिए क्‍या करना चाहिए, और इसका नतीजा यह है कि आप तक शुद्ध पानी नहीं पहुंच रहा है..! मित्रों, मेरे गुजरात के हाल बहुत खस्‍ता थे। मेरे यहां नदियां नहीं हैं, आपके यहां तो ढ़ेर सारी नदियां हैं, मेरे पास अकेली एक नर्मदा मैय्या है। लेकिन हमने पाइप लाइन डाली, पाकिस्‍तान की सीमा पर जहां हिंदुस्‍तान की सेना के जवान तैनात हैं, वहां तक नर्मदा का शुद्ध पानी पहुंचाया, रेगिस्‍तान में भी पानी पहुंचाया और दुनिया की सबसे लम्‍बी पाइन लाइन लगाई। और उस पाइन लाइन की साइज इतनी बड़ी है कि हमारे मित्र भाई अखिलेश मारूती कार में पूरे परिवार के साथ बैठकर उस पाइन लाइन के अंदर गाड़ी चला सकते हैं..! इतने बड़े पाइप में हम नर्मदा का पानी ले जाते हैं और 9000 गांवों में पीने का शुद्ध पानी पहुंचाते हैं। क्‍या यहां ऐसा हो सकता है या नहीं..? उन्‍हे यहां ऐसा करना चाहिए या नहीं..? आजकल कई पॉलिटिकल पंडित मुझे सवाल पूछते रहते हैं कि मोदी जी, क्‍या ये गुजरात का मॉडल कहीं और काम आएगा..? मित्रों, अब आप मुझे बताइए कि लोगों तक पानी पहुंचना चाहिए या नहीं..? शुद्ध पानी मिलना चाहिए या नहीं..? अरे भाईयां, हमने पाइप लाइन डाली है, आप कैनाल ही बनवा दो, कुछ तो करो..! जो लोग मॉडल की चर्चा को विवादों में डाल रहे हैं, उनसे मेरा सवाल है कि आप अपने इलाके की अनुकूलता के अनुसार जनता की भलाई के लिए ऐसी नीतियां क्‍यों नहीं बनाते हैं, योजनाएं क्‍यों नहीं बनाते हैं, क्‍यों योजनाओं को लागू नहीं करते हो..?

यहां के गांवों का किसान आलू की खेती करता है। लेकिन जब आलू की फसल बढ़ जाती है, वर्ष अगर अच्‍छा जाता है, आलू की पैदावार ज्‍यादा हो जाती है तो दाम गिर जाते हैं और किसान मर जाता है, और कभी आलू की फसल कम हुई तो भी किसान मर जाता है..! क्‍या समय की मांग नहीं है कि आज हम, हमारे देश में हमारा किसान जो पैदावार करता है, उसके वैल्यू एडिशन पर बल दें, मूल्‍य वृद्धि पर बल दें..? अगर आप आलू बेचें तो कम पैसों में जाता है, लेकिन अगर पोटेटो चिप्‍स बनाकर बेचते हो, तो पैसे ज्‍यादा मिलते हैं..!

भाईयों-बहनों, मेरे यहां बनासकांठा जिला है, जहां आलू की खेती होती है, वहां हमने दो चीजों पर बल दिया, और पूरे विश्व में प्रति हेक्‍टेयर सबसे ज्‍यादा आलू पैदा करने का काम मेरे गुजरात के किसान ने करके दिखाया..! एक तरफ पैदावार बढ़े और दूसरी तरफ मूल्‍य मिलें और तीसरा वहां मूल्‍य वृद्धि के लिए प्रोसेसिंग की व्‍यवस्‍था हो, ताकि मेरा किसान सुखी और समृद्ध हो..! मित्रों, लेकिन दिल्‍ली में बैठी कांग्रेस पार्टी को देश के विकास में कोई रूचि नहीं है, उन्‍हे भारत के भाग्‍य को बदलने में कोई रूचि नहीं है। ये सब उनकी प्राथमिकता नहीं है, इसके पीछे एक कारण है कि वह वोट बैंक की राजनीति के आदी हैं..! वोट बैंक की राजनीति के आदी होने के कारण, जोड़-तोड़ की राजनीति करना, 25% लोगों को इक्‍ट्ठा कर लेना, 75% लोगों को निगलेक्‍ट करना और सिर्फ 25% लोगों के लिए खेल खेलते रहना, बाकी के 75% लोगों के साथ अन्‍याय करना, यही कांग्रेस पार्टी का कारनामा रहा है..!

भाईयों-बहनों, कांग्रेस पार्टी स्‍वभाव से विघटनकारी पार्टी है, विभाजन करने वाली पार्टी है, विभाजन करो और राज करो, बांटो और राज करो, यही कांग्रेस पार्टी का स्‍वभाव है। पूरा देश जब आजादी के लिए लड़ाई लड़ रहा था, तब उन्‍होने देश का विभाजन किया, तुष्टिकरण की राजनीति के लिए उन्हों ने वंदेमातरम् का भी दो टुकड़ों में विभाजन कर दिया, हिंदुस्‍तान में दो-दो कानून लगा दिए, कश्‍मीर में अलग कानून और बाकी के देश में अलग कानून..! एक राज्‍य को दूसरे राज्‍य के साथ लड़ा देना, पानी के मुद्दों को लटकाएं रखना, कभी भाषा के नाम पर राज्‍यों का बंटवारा करना, कभी उत्तर-दक्षिण का बंटवारा करना, कभी गांव और शहर का बंटवारा करना... मित्रों, यही कारनामे कांग्रेस पार्टी के स्‍वभाव में रहे हैं और यही आदत छोटी-छोटी पार्टियों को भी लग गई..! कांग्रेस की वोट बैंक की राजनीति के और दल भी सीखने लग गए। सपा ने भी कांग्रेस की वोट बैंक की राजनीति को चुराया, बसपा ने भी कांग्रेस की वोट बैंक की राजनीति को चुराया और ये दोनों कांग्रेस से सवाये सिद्ध हो गए..! इन दोनों ने कांग्रेस की वोट बैंक की राजनीति चुराकर उसमें अपना रंग भर दिया, अपना खेल जोड़ दिया, और इसका परिणाम यह आया कि वोट बैंक की राजनीति में कौन आगे निकले इसकी स्‍पर्धा होने लगी..! इस तरह वोट बैंक की राजनीति में कभी सपा आगे तो कभी बसपा आगे, लेकिन कभी कांग्रेस कोशिश करती है, लेकिन यह कांग्रेस के पाप का परिणाम है कि देश में सपा और बसपा जैसे लोग पैदा हुए हैं..!

भाईयों-बहनों, इस वोट बैंक की राजनीति ने देश को तबाह करके रखा है। आज समय की मांग है कि विकास की राजनीति की जाए। आज हिंदुस्तान में अकेली भारतीय जनता पार्टी ऐसी है जो राष्‍ट्रवाद के आधार पर चल रही है, जोड़ने की राजनीति कर रही है। हम जितनी जल्‍दी तोड़ने वालों को हटाएंगे, उतनी ही जल्‍दी देश का भाग्‍य उज्‍जवल होगा, इसलिए हिंदुस्‍तान की राजनीति में एक मात्र भारतीय जनता पार्टी, वोट बैंक की राजनीति से ऊपर उठकर के सिर्फ विकास की राजनीति का वादा करने आई है। मित्रों, मैं आपको विश्वास दिलाता हूं, अपने गुजरात के अनुभव से कहता हूं कि अगर हम देश में विकास की राजनीति के पहलू को लेकर चलें, तो जातिवाद का ज़हर खत्‍म हो जाएगा, ये सम्‍प्रदाय के झगड़े भी खत्‍म हो जाएंगे, ये परिवारवाद भी खत्‍म हो जाएगा और समाज के सभी लोगों का कल्‍याण होगा..!

भाईयों-बहनों, दलित हो, पीडि़त हो, शोषित हो, किसान हो, गांव का गरीब हो, हर एक को अवसर मिलना चाहिए, उसको मौका मिलना चाहिए। आज हिंदुस्‍तान दुनिया का सबसे युवा देश है, 65% जनसंख्‍या 35 साल से कम उम्र की है, लेकिन देश के नौजवान बेरोजगार बैठे हैं। दिल्‍ली में बैठी हुई कांग्रेस की सरकार ने वादा किया था कि अगर उनकी सरकार बनेगी, तो वह हर वर्ष 1 करोड़ नौजवानों को रोजगार देगें..! मित्रों, मुझे जबाव दीजिए, कांग्रेस ने जो वादा लोकसभा चुनावों में किया था, क्‍या उन लोगों ने वह वादा निभाया..? क्‍या आपमें से किसी को दिल्‍ली सरकार ने नौकरी दी है, क्‍या आपमें से किसी को दिल्‍ली सरकार ने रोजगार दिया है..? अरे, रोजगार देने की बात तो छोडिए, उन्‍होने तो आगरा में तो सारे कारखानों में ताला लगा दिया, यहां के नौजवानों का रोजगार छीन लिया है..!

भाईयों-बहनों, मेरे गुजरात में उत्तर प्रदेश के हर जिले के लोग रहते हैं, लेकिन आगरा से बहुत कम आते हैं। इन दिनों मैं देख रहा हूं कि इस इलाके से भी बहुत बड़ी मात्रा में नौजवान गुजरात आते हैं, तो मैने पूछा कि भाई क्‍या हाल हुआ, क्‍या बात हो गई, आगरा भी क्‍यों छोड़ना पड़ रहा है..? उन्‍होने कहा कि वहां जीना भी मुश्किल है और रोज का गुजारा करना भी मुश्किल है..! मित्रों, आज देश के नौजवान को रोजी-रोटी के लिए अपना गांव छोड़ना पड़े, घर छोड़ना पड़े, अपना परिवार छोड़ना पड़े, ये बहुत दुखद है..! आखिर कब तक देश के नौजवान को रोजगार के लिए अपना गांव छोड़ना पड़ेगा, घर छोड़ना पडेगा..? इसलिए मैं आपसे कहने आया हूं कि अगर हमारे देश का विकास नहीं होगा तो हमारे गांव, गरीब, किसान के बेटे को अपना गांव, घर छोड़ना पड़ेगा, वो कहां-कहां भटकेगा..? हमारे नौजवान को रोजगार चाहिए, रोजगार के लिए उद्योग लगाने पड़ेंगे, कृषि के अंदर विकास करना पड़ेगा, सर्विस सेक्‍टर को बढ़ावा देना पड़ेगा, लेकिन दिल्‍ली की सरकार को लकवा मार गया है..!

भाईयों-बहनों, आज आपके यहां उत्तर प्रदेश में क्‍या सभी को बिजली मिलती है..? यहां इतना पानी है, उसके बावजूद भी आपको बिजली नहीं मिल रही है, दो, चार, छ: घंटे की बिजली से आपको गुजारा करना पड़ रहा है। मां बीमार है, लेकिन पंखा नहीं चल रहा, बेटे के एक्‍जाम है, वह रात को पढ़ना चाहता है लेकिन बिजली गुल है, घर में बेटे की शादी हुई है, नई-नई बहू आई है, नया टीवी सेट लाई है, लेकिन जब उसे ‘सास भी कभी बहू थी’ देखने का मन हो, पर टीवी नहीं चलता, क्‍योंकि बिजली नहीं है..! लेकिन क्या कारण है कि पूरे उत्तर प्रदेश में तो बिजली नहीं है, लेकिन यहां कुछ खासम-खास लोग हैं, जिनके यहां तो 24 घंटे बिजली चलती रहती है, आखिर क्‍यूं..? आखिर ये भेदभाव, ये अन्‍याय क्‍यूं..? मित्रों, इसका कारण समझिए, देश में आज 20,000 मेगावॉट से ज्‍यादा बिजली पैदा करने वाले कारखाने बंद पड़े हैं। कारखाने लगे हुए हैं, स्‍वीच ऑन करते ही बिजली पैदा की जा सकती है, लेकिन इन्‍हे चलाया नहीं जा रहा है क्‍योंकि कोयला नहीं है, कोयला क्‍यों नहीं है, क्‍योंकि कोयला चोरी कर लिया गया..! मित्रों, क्‍या आप लोगों ने कभी कोयले को घर के अंदर ताले में रखा है..? क्‍या आपके घर के बाहर ही कोयला पड़ा रहता है..? क्‍या कभी कोयले की चोरी होती है..? कितना भी बड़ा बदमाश चोर हो, क्‍या कोई कोयले को हाथ लगाता है..? लेकिन दिल्‍ली में ऐसी सरकार बैठी है कि वो कोयला ही खा गई..! उसके बाद, जब सुप्रीम कोर्ट ने डंडा मारा, जांच शुरू हुई तो कह दिया कि फाइल खो गई..! आप सुप्रीम कोर्ट के सामने कह देते हैं कि फाइल खो गई है लेकिन पूरा देश कह रहा है कि पूरी की पूरी सरकार ही खो गई है..! इतना ही नहीं, आपकी तो सिर्फ फाइल खो गई है, हमारी तो लाइफ खो गई है..!

भाईयों-बहनों, आज हिंदुस्तान में भ्रष्‍टाचार की जो स्थिति है उसमें सबसे दुख:द बात यह है कि कांग्रेस के नेताओं को इसकी कोई परवाह नहीं है, इनको चिंता नहीं है, इन्‍हे लगता है कि राजनीति में तो ऐसा ही चलता है, भ्रष्‍टाचार तो पहले भी हुए थे, फिर भी लोगों ने चुनाव जीता दिया था, फिर सरकार बना दी, एक बार फिर बना देगें..! मित्रों, क्‍या अब आप भ्रष्‍टाचारियों को माफ करेंगे..? क्‍या उन्‍हे सजा देगें..? कड़ी सजा दोगे..? इन भ्रष्‍टाचारियों का मज़ा देखिए, आपके उत्तर प्रदेश के एक मंत्री एक एनजीओ चलाते थे और उन पर 70 लाख रूपया गबन करने का आरोप लगा। एक टीवी चैनल वाले ने बीड़ा उठाया और दिखाया कि गरीबों, अपंगों और बेसहारा लोगों को मदद करने वाले एनजीओ ने 70 लाख का गबन किया है, यह नाममात्र का एनजीओ है जो सारे पैसे खा जाता है..! उत्तरप्रदेश के ही कांग्रेस की केंद्र सरकार के दूसरे मंत्री से इस बारे में जब पूछा गया कि 70 लाख के गबन का आरोप लगा है, इस बारे में आपका क्‍या कहना है..? तो वह बोले ये नहीं हो सकता है, उन पर 70 लाख के गबन का आरोप सही नहीं हो सकता, अगर 70 करोड़ का हो तो यह बात गले उतरेगी..! उन्‍ही की सरकार का दूसरा मंत्री ऐसा जबाव दे रहा है कि 70 लाख कोई चीज नहीं होती, 70 करोड़ की बात होती तो मैं मान लेता कि शायद मेरा मंत्री होगा..!

भाईयों-बहनों, आप कल्‍पना कीजिए, ये लोग कितनी मोटी चमड़ी के हो गए हैं कि इनको जरा भी परवाह नहीं है और इसका कारण यह है कि वह हिंदुस्‍तान की जनता को शक्ति रूप में स्‍वीकार करने के लिए तैयार नहीं है। वे ऐसा मानते हैं कि देश की जनता उनकी जेब में है, उनका अहंकार सांतवे आसमान पर पहुंचा हुआ है, उनको जनता जर्नादन की परवाह नहीं है, उनको जनता के सुख-दुख की परवाह नहीं है, उनके ऐसे कारनामे करने की आदत के कारण आज देश पिछड़ रहा है। मित्रों, कांग्रेस पार्टी का अहंकार, परिवारवाद, वंशवाद देश की पूरी राजनीति को दीमक की तरह खाए जा रहा है, देश को खाए जा रहा है..!

भाईयों-बहनों, सवाल सत्ता पर बैठने या न बैठने की लड़ाई का नहीं है, सवाल ये है कि ये देश कैसे बचे, हमारी भावी पीढ़ी के लिए देश कैसे बचे, कैसे सलामत रहे..! हमारा आज तो बर्बाद हो चुका है, लेकिन क्‍या आने वाला कल बर्बाद करना है..? हमारे आज को बर्बाद करने वाले को क्‍या कल भी बर्बाद करने देना है..? अगर आप अपना कल बचाना चाहते हो, तो कांग्रेस, सपा और बसपा के घेरे से मुक्ति की जरूरत है, देश को उनसे मुक्‍त करने की जरूरत है। मेरा मानना है कि जब तक हम देश को उनसे मुक्‍त नहीं करेगें, तब तक हम परिवर्तन नहीं ला सकते हैं..!

भाईयों-बहनों, आप इतनी बड़ी संख्‍या में आएं, आप लोगों ने इतना समर्थन किया, मैं आप सभी का बहुत-बहुत आभारी हूं..! मैं आप सभी को विश्वास दिलाता हूं कि भारतीय जनता पार्टी विकास के मंत्र को लेकर के आपके जीवन में बदलाव लाने के लिए, आपके बेटों की जिंदगी में सुधार लाने के लिए, गांव-गरीब आदमी की चिंता करने के लिए, महंगाई से मुक्ति दिलाने के लिए हम आपका साथ, समर्थन और सहयोग चाहते हैं। ये देश गरीब नहीं है, ये देश नई ऊंचाईयों को पार कर सकता है, लेकिन दुर्भाग्य से हमें सरकारें ऐसी मिली, जिन्‍होने देश को तबाह कर दिया। अटल जी को थोड़ा सा कालखंड मिला था, लेकिन उस छोटे कालखंड में ही उन्‍होने देश को ऐसी ऊंचाईयों पर पहुंचा दिया, जिस पर आज भी देश गर्व करता है और आने वाले दिनों में भारतीय जनता पार्टी भी देश को नई ऊंचाईयों पर ले जा सकती है..!

अब आप सभी मेरे साथ दोनों मुट्ठी बंद करके पूरी ताकत से बोलिए,

भारत माता की जय..! भारत माता की जय..!

आप सभी का बहुत-बहुत धन्‍यवाद..!

Explore More
78-ാം സ്വാതന്ത്ര്യ ദിനത്തില്‍ ചുവപ്പ് കോട്ടയില്‍ നിന്ന് പ്രധാനമന്ത്രി ശ്രീ നരേന്ദ്ര മോദി നടത്തിയ പ്രസംഗം

ജനപ്രിയ പ്രസംഗങ്ങൾ

78-ാം സ്വാതന്ത്ര്യ ദിനത്തില്‍ ചുവപ്പ് കോട്ടയില്‍ നിന്ന് പ്രധാനമന്ത്രി ശ്രീ നരേന്ദ്ര മോദി നടത്തിയ പ്രസംഗം
Women, youth, minorities, farmers: Focus of first 100 days of Modi 3.0

Media Coverage

Women, youth, minorities, farmers: Focus of first 100 days of Modi 3.0
NM on the go

Nm on the go

Always be the first to hear from the PM. Get the App Now!
...
This is the golden period of India: PM Modi in Ahmedabad, Gujarat
September 16, 2024
Inaugurates Namo Bharat Rapid Rail between Ahmedabad and Bhuj
Flags off several Vande Bharat trains
Sanctions more than 30,000 houses under the PM Awas Yojana - Gramin
Launches Single Window IT System (SWITS) of International Financial Services Centres Authority
“The first 100 days of our third term have brought impactful development for all”
“Big decision taken regarding the health of the poor and the middle class by providing free treatment worth Rs 5 lakh to all elderly people above 70 years of age”
“Namo Bharat Rapid Rail is going to provide a lot of convenience to middle-class families”
“Expansion of Vande Bharat network in these 100 days is unprecedented”
“This is the time for India, This is the golden period of India, This is the Amrit Kaal of India”
“India has no time to lose now, We have to increase credibility and also provide every Indian a life of dignity”

भारत माता की जय,

भारत माता की जय,

गुजरात के राज्यपाल आचार्य देवव्रत जी, राज्य के लोकप्रिय मुख्यमंत्री भूपेंद्र भाई पटेल, केंद्रीय मंत्रिमंडल में मेरे सहयोगी सी आर पाटिल, देश के अलग-अलग भागों से इस कार्यक्रम में जुड़े हुए सभी राज्यपाल महोदय, उप मुख्यमंत्रीगण, सांसदगण, विधायकगण, अन्य जनप्रतिनिधि और विशाल संख्या में यहां आए हुए मेरे प्यारे भाइयों और बहनों।

कैसे हो सभी, सब मजे में, आप सभी की माफी मांग के मुझे आज भाषण हिंदी में करना है क्यूंकि दूसरे राज्य के भी साथी आज यहाँ इस कार्यक्रम में बडी संख्या में जुड़े है । और अपने गुजरात में तो हिन्दी चलता है क्यों ? चलता है न ?

आज देश में गणेशोत्सव चारों तरफ उत्सव की धूम है। । घरों में गणपति भी विराजित हैं। आज मिलाद-उन-नबी भी है...देश के अलग-अलग हिस्सों में कई त्योहार और पर्व मनाए जा रहे हैं। उत्सव के इस समय में भारत के विकास का उत्सव भी निरंतर जारी है। अभी यहां से करीब साढ़े आठ हज़ार करोड़ रुपए के प्रोजेक्ट्स का शिलान्यास और लोकार्पण हुआ है। इनमें रेल, रोड, मेट्रो... ऐसे अनेक प्रोजेक्ट्स शामिल हैं। आज गुजरात के गौरव में एक और सितारा जुड़ा है। आज नमो भारत रेपिड रेल भी शुरु हुई है। ये भारत की अर्बन कनेक्टिविटी के लिए एक और मील का पत्थर सिद्ध होने वाली है। आज गुजरात के हज़ारों परिवार, अपने नए घर में प्रवेश भी कर रहे हैं। आज हज़ारों परिवारों को उनके पक्के घर की पहली किश्त भी जारी हुई है। मेरी कामना है..नवरात्रि, दशहरा, दुर्गापूजा, धनतेरस, दीवाली, अब से सारे त्योहार इतने ही उमंग के साथ आप नए घर में मनाएंगे। आप सभी का गृह-प्रवेश शुभ हो, आपके सपनों को नई उड़ान देने वाला हो।। मैं विशेष रूप से उन हज़ारों बहनों को बधाई दूंगा, जिनके नाम पर ये घर रजिस्टर हुए हैं। विकास के इन सभी प्रोजेक्ट्स के लिए मैं गुजरात वासियों को, देशवासियों को बहुत-बहुत बधाई देता हूं।

साथियों,

उत्सव के इस माहौल में एक पीड़ा भी है। इस वर्ष गुजरात के अनेक इलाकों में एक साथ अतिवृष्टि हुई है। पहली बार इतिहास में इतने व्यापक स्तर से, इतने कम समय में, इतनी तेज बारिश हमने देखी है। इक्का-दुक्का जगहों में नहीं बल्कि, गुजरात के कोने-कोने में ये स्थिति पैदा हुई और इसके कारण हमने अनेक स्वजनों को खोया है। जान-माल की भी बहुत हानि हुई है। केंद्र और राज्य सरकार, प्रभावितों को हर संभव राहत देने के लिए काम कर रही है। जिन साथियों का उपचार चल रहा है, मैं उनके जल्द स्वस्थ होने की कामना करता हूं।

साथियों,

तीसरी बार प्रधानमंत्री के रूप में शपथ लेने के बाद, मैं पहली बार आज गुजरात आया हूं, आप सभी के बीच आया हूं। गुजरात मेरी जन्मभूमि है..गुजरात ने मुझे जीवन की हर सीख दी है। आप लोगों ने हमेशा मुझ पर अपना प्यार लुटाया है....और बेटा जब अपने घर आता है...घर आकर जब अपनों से आशीर्वाद लेता है...तो उसे नई ऊर्जा मिलती है। उसका उत्साह, उसका जोश और बढ़ जाता है। और इतनी बड़ी तादाद में आप आशीर्वाद देने आए, ये मेरा बहुत बड़ा सौभाग्य है।

साथियों,

मुझे गुजरात के आप सभी लोगों की अपेक्षा का भी ऐहसास है। बार-बार मुझे अलग-अलग corner से message भी आया करते थे। आप चाहते थे कि तीसरी बार शपथ लेने के बाद मैं जल्द से जल्द आपके बीच आऊं और बहुत स्वाभाविक था, 60 साल के बाद देश की जनता ने एक नया इतिहास रचा है। एक सरकार को लगातार तीसरी बार देश की सेवा करने का अवसर दिया है। ये भारत के लोकतंत्र की बहुत बड़ी घटना है और इसलिए गुजरात के मन में ये विचार आना कि हमारे नरेन्द्र भाई पर तो हमारा हक है। उन्होंने तुरंत गुजरात आना चाहिए। आपकी भावना सही है। लेकिन राष्ट्र प्रथम का संकल्प दिलाकर आप ही लोगों ने मुझे दिल्ली भेजा है। मैंने लोकसभा चुनाव के दौरान आप लोगों को... देशवासियों को एक गारंटी दी थी। मैंने कहा था कि तीसरे टर्म के पहले 100 दिन, देश के लिए अभूतपूर्व फैसले लिए जाएंगे। बीते 100 दिनों में, मैंने दिन नहीं देखा, रात नहीं देखा, 100 दिन के एजेंडे को पूरा करने के लिए पूरी ताकत झोंक दी...देश हो या विदेश, जहां भी, जो भी प्रयास करने थे, वो किए...कोई कोर कसर बाकी नहीं छोड़ी। और आपने देखा होगा पिछले 100 दिन में न जाने कैसी कैसी बातें होने लगी। इस दौरान मेरा मजाक उड़ाने लगे... मोदी का मखौल उड़ाने लगे... भांति-भांति के तर्क वितर्क बताते रहे... मजा लेते थे और लोग भी हैरान थे कि मोदी क्या कर रहा है? क्यों चुप है? इतनी मजाक हो रहा है... इतना अपमान हो रहा है।

लेकिन मेरे गुजरात के भाईयों-बहनों,

ये सरदार पटेल की भूमि से पैदा हुआ बेटा है। हर मजाक, हर मखौल, हर अपमान को सहते हुए, एक प्रण लेकर के 100 दिन मैंने आपके कल्याण के लिए, देश हित के लिए नीति बनाने और निर्णय लेने में जुटा हुआ था। और तय किया था जिनको जितना मखौल उड़ाना है उड़ाने दो। उनको भी तो मौज आएगी, लेलो लेलो। और मैंने तय किया था मैं एक भी जवाब नहीं दूंगा। जिस रास्ते पर मुझे देश के कल्याण के मार्ग पर चलना है। कितने ही प्रकार के हंसी, मजाक, ठिठौरापन होता रहे, मैं अपनी इस राह से भटकूंगा नहीं। और आज मुझे खुशी है कि उन सब अपमानों को पचाते हुए 100 दिन के इन निर्णयों में, देश के हर नागरिक, हर परिवार, हर वर्ग के कल्याण की गारंटी पक्की हो गई है। इन 100 दिनों में 15 लाख करोड़ रुपये से ज्यादा योजनाओं पर काम शुरू हुआ है। चुनाव के दौरान मैंने 3 करोड़ नए घर बनाने की गारंटी देश को दी थी। इस गारंटी पर तेजी से काम हो रहा है। आज यहां इस कार्यक्रम में भी गुजरात के हज़ारों परिवारों को पक्का घर मिला है। कल मैं झारखंड में था, वहां भी हज़ारों परिवारों को घर दिए गए हैं। गांव हो या शहर, हम सभी को बेहतर जिंदगी जीने के लिए व्यवस्थाएं जुटाने में लगे हैं।। शहरी मिडिल क्लास के घरों के लिए आर्थिक मदद देना हो...श्रमिकों को सही किराए पर अच्छा घर देने का अभियान हो...फैक्ट्रियों में काम करने वालों के लिए विशेष आवास योजना बनानी हो...वर्किंग वूमन के लिए देश में नए होस्टल बनाने हो...सरकार इन पर हजारों करोड़ रुपए खर्च कर रही है।

साथियों,

कुछ दिन पहले ही गरीब और मिडल क्लास के स्वास्थ्य से जुड़ा बहुत बड़ा फैसला लिया गया। मैंने आपसे वायदा किया था कि देश में 70 वर्ष से ऊपर के जितने भी बुजुर्ग हैं, सबको 5 लाख रुपए का मुफ्त इलाज मिलेगा। ये गारंटी भी पूरी हो गई है। अब मिडिल क्लास के बेटे-बेटियों को अपने मां-बाप के इलाज की चिंता नहीं करनी पड़ेगी। अब आपका ये बेटा, इसकी चिंता करेगा।

साथियों,

इन 100 दिनों में नौजवानों की नौकरी, उनके रोजगार-स्वरोजगार, उनके कौशल विकास के लिए बड़े फैसले लिए गए हैं। नौजवानों के लिए 2 लाख करोड़ रुपए का विशेष पीएम-पैकेज घोषित किया गया है। इसका फायदा 4 करोड़ से अधिक नौजवानों को होगा। अब कंपनियों में पहली नौकरी की पहली सैलरी, अगर कंपनी नए नौजवान को पहली बार रोजगार देती है तो वो पैसे सरकार देने वाली है। सरकार ने मुद्रा लोन, जिस मुद्रा लोन ने स्वरोजगार के क्षेत्र में एक नई क्रांति लाई है, बहुत सफल अभियान रहा है। उसकी सफलता को देखते हुए पहले 10 लाख रुपये तक मिलते थे, अब उसे बढ़ाकर के 20 लाख रुपया कर दिया गया है।

साथियों,

मैंने माताओं-बहनों को गारंटी दी थी कि देश में 3 करोड़ लखपति दीदी बनाई जाएंगी। बीते सालों में 1 करोड़ लखपति दीदी बन चुकी हैं। लेकिन आपको खुशी होगी कि तीसरे टर्म में पहले 100 दिन में गुजरात सहित पूरे देश में 11 लाख नई लखपति दीदी बनी हैं। हाल में ही, सरकार ने तिलहन उगाने वाले किसानों के हित में तेलबिया, उनके हित में भी बड़ा फैसला किया। ये फैसला इसलिए लिया गया है, ताकि देश के किसान हमारे तिलहन किसानों को बढ़े हुए MSP से भी ज्यादा कीमत मिले। तिलहन किसानों को फायदा हो। इसके लिए विदेशी तेल के आयात पर शुल्क बढ़ाया गया है। इससे सोयाबीन और सूरजमुखी जैसी फसलें उगाने वाले किसानों को बहुत लाभ होगा। और देश को खाद्य तेल में आत्मनिर्भर बनाने के मिशन को भी गति मिलेगी। सरकार ने बासमती चावल और प्याज़ के निर्यात पर भी जो रोक लगी हुई थी उसे भी हटा दिया है। इससे विदेशों में भारत के चावल और प्याज की मांग बढ़ी है। इस निर्णय से भी देश के करोड़ों किसानों को फायदा होगा।

साथियों,

बीते 100 दिनों में रेल, रोड, पोर्ट, एयरपोर्ट और मेट्रो से जुड़े दर्जनों प्रोजेक्ट्स को स्वीकृति दी गई है। इसकी झलक आज के इस कार्यक्रम में भी दिख रही है, वीडियो में भी बताया गया। यहां गुजरात में कनेक्टिविटी से जुड़े ढेर सारे प्रोजेक्ट्स का शिलान्यास या लोकार्पण हुआ है। थोड़ी देर पहले मैंने मेट्रो से गिफ्ट सिटी स्टेशन तक सफर किया। इस दौरान अनेक लोगों ने अपने अनुभव साझा किए। अमदाबाद मेट्रो के विस्तार से हर कोई खुश है। 100 दिनों के अंदर देशभर के अनेक शहरों में मेट्रो के विस्तार से जुड़े निर्णय लिए गए हैं।

साथियों,

गुजरात के लिए आज का दिन एक और वजह से भी खास है। आज से अहमदाबाद और भुज के बीच नमो भारत रेपिड रेल चलने लगी है। नमो भारत रेपिड रेल देश में एक शहर से दूसरे शहर रोज आने जाने वाले हमारे मिडिल क्लास परिवारों को बहुत सुविधा देने वाली है। इससे नौकरी-पेशा, व्यापार-कारोबार और पढ़ाई-लिखाई से जो साथी जुड़े हुए हैं, उनको बहुत लाभ मिलेगा। आने वाले समय में देश के अनेक शहरों को नमो भारत रेपिड रेल कनेक्ट करने वाली है।

साथियों,

वंदे भारत ट्रेनों के नेटवर्क को इन 100 दिनों में जिस तेज़ी से बढ़ाया गया है, वो तो अभूतपूर्व है। इस दौरान देश में 15 से अधिक नए रूट्स पर नई वंदेभारत ट्रेनें शुरु हो चुकी हैं। इसका मतलब ये हुआ कि पिछले 15 सप्ताह में हर सप्ताह एक हिसाब से 15 सप्ताह में 15 नई मेट्रो । कल झारखंड से भी मैंने अनेक वंदे भारत ट्रेनों को हरी झंडी दिखाई। आज भी...नागपुर-सिकंदराबाद, कोल्हापुर-पुणे, आगरा कैंट-बनारस, दुर्ग -विशाखापट्टनम, पुणे-हुब्बलि वंदे भारत ट्रेन शुरु हुई हैं। वाराणसी और नई दिल्ली के बीच चलने वाली वंदे भारत तो अब 20 कोच की हो गई है। आज देश में सवा सौ से ज्यादा वंदे भारत ट्रेनें हर रोज हजारों लोगों को बेहतर सफर का आनंद दे रही हैं।

साथियों,

गुजरात के हम लोग...समय का मूल्य समझते हैं। भारत के लिए ये समय...भारत का गोल्डन पीरियड है...भारत का अमृतकाल है। अगले 25 साल में हमें अपने देश को विकसित बनाना है...और इसमें गुजरात की बहुत बड़ी भूमिका है। गुजरात आज मैन्यूफैक्चरिंग का बहुत बड़ा हब बन रहा है। आज गुजरात भारत के सबसे वेल कनेक्टेड राज्यों में से एक है। वो दिन दूर नहीं जब गुजरात...भारत को पहला मेड-इन-इंडिया ट्रांसपोर्ट एयरक्राफ्ट सी-295 देगा। सेमीकंडक्टर मिशन में आज गुजरात जिस तरह लीड ले रहा है...वो अभूतपूर्व है। आज गुजरात में एक से बढ़कर एक यूनिवर्सिटीज हैं...पेट्रोलियम हो...फोरेंसिक हो...वेलनेस हो...हर आधुनिक विषय की पढ़ाई के लिए गुजरात में बेहतरीन मौके हैं...विदेशी यूनिवर्सिटीज भी यहां गुजरात में आकर अपने कैंपस खोल रही हैं...कल्चर से लेकर एग्रीकल्चर तक गुजरात की पूरी दुनिया में धूम मची हुई है...हम जिन फसलों के बारे में सोच भी नहीं सकते थे...वो फसलें और अनाज भी अब गुजरात विदेशों में एक्सपोर्ट कर रहा है। और ये सब किसने किया है? गुजरात में ये परिवर्तन कौन लाया है?

साथियों,

ये गुजरात के आप सभी परिश्रमी लोगों ने किया है। पूरी की पूरी एक पीढ़ी गुजर गई जिसने गुजरात के विकास के लिए जी-जान से यहां मेहनत की है। अब यहां से हमें गुजरात को एक नई ऊंचाई पर लेकर जाना है। आपको याद होगा...इस बार लाल किले से मैंने भारत में बनने वाले सामानों की क्वालिटी की बात की है। जब हम कहते हैं कि ये एक्सपोर्ट क्वालिटी का है...तो कहीं ना कहीं ये भी मान लेते हैं कि जो एक्सपोर्ट नहीं हो रहा...उसकी क्वालिटी शायद उतनी बेहतर नहीं है। और इसलिए कहते हैं ये एक्सपोर्ट क्वालिटी का है। हमें इस मानसिकता से बाहर निकलना है। मैं चाहता हूं...गुजरात अपने बेस्ट क्वालिटी के प्रॉडक्ट्स के लिए भारत और पूरी दुनिया में अपनी शानदार पहचान बनाए।

साथियों,

आज भारत जिस तरह नए संकल्पों के साथ काम कर रहा है...विदेशों में भी भारत की आज वाह-वाही हो रही है। हाल के दिनों में मुझे अनेक देशों में, अनेक बड़े मंचों पर भारत का प्रतिनिधित्व करने का अवसर मिला। आपने भी देखा है कि दुनिया में भारत को कितना मान-सम्मान मिल रहा है। दुनिया में हर कोई भारत का, भारतीयों का खुले मन से स्वागत करता है। हर कोई चाहता है कि भारत के साथ अच्छे रिश्ते बने। अगर कहीं कोई संकट है, कहीं कोई समस्या है, तो लोग समाधान के लिए भारत को याद करते हैं। जिस प्रकार भारत के लोगों ने लगातार तीसरी बार स्थिर सरकार बनाई...जिस प्रकार भारत तेज़ गति से विकास कर रहा है...उससे दुनिया की उम्मीदें और अधिक बढ़ गई हैं। और 140 करोड़ देशवासियों का ये अटूट भरोसा ही है...जिसके चलते मैं भी सीना चौड़ा करके, गर्व के साथ दुनिया को भरोसा देता हूं, मेरे देशवासियों की ताकत के कारण। भारत पर इस बढ़ते भरोसे का सीधा फायदा, भारत के किसान, भारत के नौजवान को होता है। जब भारत पर भरोसा बढ़ता है तो हमारे स्किल्ड नौजवानों की डिमांड बढ़ती है। जब भारत पर भरोसा बढ़ता है तो हमारा एक्सपोर्ट बढ़ता है और देश में ज्यादा निवेश आता है। जब भारत पर भरोसा बढ़ता है तो विदेशी निवेशक भारत में अपना पैसा लगाते हैं, फैक्ट्रियां लगाते हैं।

भाइयों और बहनों,

एक तरफ, हर देशवासी पूरी दुनिया में भारत का ब्रांड एंबेसडर बनना चाहता है। अपने देश के सामर्थ्य को आगे बढ़ाने में लगा है...वहीं देश में ही नेगेटिविटी से भरे कुछ लोग, उल्टा काम कर रहे हैं। य़े लोग देश की एकता पर प्रहार कर रहे हैं। सरदार पटेल ने हमें 500 से ज्यादा रियासतों को मिलाकर भारत का एकीकरण किया। सत्ता के भूखे ये लालची लोग...भारत के ही टुकड़े-टुकड़े कर देना चाहते हैं। आप लोगों ने सुना होगा...अब ये लोग मिलकर कह रहे हैं कि जम्मू-कश्मीर में आर्टिकल-370 को वापस ले आएंगे..ये लोग जम्मू-कश्मीर में दो संविधान-दो विधान का नियम फिर लागू करना चाहते हैं। तुष्टिकरण के लिए ये लोग किसी भी हद को पार कर रहे हैं...नफरत से भरे हुए ये लोग भारत को बदनाम करने का कोई मौका नहीं छोड़ते। ये लोग गुजरात को भी लगातार निशाने पर ले रहे हैं। इसलिए गुजरात को इनसे सतर्क भी रहना है और इन पर नजर भी रखनी है।

साथियों,

विकसित होने के रास्ते पर चल रहा भारत...ऐसी ताकतों से डटकर मुकाबला करेगा। भारत के पास अब गंवाने के लिए समय नहीं है। हमें भारत की साख भी बढ़ानी है और हर भारतीय को सम्मान का जीवन भी देना है। और मैं जानता हूं...गुजरात इसमें भी अग्रणी है। हम सभी के प्रयासों से हमारे हर संकल्प सिद्ध होंगे। आज आप जिस उमंग -उत्साह के साथ आशीर्वाद दे रहे हैं। मैं अब गुजरात से नई ऊर्जा लेकर के आगे बढूंगा, नई चेतना को लेकर के जीऊंगा। आपके लिए, आपके सपनों के लिए अपना पल-पल खपा दूंगा साथियों। आपका कल्याण, आपके जीवन की सफलता, आपके सपनों को साकार करना, जीवन में इसके सिवाय कोई इच्छा नहीं है, कोई आकांक्षा नहीं है। सिर्फ और सिर्फ आप ही, मेरे देशवासी ही मेरे आराध्य हैं। मैंने मेरे इस आराध्य देव की पूजा में अपने आपको आहूति देने करने का निर्णय कर लिया है, अपने आपको खपाने का निर्णय कर लिया है। और इसलिए साथियों, जीऊंगा तो आपके लिए, जूझता रहूंगा तो आपके लिए, जी-जान से खपता रहूंगा तो आपके लिए। आप मुझे आशीर्वाद दें। करोड़ों-करोड़ों देशवासियों के आशीर्वाद से एक नए आत्मविश्वास के साथ नए उमंग और नए हौसले के साथ मैं 140 करोड़ भारतवासियों के सपनों के लिए जी रहा हूं, जीता हूं, जीना चाहता हूं। इतनी बड़ी तादाद में आप आशीर्वाद देने के लिए आए। मैं कल शाम से गुजरात आया हूं, लंबे समय बाद आया लेकिन आपका प्यार बढ़ता ही चला जा रहा है, बढ़ता ही चला जा रहा है और मेरा हौसला भी बुलंद होता चला जा रहा है। एक बार फिर आप सभी को नई सुविधाओं के लिए, नई योजनाओं के लिए, नए अवसरों के लिए बहुत-बहुत बधाई देता हूं। मेरे साथ बोलिये- भारत माता की जय! दोनों हाथ ऊपर करके पूरी ताकत से साथ बोलिये –

भारत माता की जय

भारत माता की जय

भारत माता की जय

बहुत-बहुत धन्यवाद।